Arvind Kejriwal Attacked : आतिशी ने कहा कि दिल्ली में एक बड़ी साजिश रची जा रही है, जिसमें अरविंद केजरीवाल को जान से मारने की धमकी दी जा रही है. साथ ही कहा कि भाजपा और दिल्ली पुलिस की मिलीभगत से केजरीवाल की जान को खतरा है और उन पर लगातार हमले हो रहे हैं.
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Delhi Assembly Elections 2025 : दिल्ली में अरविंद केजरीवाल की सुरक्षा को लेकर एक बार फिर विवाद खड़ा हो गया है. आम आदमी पार्टी (AAP) की मुख्यमंत्री आतिशी ने भाजपा और दिल्ली पुलिस पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा है कि पूर्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को जान से मारने की साजिश रची जा रही है. इस मामले को लेकर आप और भाजपा के बीच तीखी राजनीतिक बहस शुरू हो गई है.
केजरीवाल को निशाना बना रही भाजपा : आतिशी
आतिशी ने शुक्रवार को आयोजित एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि अरविंद केजरीवाल को निशाना बनाने के लिए एक बड़ी साजिश चल रही है. उन्होंने दावा किया कि भाजपा के कार्यकर्ता और दिल्ली पुलिस मिलकर केजरीवाल की सुरक्षा को खतरे में डाल रहे हैं. आतिशी ने कहा कि हम देख रहे हैं कि एक के बाद एक अरविंद केजरीवाल पर हमले हो रहे हैं. भाजपा के इशारे पर दिल्ली पुलिस जानबूझकर उनकी सुरक्षा में लापरवाही बरत रही है. यह साजिश भाजपा और अमित शाह द्वारा रची जा रही है.
केजरीवाल को मिले पंजाब पुलिस की सुरक्षा : भगवंत मान
पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने भी अरविंद केजरीवाल की सुरक्षा को लेकर चिंता जताई. उन्होंने कहा कि केजरीवाल पर हमले का अलर्ट है और दिल्ली पुलिस पर भरोसा नहीं किया जा सकता. भगवंत मान ने चुनाव आयोग से मांग की कि केजरीवाल को फिर से पंजाब पुलिस की सुरक्षा दी जाए. उन्होंने कहा कि पंजाब पुलिस ने अब तक केजरीवाल की सुरक्षा में अहम भूमिका निभाई है, लेकिन भाजपा इसे हटाने की कोशिश कर रही है.
आतिशी का भाजपा पर तीखा प्रहार
आतिशी ने भाजपा पर निशाना साधते हुए कहा कि भाजपा और अमित शाह अरविंद केजरीवाल को खत्म करना चाहते हैं. जब केजरीवाल को झूठे मुकदमे में गिरफ्तार किया गया, तो उनका इंसुलिन तक रोक दिया गया. भाजपा को समझना चाहिए कि दिल्ली के लोग अरविंद केजरीवाल से प्यार करते हैं और उन्हें अपने परिवार का हिस्सा मानते हैं.
सुरक्षा और राजनीति का सवाल
अरविंद केजरीवाल की सुरक्षा का मुद्दा एक बार फिर राजनीति के केंद्र में आ गया है. एक तरफ AAP ने भाजपा और दिल्ली पुलिस पर गंभीर आरोप लगाए हैं, तो दूसरी तरफ भाजपा ने इन आरोपों को खारिज कर इसे राजनीतिक स्टंट बताया है. यह मामला केवल एक व्यक्ति की सुरक्षा तक सीमित नहीं है, बल्कि यह सवाल उठाता है कि क्या राजनीति में सुरक्षा और प्रशासनिक व्यवस्था का दुरुपयोग किया जा रहा है. चुनावों से ठीक पहले इस विवाद ने राजनीतिक माहौल को और गर्म कर दिया है.
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