किसान सुरेश निवासी बडौली अपनी स्वयं व ठेके पर जमीन लेकर कई सालों से गेहूं, धान, मटर, खरबूजा, खीरा , तोरई ,टमाटर व अनेकों सब्जियों की के साथ किचन गार्डन के जरिये आम ,नाशपाती,बेर,नींबू, अमरूद व सभी प्रकार के फलों की खेती करते है. किसान ने बताया कि उनकी खुद की 25 एकड़ जमीन है और 25 एकड़ जमीन ठेके पर लेकर खेती कर करते है.
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Haryana News: आज प्रदेश का किसान केंद्र व हरियाणा सरकार की लाभकारी योजनाओं का भरपूर लाभ उठा रहे हैं. जिससे किसानों की आय में लगातार बढ़ोतरी हो रही है. किसान सरकार की नई तकनीक के माध्यम से भी खेती कर रहे हैं और दूसरे किसानों से भी सरकार की योजनाओं की नई तकनीक का लाभ उठाने के लिए अपील कर रहे हैं. ऐसे ही पानीपत जिले के बडौली गांव के किसान सुरेश भी पिछले 25 सालों से सरकार की नई तकनीक का योजनाओं का लाभ उठाकर काफी मुनाफा कमा रहे हैं. सुरेश अपनी जमीन पर सोलर प्लांट लगाकर बिजली की भी काफी बचत कर रहे हैं. जिससे उनकी खेती में लागत काफी कम आती है और मुनाफा अधिक होता है.
किसान सुरेश निवासी बडौली अपनी स्वयं व ठेके पर जमीन लेकर कई सालों से गेहूं, धान, मटर, खरबूजा, खीरा , तोरई ,टमाटर व अनेकों सब्जियों की के साथ किचन गार्डन के जरिये आम ,नाशपाती,बेर,नींबू, अमरूद व सभी प्रकार के फलों की खेती करते है. किसान ने बताया कि उनकी खुद की 25 एकड़ जमीन है और 25 एकड़ जमीन ठेके पर लेकर खेती कर करते है. जिससे उनकी आय लाखों रुपए की हो जाती है. किसान सुरेश ने बताया कि गेहूं धान की खेती के साथ मटर, खरबूजा, खीरा व कई प्रकार की सब्जियां उगते हैं. उन्होंने बताया कि लागत में कमी कर अधिक लाभ होता है. उन्होंने दूसरे किसानों को भी कहा कि योजना बनाकर अगर खेती करें तो लाखों रुपए का मुनाफा होता है.
सुरेश ने कहा कि खेती का मौसम पर भी काफी निर्भर करता है. यदि किसान योजना के अनुसार काम करता है. तो उसे लाभ अधिक होता है. वहीं उन्होंने जानकारी दी कि इसके साथ-साथ किचन गार्डन की खेती भी करते हैं और आम नाशपाती बेर, अमरूद, अंगूर के साथ सभी प्रकार के फल भी उगते हैं. तो उनको इसका लाभ मिलेगा. सरकार ड्रैगन पर 1 लाख 70 हजार की सब्सिडी दे रही है जिसे हम भविष्य में लाभ उठाएं.
वेद प्रकाश किसान ने कहा कि सरकार की योजनाओं के अनुसार प्राकृतिक खेती कर केमिकल का प्रयोग नहीं कर रहे हैं. उन्होंने कहा की सरकार की सब्सिडी का सही तरीके से प्रयोग कर रहे हैं. इसके साथ डोमेस्टिक फार्मिंग करने का हमारा मुख्य उद्देश्य है और इसके लिए हम दूसरे किसानों को भी जागरूक कर रहे हैं.
डॉ राजवीर ने कहा कि किसानों को स्कीमों की जानकारी होनी बहुत जरूरी है. उन्होंने बताया कि खेती की नई तकनीक की जानकारी के लिए कैंप का आयोजन किया जाता है. इसके साथ ही कैम्पों में लिटरेचर भी बांटा जाता है. कृषि विभाग के पास सामुदायिक रेडियो स्टेशन है जिस पर लगातार रेडियो के माध्यम से बातचीत चलती रहती है. अधिकारी ने जानकारी देते बताया कि पानीपत में बहुत से किसानों ने सब्जी के क्षेत्र में अच्छा काम कर प्रगतिशील किसान बने हैं. उन्होंने कहा कि बहुत से किसानों ने धान की फसल छोड़कर सब्जी की खेती को अपनाया है. भारत सरकार का 2022 का लक्ष्य था कि किसानों की आमदनी को दोगुनी किया जाए. जिसे लेकर पानीपत के 110 किसानों की सफलता की स्टोरी बनाकर भारत सरकार को भेजी गई. उन्होंने बताया कि 110 किसानों की सफलता की स्टोरी बनाने के बाद यह निष्कर्ष निकाला कि जो किसान धान की फसल आज भी कर रहा है उसकी आय में इजाफा नहीं हुआ है. लेकिन जिस किसानों ने गन्ना सब्जी आधारित व पशुपालन को साथ लेकर काम किया व मशरूम खेती कर उनकी आमदनी दोगुनी से ज्यादा तिगुनी हुई है.