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India Britain Free Trade: भारत और ब्रिटेन के बीच फ्री ट्रेड एग्रीमेंट को लेकर बातचीत अंतिम दौर पर पहुंच गई है. दोनों देश इस समझौते के आखिरी चरण में पहुंच चुके हैं. मुक्त व्यापार समझौते को लेकर जो बातचीत जनवरी, 2022 में शुरू हुई थी अब वो जल्द पूरी होने वाली है. इस फ्री ट्रेड के जरिए भारत और ब्रिटेन के बीच की दूरिया कम हो जाएंगी. इसका मकसद 38.1 अरब पाउंड सालाना द्विपक्षीय व्यापार को उल्लेखनीय रूप से बढ़ाना है.
कहां तक पहुंची बातचीत
नीति आयोग के मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) बी.वी.आर. सुब्रमण्यम ने कहा कि भारत और ब्रिटेन के बीच मुक्त व्यापार समझौते (एफटीए) पर बातचीत अंतिम चरण में है. दोनों पक्ष समझौते को पूरा करने के करीब हैं. नये ब्रिटेन-भारत बुनियादी ढांचा वित्तपोषण ब्रिज (यूकेआईआईएफबी) समझौते पर हस्ताक्षर समारोह के दौरान, दोनों पक्षों ने एफटीए को लेकर प्रतिबद्धता जतायी.
सुब्रमण्यम ने भारत-ब्रिटेन व्यापार के भविष्य पर एक परिचर्चा को संबोधित करते हुए कहा, मुझे लगता है कि यह एक ऐसा समझौता है जो आखिरी चरण में है.दूरियां काफी हद कम कम हुई हैं और समझौता पूरा होने के करीब है. उन्होंने कहा, दोनों देशों के बीच संबंध किसी व्यापार समझौते के मोहताज नहीं होना चाहिए. भारत-ब्रिटेन साझेदारी के कई आयाम हैं. बुनियादी ढांचा वित्त, जलवायु, प्रौद्योगिकी... एफटीए बड़े पैमाने पर अवसरों के अलावा, चीजों को गति देने के लिए अपनापन की भावना को लाता है. यह न केवल वस्तुओं में बल्कि सेवा दोनों के लिए लागू है. बुधवार को लंदन में नीति आयोग और सिटी ऑफ लंदन कॉरपोरेशन के बीच यूकेआईआईएफबी पर हस्ताक्षर किये गये. इसका उद्देश्य भारत की महत्वाकांक्षी बुनियादी ढांचा परियोजनाओं में अंतरराष्ट्रीय निवेश की सुविधा प्रदान करना है.