डीपीसी पर फैसला लेने के लिए अजमेर RPSC में आज अधिकारियों को तलब किया गया है. कुछ ही समय में तस्वीर साफ हो जाएगी. वहीं, चीफ इंजीनियर की दौड में ऐसे इंजीनियर भी हैं, जिनके खिलाफ एसीबी में मुकदमा दर्ज हो चुका.
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जयपुर: PHED विभाग में क्या इंजीनियर्स की डीपीसी हो जाएगी या फिर से तलवार लटकेगी? क्योकि 3 बार डीपीसी की कोशिश फैल रही.आज चौथी बार PHED एसीएस, डीओपी सैकेट्री को अजमेर में RPSC दफ्तर बुलाया गया है, लेकिन बड़ा सवाल है कि क्या डीपीसी पर मुहर लगेगी या वैसे ही रहेगी, क्योंकि चीफ इंजीनियर की दौड में ऐसे इंजीनियर भी हैं, जिनके खिलाफ एसीबी में मुकदमा दर्ज हो चुका.
PHED में क्या भ्रष्ट अफसरों ''राज'' का बढ़ेगा
अजमेर में आज RPSC दफ्तर में सब ठीक रहा तो PHED को चीफ इंजीनियर्स के साथ-साथ दूसरे इंजीनियर्स मिल जाएंगे, लेकिन चीफ की दौड में एक एडिशनल चीफ इंजीनियर भी है. 2011 में अजमेर में इनके खिलाफ ACB में मुकदमा दर्ज हो चुका है.इसलिए भ्रष्ट साहब को चीफ बना दिया जाएगा,क्या PHED में क्या भ्रष्ट अफसरों ''राज'' का बढ़ेगा,ये सवाल डीपीसी से पहले उठने लगे है.बताया ये भी जा रहा है कि इन्ही अधिकारी के पॉवर के कारण पिछली बार डीपीसी अटकी थी.
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चीफ की कुर्सी लड़ाई, दूसरे इंजीनियर पर चढ़ाई
डीपीसी पर तलवार सिर्फ चीफ इंजीनियर की पोस्ट को लेकर अटकी पडी है.आपसी खींचतान का असर ना केवल चीफ की कुर्सी बल्कि दूसरे इंजीनियर की कुर्सी पर दिखाई दे रहा है.इस डीपीसी में दो चीफ इंजीनियर बनाए जाएंगे.दौड में तीन चल रहे है.जबकि 7 एडिशनल चीफ इंजीनियर,4 एसई,45 एक्सईएन,7 एसईएन विभाग को मिलेंगे.लेकिन सिर्फ चीफ की लडाई में दूसरे इंजीनियर्स को प्रमोशन का मौका ही नहीं मिल पा रहा है.
तारीख पर तारीख,क्या आज लगेगी मुहर
पीएचईडी में जब भी डीपीसी होती है,तारीख पर तारीख आती चल रही जाती है.अबकी बार भी ऐसी ही तस्वीर देखी गई.पिछले महीने में दो बार,इससे पहले एक बार डीपीसी के लिए मीटिंग बुलाई और आज फिर से अजमेर में आरपीएससी दफ्तर बुलाया गया है. ऐसे में क्या फिर से नई तारीख मिलेगी या आज डीपीसी पर फाइनल मुहर लग जाएगी.