Prime Minister नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को इंडिया गेट पर स्वतंत्रता सेनानी नेताजी सुभाष चंद्र बोस की प्रतिमा का अनावरण किया. पीएम मोदी ने इस दौरान श्रमजीवियों से मुलाकात की. उन्होंने श्रमजीवियों से कहा कि वह 26 जनवरी गणतंत्र दिवस परेड के लिए सेंट्रल विस्टा के पुनर्विकास परियोजना पर काम करने वाले सभी लोगों को आमंत्रित करेंगे.
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Central Vista Project: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को इंडिया गेट पर स्वतंत्रता सेनानी नेताजी सुभाष चंद्र बोस की प्रतिमा का अनावरण और कर्तव्यपथ का उद्घाटन किया. नेताजी सुभाष चंद्र बोस की प्रतिमा को उसी स्थान पर स्थापित किया गया है जहां इस साल की शुरूआत में पराक्रम दिवस (23 जनवरी) पर नेताजी की होलोग्राम प्रतिमा का अनावरण किया गया था. ग्रेनाइट से बनी यह प्रतिमा हमारे स्वतंत्रता संग्राम में नेताजी के अपार योगदान के लिए एक उपयुक्त श्रद्धांजलि है और उनके प्रति देश के ऋणी होने का प्रतीक है.
पीएम मोदी ने किया संबोधित
इस दौरान पीएम मोदी ने कहा कि आज के इस ऐतिहासिक कार्यक्रम पर पूरे देश की दृष्टि है. सभी देशवासी इस समय, इस कार्यक्रम से जुड़े हुए हैं. मैं इस ऐतिहासिक क्षण के साक्षी बन रहे सभी देशवासियों का हृदय से स्वागत करता हूं, अभिनंदन करता हूं. पीएम ने कहा कि आजादी के अमृत महोत्सव में, देश को आज एक नई प्रेरणा मिली है, नई ऊर्जा मिली है. आज हम गुजरे हुए कल को छोड़कर, आने वाले कल की तस्वीर में नए रंग भर रहे हैं. आज जो हर तरफ ये नई आभा दिख रही है, वो नए भारत के आत्मविश्वास की आभा है.
पीएम मोदी ने कहा कि गुलामी का प्रतीक किंग्सवे यानि राजपथ, आज से इतिहास की बात हो गया है, हमेशा के लिए मिट गया है. आज कर्तव्य पथ के रूप में नए इतिहास का सृजन हुआ है. मैं सभी देशवासियों को आजादी के इस अमृतकाल में, गुलामी की एक और पहचान से मुक्ति के लिए बहुत-बहुत बधाई देता हूं.
प्रधानमंत्री ने कहा कि आज इंडिया गेट के समीप हमारे राष्ट्रनायक नेताजी सुभाषचंद्र बोस की विशाल मूर्ति भी स्थापित हुई है. गुलामी के समय यहां ब्रिटिश राजसत्ता के प्रतिनिधि की प्रतिमा लगी हुई थी. आज देश ने उसी स्थान पर नेताजी की मूर्ति की स्थापना करके आधुनिक, सशक्त भारत की प्राण प्रतिष्ठा भी कर दी है.
पीएम मोदी ने कहा कि नेता जी कल्पना की थी कि लाल किले पर तिरंगा फहराने की क्या अनुभूति होगी. इस अनुभूति का साक्षात्कार मैंने स्वयं किया, जब मुझे आजाद हिंद सरकार के 75 वर्ष होने पर लाल किले पर तिरंगा फहराने का सौभाग्य मिला. पीएम ने कहा कि आज अगर राजपथ का अस्तित्व समाप्त होकर कर्तव्यपथ बना है, आज अगर जॉर्ज पंचम की मूर्ति के निशान को हटाकर नेताजी की मूर्ति लगी है तो ये गुलामी की मानसिकता के परित्याग का पहला उदाहरण नहीं है. ये न शुरुआत है, न अंत है.
प्रधानमंत्री ने कहा कि आज देश अंग्रेजों के जमाने से चले आ रहे सैकड़ों कानूनों को बदल चुका है. भारतीय बजट, जो इतने दशकों से ब्रिटिश संसद के समय का अनुसरण कर रहा था, उसका समय और तारीख भी बदली गई है. राष्ट्रीय शिक्षा नीति के जरिए अब विदेशी भाषा की मजबूरी से भी देश के युवाओं को आजाद किया जा रहा है.
इससे पहले पीएम मोदी ने श्रमजीवियों से मुलाकात की. उन्होंने 'श्रमजीवियों' से कहा कि वह 26 जनवरी गणतंत्र दिवस परेड के लिए सेंट्रल विस्टा के पुनर्विकास परियोजना पर काम करने वाले सभी लोगों को आमंत्रित करेंगे. नेताजी की मूर्ति को अरुण योगीराज ने बनाया है. उनके द्वारा तैयार की गई 28 फीट ऊंची प्रतिमा को एक ग्रेनाइट पत्थर से उकेरा गया है और इसका वजन करीब 65 मीट्रिक टन है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अब इसके बाद सेंट्रल विस्टा एवेन्यू का उद्घाटन करेंगे, जिसे 'कर्तव्य पथ' के नाम से जाना जाएगा.
#WATCH | PM Narendra Modi unveils the statue of Netaji Subhas Chandra Bose beneath the canopy near India Gate
(Source: DD) pic.twitter.com/PUJf4pSP9o
— ANI (@ANI) September 8, 2022
केंद्रीय मंत्रियों ने क्या कहा?
केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू ने कहा कि मोदी जी जब से प्रधानमंत्री बने हैं तब से नेताजी सुभाष चंद्र बोस को अलग-अलग प्लेटफार्म में अलग-अलग तरीके से स्थान दिया जा रहा है. मैं मानता हूं कि नेताजी की मूर्ति और कर्तव्य पथ का उद्घाटन करना आज़ादी का अमृत महोत्सव काल का बहुत बड़ा एक कदम है. वहीं केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहा कि कर्तव्यपथ पर चलकर इस देश की वैभव्य और एक नक्षत्र की तरह उभारने की जो क्षमता हमारे देश में है उस पर हमें पूर्ण रूप से लगना है.
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