CG Politics: छत्तीसगढ़ में उठी नए धर्म की मांग, CM बघेल के मंत्री ने कहा आदिवासी हिंदू नहीं
Advertisement
trendingNow1/india/madhya-pradesh-chhattisgarh/madhyapradesh1627200

CG Politics: छत्तीसगढ़ में उठी नए धर्म की मांग, CM बघेल के मंत्री ने कहा आदिवासी हिंदू नहीं

CG Excise Minister: छत्तीसगढ़ सरकार के आबकारी मंत्री ने आदिवासियों को लेकर बड़ा बयान देते हुए कहा है कि आदिवासी समाज के लोग हिंदू नहीं है. इसके लिए 20 अप्रैल को आदिवासी समाज के लोग राष्ट्रपति से गुहार लगाएंगे. 

फाइल फोटो

CG Excise Minister Kawasi Lakhma Big Statement Tribals: रायपुर के शहीद स्मारक भवन में बीते शनिवार को अनुसूचित जनजाति (scheduled tribe) का आयोजन किया गया. इस दौरान कवासी लखमा ने आदिवासी समाज (tribal society) को लेकर बड़ा बयान दिया. उन्होंने कहा कि आदिवासी हिंदू नहीं हैं. आदिवासियों प्रकृति से जन्मे लोग हैं,आदिवासियों के लिए अलग धर्म कोड होना चाहिए, जनगणना में उन्हें हिंदुओं में शामिल ना किया जाए. इस दौरान 20 अप्रैल को राष्ट्रपति (president) से भेंट कर यह मांग उठाने का फैसला लिया गया.

जानिए मामला
दरअसल शनिवार को रायपुर के शहीत स्मारक भवन पर अनुसूचित जनजाति का आयोजन किया गया था. इस आयोजन में प्रदेश भर के आदिवासी समाज के लोगों को बुलाया गया था. इस दौरान अमरजीत भगत मंच पर भाषण दे रहे थे. तभी आरक्षण को लेकर टिप्पणी कर दी. जिससे कुछ लोग नाराज हो गए और विरोध करते हुए आरक्षण वापस लो के नारे लगाने लगे. आरक्षण के मुद्दे पर भड़के आदिवासी समाज के लोगों ने आदिवासी विधायकों को भी जमकर कोसा. इस दौरान भीड़ ने कहा कि हमारे 29 विधायकों में कोई भी आरक्षण के लिए कुछ नहीं कर पाया है.

आदिवासियों की नाराजगी पर कवासी लखमा ने दिया बयान
इधर पूरे घटना के मामले में जब आबकारी मंत्री कवासी लखमा से सवाल किया गया तो उन्होंने इससे साफ इंकार करते हुए कहा कि जहां 4 बर्तन एक साथ रहते हैं, उसमें टकराहत होती है. ऐसा ही इस कार्यक्रम के दौरान हुआ. कवासी लखमा ने कहा कि जिस तरह जैन धर्म को कोड दिया गया है. उसी तरह आदिवासी समाज के लोग भी अपने धर्म कोड की बात कह रहे हैं. उन्होंने कहा कि आदिवासी हिंदू नहीं हैं. यहां के मूल निवासी आदिवासी हैं. आदिवासियों के लिए अलग धर्म कोड होना चाहिए, जनगणना में उन्हें हिंदुओं में शामिल ना किया जाए. रायपुर में आयोजित सम्मेलन में फैसल लिया गया कि 20 अप्रैल को आदिवासी समाज के लोग दिल्ली चलेंगे और राष्ट्रपति से मिलकर अलग धर्म कोड की गुहार लगाएंगे.

ये भी पढ़ेंः PM Kisan Yojana: 14वीं किस्त से पहले बुरी खबर! इन किसानों से वसूली जाएगी सम्मान निधि

Trending news