Chamki fever: बिहार में गर्मी के साथ साथ चमकी बुखार का खतरा भी बढ़ने लगा है. वहीं इसके रोक थाम के लिए मुजफ्फरपुर सदर अस्पताल में विशेष कंट्रोल रूम बनाया गया है.
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मुजफ्फरपुर: एक्यूट एनसेफ्लाइटिस सिंड्रोम (AES) चमकी बुखार से बचाव के लिए मुजफ्फरपुर में विशेष अभियान चल रहा है. इसके तहत तत्काल सूचना और प्रभावी नियंत्रण के लिए सदर अस्पताल में विशेष कंट्रोल रूम शुरू किया गया है. गर्मी के बढ़ते तापमान को देखते हुए चमकी बुखार पर नियंत्रण के लिए प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग पूरी तत्परता और समर्पण के साथ काम कर रहा है. इस नियंत्रण कक्ष के माध्यम से फील्ड में अधिकारियों की सक्रियता पर भी नजर रखी जाएगी..आम लोग बच्चों से जुड़ी अपनी समस्या के समाधान के लिए नियंत्रण कक्ष से संपर्क स्थापित कर सकते हैं. यह नियंत्रण कक्ष पूरे गर्मी के सीजन में कार्य करता रहेगा.
स्वास्थ्य विभाग ने नियंत्रण कक्ष के सफलतापूर्वक संचालन के लिए कर्मियों की प्रतिनियुक्ति रोस्टर वाइज की है. इसके अलावा जिला प्रशासन ने सभी प्रखंड के अंचलाधिकारी, प्रखंड विकास पदाधिकारी,बाल विकास परियोजना पदाधिकारी के साथ ही सभी प्रखंडों में चल रहे अस्पताल के चिकित्सा पदाधिकारी से लेकर मैनेजर तक के नंबर तक को सार्वजनिक किया गया है. ताकि शहर के अलावा ग्रामीण क्षेत्रों में चमकी बुखार के लक्षण वाले कोई भी व्यक्ति इनसे संपर्क स्थापित कर जिला प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग से मिलने वाली सुविधा का लाभ ले सके. वहीं इस बार जिला प्रशासन की ओर से एंबुलेंस और निजी गाड़ी नहीं मिलने की स्थिति में मोटरसाइकिल से पहुंचने वाले व्यक्ति को भी 400 से लेकर 600 तक भाड़ा देने का निर्णय लिया है.
बता दे कि अगर आपके बच्चे में चमकी बुखार जैसा लक्षण मिले तो तत्काल उसे अस्पताल ले जाएं ताकि बच्चे का सही समय पर इलाज हो सके. साथ ही चिकित्सकों से अनुसार रात में सोने के वक्त बच्चों को भूखा सोने नहीं दें,खाना खिलाने के बाद उसे कुछ न कुछ मीठा खिलाकर सोने दें. इसके अलावा सुबह में जब उठे तो बच्चों को जरूर जगाएं ताकि बच्चा को कोई बेहोशी जैसा लक्षण तो नहीं दिख रहा है अगर दिखे तो तुरंत अस्पताल ले जाकर उसका उपचार करें.
इनपुट - मणितोष कुमार