Samudrika Shastra: अगर किसी की सबसे छोटी उंगली पर तिल है, तो इसका मतलब है कि उसे पैसे तो मिल सकते हैं, लेकिन उसके जीवन में दुख भी रहेंगे. ऐसे लोग अक्सर मुश्किलों का सामना करते हैं और उन्हें कई प्रकार की समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है.
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Unlucky Moles on Body in Hindi: सामुद्रिक शास्त्र के अनुसार व्यक्ति के शरीर पर मौजूद तिल उसके भविष्य और भाग्य के बारे में कई संकेत देते हैं. हालांकि, कुछ अंगों पर तिल का होना अशुभ माना जाता है और जीवन में परेशानियों का संकेत देता है. आचार्य मदन मोहन से आइए जानते हैं शरीर के उन 6 अंगों के बारे में जहां तिल का होना शुभ नहीं माना जाता है.
कनिष्ठा उंगली पर तिल
अगर किसी व्यक्ति की सबसे छोटी उंगली (कनिष्ठा) पर तिल होता है, तो यह संकेत देता है कि उसे जीवन में धन तो प्राप्त होगा, लेकिन उसके साथ कई समस्याएं भी आएंगी. ऐसे लोग अक्सर संघर्ष का सामना करते हैं और उन्हें धन संबंधी परेशानियों से जूझना पड़ता है.
बाई बांह पर तिल
बाईं बांह पर तिल होने का मतलब यह है कि व्यक्ति जल्दी गुस्से में आ जाता है. उनका क्रोध उनके निजी और पेशेवर जीवन पर नकारात्मक प्रभाव डाल सकता है. ऐसे लोग अपनी भावनाओं पर काबू नहीं रख पाते, जिससे उन्हें कई समस्याओं का सामना करना पड़ता है.
होंठ पर तिल
होंठ पर तिल होना आर्थिक परेशानियों का संकेत होता है. ऐसे लोगों की आर्थिक स्थिति अस्थिर रहती है और वे मानसिक तनाव का भी अनुभव करते हैं. उन्हें धन कमाने में मुश्किलें आती हैं और उनके खर्चे भी अधिक होते हैं.
कान पर तिल
कान पर तिल का होना सामुद्रिक शास्त्र में अशुभ माना जाता है. इसका संकेत यह है कि व्यक्ति का जीवनकाल छोटा हो सकता है. ऐसे लोग अक्सर स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं से घिरे रहते हैं और उन्हें बार-बार बीमारियों का सामना करना पड़ सकता है.
आंख पर तिल
अगर किसी की बाईं आंख पर तिल होता है, तो यह वैवाहिक जीवन में कठिनाइयों का संकेत देता है. ऐसे लोगों के रिश्ते में अक्सर तनाव बना रहता है और उन्हें वैवाहिक जीवन में अनबन का सामना करना पड़ सकता है.
रिंग फिंगर पर तिल
रिंग फिंगर (अनामिका उंगली) पर तिल का होना भी अशुभ माना जाता है. यह संकेत देता है कि व्यक्ति को आंखों से संबंधित बीमारियों का सामना करना पड़ सकता है. इसके अलावा, ऐसे लोग झूठे आरोपों के शिकार हो सकते हैं और उनके मान-सम्मान को भी खतरा हो सकता है. यह जानकारी धार्मिक मान्यताओं पर आधारित है और इसका वैज्ञानिक आधार नहीं है.
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