Eid Miladun Nabi Kab Hai?: इस्लामिक त्यौहारों की तारीख हर साल बदल जाती है. इसलिए ईद मिलाद उन नबी का त्यौहार भारत में कब मनाया जाएगा इसको लेकर प्रश्न उठना जाहिर है. यहां जानें कब मनाया जाएगा मिलाद उन नबी का त्यौहार और क्यों मनाया जाता है यह त्यौहार?...
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Eid Miladun Nabi Kab Hai?: इस्लाम को मानने वाला हर इंसान इस महीने यानी सितंबर के महीने में पैगंबर मुहम्मद की सालगिरह को ईद-ए-मिलाद के रुप में मनाता है. माना जाता है कि यह उस दिन का इस्लामी अवलोकन है जिस दिन पैगंबर मुहम्मद का जन्म हुआ था. इस्लामी कैलेंडर के अनुसार यह त्यौहार साल के तीसरे महीने मनाया जाता है. दुनियां के कई देशों में इस दिन सरकारी छुट्टी रहती है. इस दिन मस्जिदों में जुलूस और शिक्षा का पाठ पढ़ाया जाता है. इस बार सरकारी छुट्टी के अनुसार भारत में भी ईद मिलाद-उन-नबी 2023 या ईद-ए-मिलाद 2023 की छुट्टी रहेगी.
ईद मिलाद-उन-नबी कब है?
सभी धर्मों में त्यौहारों और तिथि की गणना चंद्रमा की स्थिति के अनुसार की जाती है. इस्लाम धर्म में भी तिथि की गणना चंद्रमा के अनुसार ही की जाती है. इस साल, मिलाद-उन-नबी 27 सितंबर की शाम को शुरू होगा और 28 सितंबर की शाम को समाप्त होगा. भारत में 28 सितंबर को ईद मिलाद-उन-नबी के मौके पर सार्वजनिक अवकाश घोषित किया गया है. यह सितंबर महीने की 16 छुट्टियों में से एक है.
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क्यों मनाया जाता है मिलाद-उल-नबी
ईद मिलाद-उन-नबी 12वें रबी-उल-अव्वल को मनाया जाता है, जो इस्लामी कैलेंडर का तीसरा महीना है. यह दिन शिया और सुन्नी संप्रदायों द्वारा अलग-अलग दिन मनाया जाता है. सुन्नी विद्वानों ने ईद मिलाद-उन-नबी मनाने के लिए 12वीं रबी-उल-अव्वल को चुना है. जबकि, शिया विद्वान 17वें रबी-अल-अव्वल को उत्सव मनाते हैं.
मावलिद का महत्व
अंग्रेजी में 'मावलिड' शब्द का अर्थ जन्म होता है. ईद मिलाद-उन-नबी मुस्लिम समुदाय के लोगों के लिए पैगंबर मुहम्मद के जीवन और उनके विचारों को याद करने और उनका सम्मान करने का एक अवसर है. माना जाता है कि यह उत्सव इस्लाम के शुरुआती दिनों में शुरू हुआ था जब लोग इकट्ठा होते थे और पैगंबर के सम्मान में छंद पढ़ते थे.