राज्य सरकार के दो दिवसीय चिंतन शिविर का आगाज, अब तक पेश किए गए 4 बजट की क्रियान्वति को लेकर चर्चा
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राज्य सरकार के दो दिवसीय चिंतन शिविर का आगाज, अब तक पेश किए गए 4 बजट की क्रियान्वति को लेकर चर्चा

राज्य सरकार के दो दिवसीय चिंतन शिविर का आगाज हो गया है. शिविर में अब तक पेश किए गए 4 बजट की क्रियान्वति को लेकर चर्चा की गई. 

राज्य सरकार के दो दिवसीय चिंतन शिविर का आगाज, अब तक पेश किए गए 4 बजट की क्रियान्वति को लेकर चर्चा

Jaipur: अपने कार्यकाल के चार साल पूरे करने के बाद अशोक गहलोत सरकार ने चिंतन किया है. राज्य सरकार के दो दिवसीय चिंतन शिविर का आगाज सोमवार को हुआ. सुबह 10 बजे मंत्रिपरिषद की बैठक के साथ शुरू हुआ चिंतन शिविर देर रात तक चला. जिसमें मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने करीब 12 विभागों की समीक्षा की. इस दौरान विभाग के मंत्रियों ने अपने विभाग का प्रजेंटेशन दिया. चिंतन शिविर के सीटिंग अरेंजमेंट की खास बात यह रही कि अरसे बाद मंत्री और विभाग के प्रशासनिक मुखिया मुख्यमंत्री के सामने एक साथ पास–पास बैठे.

राजस्थान सरकार का दावा है कि, उसने जो कहा वह किया भी है. कुछ ऐसी भावना को दर्शाते हुए राज्य सरकार में 4 साल के कार्यकाल के बाद हुए अपने पहले चिंतन शिविर में बात रखी.मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की पहल पर सोमवार को जयपुर के ओटीएस सभागार में राज्य सरकार का दो दिवसीय चिंतन शिविर शुरु हुआ. पूरे दिन सीएम अशोक गहलोत ने करीब 12 विभागों को 5 सेक्टर में बांटकर रात 10:30 बजे तक उनकी समीक्षा की. समीक्षा में मुख्य रूप से जनघोषणा पत्र और अब तक पेश किए गए 4 बजट की क्रियान्वति को लेकर चर्चा की गई.

बैठक में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि राज्य सरकार ने ‘जन सेवा ही कर्म-जन सेवा ही धर्म’ के सूत्र वाक्य के साथ संवेदनशील, पारदर्शी और जवाबदेह सुशासन को धरातल पर साकार किया है. जनता से जो भी वादे किए उन्हें पूरा करने का हरसंभव प्रयास किया है.

सरकार का दावा जनघोषणा पत्र के 77 प्रतिशत वायदे पूरे

19 प्रतिशत प्रगतिरत है.यानि 96 प्रतिशत वायदों को पूरा किया गया.

4 साल में की गई 2722 बजट घोषणाओं में से 2549 की वित्तीय स्वीकृति जारी.

जो करीब 94 प्रतिशत है.बजट की 49 फीसदी घोषणाएं पूरी

37 प्रतिशत बजट घोषणाएं प्रगतिरत है.

मुख्यमंत्री ने चिंतन शिविर में समीक्षा के दौरान कहा कि चार साल में जितनी बजट घोषणाएं हुई, उतनी पहले कभी नहीं हुई. सीमित संसाधनों, कोविड की महामारी सहित अन्य प्रतिकूलताओं के चलते इन घोषणाओं को पूरा करना आसान नहीं था, लेकिन राज्य सरकार ने दिन-रात एक कर जनता से किए वायदों को पूरा किया. इसी का परिणाम रहा है कि राजस्थान 11.04 प्रतिषत आर्थिक विकास दर हासिल कर पूरे देष में राज्य सकल घरेलू उत्पाद में दूसरे स्थान पर रहा है. प्रति व्यक्ति आय में भी वृद्धि दर्ज की गई है. ममता भूपेश ने कहा की सरकार ने जो कहा, वो किया की तर्ज पर काम किया है.

 

सरकार ने गिनाई उपलब्धियां -

- एक करोड़ लोगों को सामाजिक सुरक्षा पेंशन

- मॉडल स्टेट बना राजस्थान

- स्वास्थ्य सुविधाओं का ढांचा हुआ मजबूत

- चिरंजीवी से 90 प्रतिशत आबादी को मिला स्वास्थ्य बीमा का लाभ

- शिक्षा विभाग में 4 साल में सर्वाधिक 81,637 नियुक्तियां

- कृषि और पशुपालन में लगातार आगे बढ़ रहा राजस्थान

मंगलवार को भी सरकार का चिंतन शिविर जारी रहेगा. आखिरी दिन मुख्यमंत्री अशोक गहलोत 4 सेक्टर में करीब 17 विभागों की समीक्षा करेंगे. इनमें सबसे महत्वपूर्ण कानून व्यवस्था की समीक्षा होगी. क्योंकि लगातार इस विषय पर विपक्ष सरकार को घेरता रहा है.

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