स्कूल में बच्चे कर रहे साफ-सफाई, छात्राओं का शिक्षकों पर आरोप- स्कूल से निकालने की धमकी देते है...
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स्कूल में बच्चे कर रहे साफ-सफाई, छात्राओं का शिक्षकों पर आरोप- स्कूल से निकालने की धमकी देते है...

उज्जैन की बड़नगर स्थित शासकीय कन्या विद्यालय से शिक्षकों द्वारा छात्राओं को प्रताडित करने का मामला सामने आया है. जहां छात्राओं ने शिक्षकों पर गंभीर आरोप लगाये है.

स्कूल में बच्चे कर रहे साफ-सफाई, छात्राओं का शिक्षकों पर आरोप- स्कूल से निकालने की धमकी देते है...

राहुल सिंह राठौड़/उज्जैन: जिले में शासकीय छात्रावास के बाद अब जिले की बड़नगर विधानसभा क्षेत्र में  शासकीय कन्या विद्यालय से शिक्षकों द्वारा छात्राओं को प्रताडित करने का मामला सामने आया है. जहां की छात्राओं ने खुद इस बात को सावर्जनिक रूप से बताया और शिक्षकों पर गम्भीर आरोप लगाते हुए कहा कि उनके साथ दुर्व्यवहार हो रहा है. छात्राओं ने बताया कि विद्यालय में पढ़ाई नहीं होती है. यहां बच्चों से बर्तन धुलवाए जाते है. दरियां उठवाई जाती है, झाड़ू लगवाई जाती है, गार्डन की सफाई करवाई जाती है और चपरासी बैठे-बैठे देखते रहते है.

इतना ही नहीं छात्राओं ने बताया कि विद्यालय की दो बार छत गिर चुकी है, बावजूद उसके आज तक उस ओर ध्यान नहीं दिया गया. ज्यादा तबीयत खराब होने पर छुट्टी नहीं दी जाती है. शिकायत करने पर स्कूल से निकालने की धमकियां दी जाती है, धमकी देने वाले 3 से 4 शिक्षकों के नाम भी छात्राओं ने लिए है. वहीं जब कुछ पत्रकार साथी जानकारी जुटाने मौके पर पहुंचे तो एक शिक्षक द्वारा मोबाइल छुड़ाया गया जो कैमरे में कैद हो गया. अब इस पूरे मामले को तहसीलदार और एसडीएम ने संज्ञान में लिया है.

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दरअसल ये कोई पहला मामला नहीं है. इससे पहले भी जिले में दो ऐसे मामले सामने आ चुके हैं. जहां छात्रावास में छात्राओं को प्रताड़ना झेलना पड़ी और दोनों ही मामले अधिकारियों के संज्ञान में लेने के बावजूद ठंडे बस्ते ने चले गए. अब ये तीसरा मामला हैरान कर देने वाला है. जानिए पहले दो मामलों को...

पहला मामला
22 जुलाई को हमने आपको दिखाया भी था कि जो जिले की तराना विधानसभा के गिबरगोद गांव का था. जहां नेताजी सुभाषचंद्र बोस नाम से आदिम जाति कल्याण विभाग शासकीय बालिका छात्रावास है. जहां की छात्राओं ने 21 जुलाई को ज्ञापन एसडीएम एकता जायसवाल को सौंप उसमें लिखा था कि छात्रावास में हमारे साथ दुर्व्यवहार किया जाता है. प्रताड़ित किया जाता है. समय पर भोजन नहीं देना, मारना कुछ मांगने पर, माँ पिता का नाम लेकर ताना कसना अपशब्द कहना व पंखा भी नहीं सुधरना व हर तरह से परेशान करना जो असहनीय है. अब शिकायत के बावजूद इस मामले में कोई कार्रवाई नहीं हुई.

दूसरा मामला
4 अगस्त को हमने आपको जिले के घट्टिया विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत ग्राम पानबिहार में स्त्तिथ कस्तूरबा गांधी बालिका विद्यालय छात्रावास में रहकर पढ़ने वाली छात्राओं के बारे में बताया था. जिनके पास ना कोई सुरक्षा है और ना उनकी मूल भूत सुविधाओं को पूरा करने वाला कोई जिम्मेवार, बालिका छात्रावास के बद्दतर हालात को लेकर छात्राओं ने खुद आरोप लगाए थे. कहा था कि छात्रावास में पानी की कमी है. बाथरूम के दरवाजे टूटे है, बिजली नहीं है, स्वीपर तो आता ही नहीं है. ना भोजन मेन्यू अनुसार बनता है, ना ही पंखे है, ना छत पर दरवाजा है. एक छात्रा ने कहा हालात ये है कि मेरे पिता मुझसे मिलने आये थे. उनसे मैंने कहा कि पानी नहीं है. तो उन्होंने यहां पानी का टैंकर पहुँचाया. एक छात्रा ने कहा हमें डर लगता है कि अकेल बाथरूम तक जाने में बिना किसी साथी छात्रा के साथ नहीं जा पाते.

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कार्रवाई का मिला आश्वासन
तहसीलदार सुदीप मीणा ने बताया कि ये सूचना है. छात्राओं ने जो आरोप लगाए है उसको गम्भीरता से लेकर जिला कलेक्टर को अवगत करवाया है. वहीं जिला शिक्षा अधिकारी से बात की है. इसके लिए टीम गठित कर जांच कार्रवाई जाएगी. साथ ही जो अभद्रता शिक्षक द्वारा पत्रकार से की गई उस मामले में क्षेत्रीय थाना पुलिस को जांच के लिए कहा है. उसमें भी कार्रवाई की जाना है.

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