नहीं रहे साहित्य के महारथी डॉ. कन्हैया सिंह, सीएम योगी ने जताया शोक
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नहीं रहे साहित्य के महारथी डॉ. कन्हैया सिंह, सीएम योगी ने जताया शोक

उत्तर प्रदेश भाषा संस्थान के पूर्व कार्यकारी अध्यक्ष और अखिल भारतीय साहित्य परिषद के राष्ट्रीय संरक्षक डॉ. कन्हैया सिंह के निधन पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शोक व्यक्त किया है

Dr Kanhaiya Singh

UP News: मुख्यमंत्री योगी ने प्रख्यात साहित्यकार डॉ. कन्हैया सिंह के निधन पर शोक जताया है. योगी ने कहा डॉ. कन्हैया सिंह का निधन परिवार तथा साहित्य जगत लिए अपूरणीय क्षति है.सीएम योगी ने दिवंगत आत्मा की चिर-शांति के लिए ईश्वर से प्रार्थना की. डॉ. कन्हैया सिंह उत्तर प्रदेश भाषा  संस्थान के पूर्व कार्यकारी अध्यक्ष और अखिल भारतीय सहित्य परिषद के राष्ट्रीय संरक्षक थे. मुख्यमंत्री ने उनके बेटे चित्रसेन सिंह को पत्र लिखकर शोक जताया है और कहा कि पिता का निधन किसी भी पुत्र के लिए अत्यन्त  दुखदायी होता है.

सीएम योगी ने अपने एक्स अकाउंट पर भी डॉ कन्हैया सिंह को श्रद्धांजलि देते हुए लिखा- वरिष्ठ साहित्यकार डॉ. कन्हैया सिंह जी का असामयिक निधन साहित्य जगत के लिए अपूरणीय क्षति है.प्रभु श्री राम से प्रार्थना है कि दिवंगत आत्मा को अपने श्री चरणों में स्थान व शोकाकुल परिजनों को यह अपार दुःख सहने की शक्ति दें.

डॉ कन्हैया सिंह सूफी साहित्य का बड़ा महारथी

डॉ कन्हैया सिंह का जन्म उत्तर प्रदेश के आजमगढ़ जिले में हुआ था. डॉ. कन्हैया सिंह हिदी साहित्य के ख्याति प्राप्त साहित्यकारों में से एक थे. कन्हैया सिंह एमए, एलएलबी, पीएचडी, डीलिट् आदि की डिग्री हासिल की थी. उनको सूफी साहित्य का बड़ा महारथी माना जाता था. वह पाठ-संपादन एवं सूफी काव्य के विद्वान के रूप में हिन्दी जगत में प्रसिद्ध थे.वह जब 35 साल के थे तो उन्होंने आजमगढ़ नगर पालिका के अध्यक्ष का चुनाव जीत लिया था. वह ज्यादातर समय लाइब्रेरी में पुस्तकों में खोए रहते थे. हिदी साहित्य के पाठानुसंधान और सूफी साहित्य के राष्ट्रीय स्तर के जानकार थे. इसके अतिरिक्त कहानी, संस्मरण, निबंध और आलोचना की कुल 40 से ज्यादा महत्वपूर्ण पुस्तकों का सृजनकर हिदी साहित्य को समृद्ध करने का कार्य हमेशा से किया.

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