Jharkhand Politics: झारखंड में कब-कब किन-किन मुख्यमंत्रियों पर गिरी गिरफ्तारी की गाज, जानें पूरा आंकड़ा
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Jharkhand Politics: झारखंड में कब-कब किन-किन मुख्यमंत्रियों पर गिरी गिरफ्तारी की गाज, जानें पूरा आंकड़ा

Hemant Soren: हेमंत सोरेन से पहले झारखंड के ऐसे 3 मुख्यमंत्री है. जिनके ऊपर गिरफ्तारी की गाज गिर चुकी है. इनमें हेमंत सोरेन के पिता शिबू सोरेन और झारखंड के दिग्गज नेता मधु कोड़ा भी शामिल है.  

Jharkhand Politics: झारखंड में कब-कब किन-किन मुख्यमंत्रियों पर गिरी गिरफ्तारी की गाज, जानें पूरा आंकड़ा

रांचीः Jharkhand Politics: झारखंड में पिछले कई दिनों से जारी राजनीतिक उठा पटक का अंत लगभग हो गया है. हेमंत सोरेन के सीएम पद से इस्तीफा देने के बाद अब चंपई सोरेन को झारखंड की कमान मिली है. बीते दिन बुधवार (31 जनवरी) को झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को जमीन घोटाले से जुड़े मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने 6 घंटे पूछताछ के बाद गिरफ्तार कर लिया है. ईडी ने कहा कि हेमंत सोरेन द्वारा दिए गए जवाब से वे संतुष्ट नहीं हैं. हालांकि झारखंड में मुख्यमंत्री की गिरफ्तारी ये कोई पहली बार नहीं हैं. दरअसल, झारखंड के निर्माण के बाद से अब तक कुल 6 मुख्यमंत्री रहे हैं. जिनमें से 3 मुख्यमंत्रियों को अलग-अलग मामलों में गिरफ्तार किया जा चुका है. वहीं इसी के साथ-साथ तीन बार राष्ट्रपति शासन भी लागू किया जा चुका है. आइए दोनों पूर्व सीएम की गिरफ्तारी का किस्सा भी आपको बताते है. 

तीन मुख्यमंत्री जो जा चुके है जेल
- मधु कोड़ा
- शिबू सोरेन
- हेमंत सोरेन

मधु कोड़ा का किस्सा
झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री मधु कोड़ा अपने कार्यकाल के दौरान जेल की हवा खा चुके है. मधु कोड़ा भ्रष्टाचार के मामले में जेल गए थे. उन पर मनी लॉन्ड्रिंग और आय से अधिक संपत्ति जमा करने का आरोप लगा था. कथित तौर पर वे एक खनन मामले में शामिल थे. उन पर रिश्वत के बदले खनन का ठेका देने का आरोप लगा था. कोड़ा पर 4,000 करोड़ से ज्यादा की कमाई करने का आरोप लगा था. साल 2009 में कोड़ा गिरफ्तार हुए थे और साल 2013 में रिहा कर दिया गया था. इसके साथ ही मनी लॉन्ड्रिंग मामले में 144 करोड़ रुपये की संपत्ति को कुर्क कर लिया गया था. जिसके बाद एक बार फिर साल 2017 में उन्हें दोषी ठहराया गया और 3 साल की सजा के साथ 25 लाख का जुर्माना लगाया गया. 

शिबू सोरेन का किस्सा
शिबू सोरेन हेमंत सोरेन के पिता है. शिबू सोरेन को साल 1994 में उनके निजी सचिव शशि नाथ झा के अपहरण और हत्या के मामले में शामिल होने के आरोप में दिल्ली की अदालत ने साल 2006 में शिबू सोरेन को आजीवन कारावास की सजा सुनाई थी. वहीं अगस्त 2007 में दिल्ली हाईकोर्ट ने कोई ठोस सबूत न मिलने और पेश करने पर सीबीआई को फटकार लगाई थी और शिबू सोरेन को बरी कर दिया था. अप्रैल 2018 में सुप्रीम कोर्ट ने अपने निजी सचिव की हत्या के मामले में शिबू को बरी करने के फैसले को बरकरार रखा. 

ये सीएम नहीं गए जेल
साल 2000 में 15 नवंबर को बिहार से अलग होकर झारखंड एक राज्य के रूप में अस्तित्व में आया. झारखंड के अलग होने के बाद से अब तक प्रदेश में 6 मुख्यमंत्री बन चुके हैं. जिनमें से केवल रघुवर दास ने अपने 5 साल का कार्यकाल पूरा किया है. वहीं 6 मुख्यमंत्रियों में से बाबूलाल मरांडी, रघुवर दास और अर्जुन मुंडा है जिन्हें जेल नहीं जाना पड़ा है.

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