नई दिल्ली: Sukhdev Singh Gogamedi Murder Case: श्री राष्ट्रीय राजपूत करणी सेना के अध्यक्ष सुखदेव सिंह गोगामेड़ी हत्याकांड मामले में धरना स्थगित कर दिया गया है. परिवार और प्रशासन के बीच कुछ मांगों को लेकर सहमति बन चुकी है. गोगामेड़ी का पोस्टमार्टम आज ही होना है. इसके बाद उनके पैतृक गांव में ही अंतिम संस्कार किया जाएगा.
क्यों हुई पूर्व CM पर FIR?
गोगामेड़ी के परिजन और समर्थक लगातार NIA से जांच की मांग कर रहे थे. उनकी ये मांग मान ली गई है, पुलिस ने UAPA के तहत मामला भी दर्ज कर लिया है. FIR में निवर्तमान मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और DGP का भी जिक्र है. दरअसल, इन पर आरोप है कि इन्होंने गोगामेड़ी को सुरक्षा मुहैया नहीं करवाई. जबकि गोगामेड़ी ने पहले ही अपनी जान को खतरा होने की बात कही थी.
'तीन बार लिखे पत्र'
सुखदेव सिंह गोगामेड़ी की पत्नी शीला शेखावत ने FIR दर्ज कराई है. इसमें दावा किया गया है कि गोगामेड़ी को सुरक्षा देने के लिए प्रदेश के तत्कालीन मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और DGP को तीन पत्र लिखे गए थे. लेकिन इन्होंने जानबूझकर सुरक्षा नहीं दी. FIR में जिक्र है कि 24 फरवरी, 1 मार्च और 25 मार्च को राजस्थान के तत्कालीन सीएम गहलोत और DGP को पत्र लिखे गए थे.
कौन थे सुखदेव सिंह गोगामेड़ी
सुखदेव सिंह गोगामेड़ी श्री राष्ट्रीय राजपूत करणी सेना के अध्यक्ष थे. पहले वे लोकेंद्र सिंह की करणी सेना से जुड़े, बाद में विवाद के चलते खुद का अलग संगठन बना लिया. वे बसपा की टिकट पर चुनाव भी लड़ चुके हैं. 2018 में उन्होंने भाजपा से टिकट मांगा, लेकिन नहीं मिला. गोगामेड़ी उस वक्त चर्चा में आए थे, जब पद्मावत रिलीज हो रही थी. इससे पहले गैंगस्टर आनंदपाल की मौत के बाद भी गोगामेड़ी खूब सुर्खियों में आए थे.
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