गहलोत सरकार की घेराबंदी करने के लिए भाजपा हर स्तर पर तैयार है. न सिर्फ राजस्थान बल्कि गुजरात में भी सीएम गहलोत के प्रभाव को कम करने के लिए राजस्थान बेरोजगार एकीकृत महासंघ ने दांडी यात्रा को अपना हथियार बनाया है. हालांकि बेरोजगारों की मांग रोजगार की है. खास बात यह है कि गुजरात में कांग्रेस हाईकमान ने गहलोत को बड़ी जिम्मेदारी दी है.
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Jaipur: राजस्थान बेरोजगार एकीकृत महासंघ की ओर से 20 सूत्री मांगों को लेकर गुजरात के पालनपुर से शुरू की गई दांडी यात्रा सोमवार को दूसरे दिन भी जारी है. बीते दिन गांधी जयंती पर पालनपुर से अहमदाबाद तक 150 किलोमीटर की दांडी यात्रा की शुरूआत की गई. पहले दिन जहां 15 किलोमीटर चलने के बाद बेरोजगारों ने खुले आसमान के नीचे रात बिताई. तो वहीं आज सुबह से ही बेरोजगार एक बार फिर से अहमदाबाद के लिए रवाना हुए, प्रतिदिन सुबह और शाम करीब 30 किलोमीटर का सफर तय कर करीब 4 दिनों में अहमदाबाद कांग्रेस कार्यालय पहुंचने की संभावना जताई जा रही है.
गौरतलब है कि अपनी विभिन्न मांगो को लेकर लंबे समय से प्रदेश के बेरोजगार सरकार से गुहार लगा रहे थे,लेकिन समस्याओं का कोई समाधान नहीं होने पर बेरोजगारों ने एक महीने पहले गुजरात कूच की चेतावनी दी थी. लेकिन इसके बाद भी वार्ता नहीं होने के चलते बेरोजगारों ने गुजरात कूच किया.
भारत जोड़ो यात्रा का विरोध भी किया जाएगा
इसके साथ ही बेरोजगारों ने चेतावनी दी है कि अगर जल्द ही उनकी मांगों को लेकर कोई समाधान नहीं होता है, तो गुजरात में होने वाले चुनाव में राजस्थान के कांग्रेस नेताओं की सभी सभाओं और रैलियों का विरोध किया जाएगा. राजस्थान बेरोजगार एकीकृत महासंघ अध्यक्ष उपेन यादव ने बताया कि "राजस्थान सरकार की अनदेखी के खिलाफ आंदोलन शुरू किया गया है. गुजरात में दांडी यात्रा शुरू की गई है,अहमदाबाद पहुंचकर कांग्रेस कार्यालय पर धरना दिया जाएगा. राजस्थान सरकार हमारी मांगों पर ध्यान नहीं दे रही है. इसलिए अब बड़े आंदोलन की तैयारी कर ली गई है. अगर जरुरत पड़ी तो भारत जोड़ो यात्रा का विरोध भी किया जाएगा.