Indian Economy: इंडियन इकोनॉमी को लेकर अच्छी खबर सामने आ रही है. भारत की इकोनॉमी पहली बार 4 ट्रिलियन डॉलर के पार निकल गई है. अर्थव्यवस्था के मोर्चे पर यह काफी बड़ी सफलता है.
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Indian Economy: इंडियन इकोनॉमी को लेकर अच्छी खबर सामने आ रही है. भारत की इकोनॉमी पहली बार 4 ट्रिलियन डॉलर के पार निकल गई है. अर्थव्यवस्था के मोर्चे पर यह काफी बड़ी सफलता है. पीएम मोदी ने देश की अर्थव्यवस्था को साल 2025 तक 5 ट्रिलियल डॉलर तक पहुंचाने का लक्ष्य रखा है. यह इकोनॉमी को लेकर ऐतिहासिक बढ़ोतरी है.
महाराष्ट्र के डिप्टी सीएम देवेंद्र फडणवीस ने ट्वीट कर बताया है कि 18 नवंबर की सुबह को 10.24 मिनट पर भारत की जीडीपी का साइज 4 लाख करोड़ के पार पहुंच हया है. इस लेवल को छूते ही भारत देश की 5वीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन गया है.
This is what dynamic, visionary leadership looks like !
That’s what our #NewIndia progressing beautifully looks like !
Congratulations to my fellow Indians as our Nation crosses the $ 4 trillion GDP milestone!
More power to you, more respect to you Hon PM @narendramodi ji !… pic.twitter.com/wMgv3xTJXa— Devendra Fadnavis (@Dev_Fadnavis) November 19, 2023
पहली तिमाही में 7.8 फीसदी से बढ़ी इकोनॉमी
फाइनेंशियल ईयर 2023-24 की पहली तिमाही के दौरान भारत की जीडीपी, 7.8 फीसदी बढ़ी. आरबीआई गवर्नर की तरफ से हाल ही में देश की इकोनॉमी पर भरोसा जताया गया है. शक्तिकांता दास ने कहा है कि आर्थिक गतिविधयों को देखते हुए कुछ शुरुआती आंकड़ें सामने आए हैं, जिससे मुझे उम्मीद है कि नंवबर के अंत में दूसरी तिमाही के दौरान आने वाले GDP के आंकड़े चौंकाने वाले होंगे.
टॉप पर है अमेरिका
अगर देश की टॉप इकोनॉमी की बात की जाए तो अमेरिका इनमें टॉप पर है. अमेरिका की इकोनॉमी 26.70 ट्रिलियन डॉलर के साथ पहले नंबर पर है. इसके बाद में 19.24 ट्रिलियन डॉलर के साथ में दूसरे नंबर पर चीन है. तीसरे नंबर पर 4.39 ट्रिलियन डॉलर के साथ जापान का नाम है. वहीं, पांचवें नंबर पर 4.28 ट्रिलियन डॉलर के साथ जर्मनी का नाम है. 5वें नंबर पर भारत का नाम 4 ट्रिलियन डॉलर के साथ है.
भारत का लक्ष्य है 5 ट्रिलियल डॉलर का
बता दें जर्मनी और भारत के बीच में अब बहुत ही कम अंतर रह गया है. केंद्र सरकार (Central Government) का अब अगला लक्ष्य 2025 तक देश की अर्थव्यवस्था (India Economy) को 5 ट्रिलियन डॉलर तक पहुंचाना है.