पाली: लाखोटिया उद्यान में मरी मिली हजारों मछलियां, नगर परिषद को दी गई सूचना
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पाली: लाखोटिया उद्यान में मरी मिली हजारों मछलियां, नगर परिषद को दी गई सूचना

तालाब किनारे मछलियों का ढेर पड़ा मिला. इन मछलियां के मरने का कारण अभी सामने नहीं आया है लेकिन इस तरह इन बेजुबान जीवों की मौत से उद्यान में आने वाला हर कोई हैरान है.

पाली: लाखोटिया उद्यान में मरी मिली हजारों मछलियां, नगर परिषद को दी गई सूचना

Pali: शहर का एक मात्र लाखोटिया उद्यान जहां भगवान महादेव का मंदिर के साथ दो तरफ पानी और पक्षियों की चहचहाट लोगों को अपनी ओर खींचने को मजबूर कर देती है लेकिन पिछले पांच दिनों से तालाब के एक छोर के किनारे कई मछलिया मरीं पड़ी हैं. अभी तक तालाब में हजारों की संख्या में मछलियां मर चुकी हैं. 

तालाब किनारे मछलियों का ढेर पड़ा मिला. इन मछलियां के मरने का कारण अभी सामने नहीं आया है लेकिन इस तरह इन बेजुबान जीवों की मौत से उद्यान में आने वाला हर कोई हैरान है.

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मछली जल की रानी है जीवन उसका पानी है, हाथ लगाओ डर जाएगी, बाहर निकालो मर जाएगी लेकिन पाली शहर के एक मात्र प्रसिद्ध लाखोटिया उद्यान में पानी के रहते मछलियों की मौत ने कई सवाल खड़े कर दिये. सैकड़ों साल पुराना ये लाखोटिया तालाब है लेकिन आज तक कभी इस तरह मछलियों और जलीय जीवों की मौत नहीं हुई. अल सुबह हजारों लोग इस उद्यान में घूमने के लिए आते हैं और कई तो मछलियों को दाना भी डालने और आटा ख़िलाने भी आते हैं लेकिन जब लोगों ने एक साथ सैकड़ों मछलियों को किनारे पर मरे देखा तो सहम गए.

अचानक मछलियों की मौत की सूचना से घूमने आने वाले लोग एक जगह एकत्रित हो गए और नगर परिषद को सूचना भिजवाई. नगर परिषद से अभी तक आठ लोडिंग टेम्पो मरी मछलियों को भरकर शहर से बाहर ले जाया चुका है और अभी भी मछलियों के मरने का सिलसिला जारी है. हाल ही योग दिवस पर योगा के बाद लोगों ने कलेक्टर निमित मेहता को तालाब के पास ले जाकर मौका दिखवाया, जहां मछलियां मरी पड़ी और मर रही हैं लेकिन उस बात को भी चार दिन बीतने को आये अभी तक कोई कार्रवाई नहीं हुई. 

अभी तक कोई नहीं जान पाया कि ये मर क्यों रही हैं? क्या ऑक्सीजन की कमी से मर रहीं या फिर किसी ने जहरीला दाना डाला पानी में लेकिन कलक्टर भी मरी मछलियों को देखकर औपचारिकता कर निकल गये. मंदिर आने वाले श्रद्धालु और आमजन में काफी रोष है. दुर्गंध इतनी तेज की कोई खड़ा नहीं रह सकता है. जब की अलसुबह चार बजे से ही सैकड़ों लोग योगा करने, भ्रमण करने और एक्सरसाइज करने आते रहते हैं. सुबह नौ बजे तक लखोटिया तालाब में चहल पहल रहती है लेकिन मरी मछलियों की दुर्गंध से उनका योगा करना भी दुश्वार हो गया है.

Reporter- Subhash Rohiswal

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