'Adipurush Controversy': मनोज मुंतशिर मुश्किल में, आदिपुरुष फिल्म को लेकर हाईकोर्ट ने थमाया नोटिस
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'Adipurush Controversy': मनोज मुंतशिर मुश्किल में, आदिपुरुष फिल्म को लेकर हाईकोर्ट ने थमाया नोटिस

'Adipurush Controversy': आदिपुरुष फिल्म ने रिलीस होते ही कमाई के कई आंकड़ों को पार कर लिया है. लेकिन इस पर विवाद लगातार जारी है. सुनवाई के दूसरे दिन मंगलवार 27  जून को लखनऊ हाईकोर्ट ने निर्माताओं को नोटिस जारी करते हुए फटकार लगायी है. 

 

Adipurush Controversy

Manoj Muntashir And Adipurush Controversy: आदिपुरुष फिल्म के लेखक मनोज मुंतशिर लगातार लोगों के विरोध का सामना कर रहे हैं. मुंतशिर की मुसीबतें फिल्म के बाद से लगातार बढ़ती नजर आ रही हैं.  हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच ने आदिपुरुष फिल्म पर विवाद मामले में दाखिल दो जनहित याचिकाओं पर मंगलवार 27 जून को सुनवाई की. याचिकाकर्ता प्रिंस लेनिन और रंजना अग्निहोत्री की याचिकाओं पर जस्टिस राजेश सिंह चौहान और श्री प्रकाश सिंह की बेंच ने सुनवाई की.  सुनवाई के बाद न्यायालय ने फिल्म के संवाद लेखक मनोज मुंतशिर पक्षकार बनाने के प्रार्थना पत्र को स्वीकार कर लिया और उन्हें नोटिस जारी करने का आदेश दिया है.  

बेंच ने सख्त लहजे में कहा, - "क्या सेंसर बोर्ड ने अपनी जिम्मेदारी निभाई है, भगवान हनुमान और सीता मां को ऐसा दिखा कर समाज में क्या संदेश देना चाहते हैं. हिंदू समाज की सहनशीलता की परीक्षा क्यों ली जा रही है. भगवान का शुक्र है कि उन्होंने (हिन्दुओं ने ) कानून-व्यवस्था नहीं तोड़ा."  पहले दिन  सोमवार को वकील कुलदीप तिवारी की याचिका पर सुनवाई करते हुए कोर्ट ने सेंसर बोर्ड और फिल्म के निर्माता-निर्देशक को फटकार लगाते हुए कहा था- रामायण-कुरान, गुरु ग्रन्थ साहिब और गीता जैसे पवित्र ग्रंथों को तो बख्श दीजिए. बाकी जो करते हैं वो तो कर ही रहे हैं. 

बुधवार को होगी मामले की सुनवाई
न्यायालय ने अब मामले को बुधवार को सुनवाई के लिए सूचीबद्ध करने का आदेश दिया है, इसके साथ ही केंद्र सरकार व सेंसर बोर्ड से मामले में निर्देश प्राप्त करने का आदेश दिया है और कहा है कि इस सबसे कोर्ट को अवगत कराया जाए. यह आदेश डिप्टी सॉलिसिटर जनरल एसबी पांडेय को दिया है. वकीलों की दलील को सुनने के बाद बेंच ने कहा, फिल्म के डायलॉग राइटर मनोज मुंतशिर शुक्ला को जनहित याचिका में प्रतिवादी पक्ष के रूप में शामिल किया जाए, साथ ही उन्हें नोटिस जारी किया जाए. 

याचिकाकर्ताओं के वकीलों ने क्या कहा 
याचिकाकर्ता प्रिंस लेनिन के वकील ने कहा, महिलाओं का अपमान नहीं होने देना चाहिए. फिल्म में मां सीता का अपमान किया जा रहा है. दूसरे याचिकाकर्ता रंजना अग्निहोत्री के वकील ने कहा, ऐसा पहली बार नहीं हुआ है, ऐसा पीके, मोहल्ला अस्सी, हैदर आदि फिल्मों में हो चुका है. दोनों याचिकाकर्ताओं ने कोर्ट से मांग की है कि फिल्म से विवादित सीन हटाया जाए.

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