LIVE Update Chhath Puja 2022: चार दिन तक चलने वाले छठ महापर्व का आज सबसे महत्वपूर्ण दिन है. व्रती महिलाएं और श्रद्धालु आज शाम को अस्ताचल गामी सूर्य को अर्घ्य देने वाले हैं. जानिए आज का सूर्यास्त का समय और शुभ योग
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LIVE Update Chhath Puja 2022: पावन पर्व छठ पूजा की शुक्रवार से शुरुआत हो गई है. चार दिन तक चलने वाले इस पावन पर्व का आज यानी रविवार को तीसरा दिन है.शनिवार की शाम को खरना पूजा करने और प्रसाद खाने के बाद 36 घंटे के निर्जला व्रत की शुरुआत हो गई थी. अब आज रविवार की शाम को अस्ताचलगामी सूर्य को अर्घ्य दिया जाएगा. आज छठ पूजा के दिन खास बात है कि 30 अक्टूबर, रविवार को षष्ठी तिथि पूरे दिन रहेगी. इस दिन ग्रह-नक्षत्रों के संयोग से सिद्धि, शुभ, सुकर्मा और धृति नाम के 4 शुभ योग बनेंगे. इन चार शुभ योगों में छठ पूजा करने से इसका महत्व और भी बढ़ गया है. आज रविवार को संध्याकालीन अर्ध्य देने का शुभ मुहूर्त शाम 05.37 से शुरू होगा. यही सूर्यास्त का समय भी है.छठ पूजा से जुड़ी सभी अपडेट आपको यहां मिलेगी.
भवन निर्माण मंत्री अशोक चौधरी के आवास पर छठ पूजा हुई. मंत्री की पत्नी छठ व्रत करती हैं, जिसमें पूरा परिवार शामिल होता है. डूबते हुए सूर्य को अर्घ्य देने के बाद आज सुबह उगते हुए सूर्य को अर्घ्य देने के साथ छठ पूजा पूरी हुई, जिसमें मंत्री अशोक चौधरी ने परिजनों के साथ भाग लिया.
मुख्यमंत्री नितीश कुमार ने उदयीमान भगवान भास्कर को अर्घ्य अर्पित कर राज्य की प्रगति, सुख, समृद्धि और शांति के लिए प्रार्थना की.
पटना के मीनार घाट पहुंचे तेजस्वी यादव ने उगते हुए सूर्य को अर्घ्य प्रदान किया. मीनार घाट में तेजस्वी यादव के परिवार की महिलाएं छठ में खड़ी थी और सूप के सामने अर्घ्य दिया. यहां उन्होंने परिवार के साथ छठ पूजा की. तेजस्वी यादव ने कहा कि, उनका पूरा परिवार आस्था के साथ छठ मनाता आ रहा है. उन्हें इस पर्व में पूरी आस्था और विश्वास है. तेजस्वी यादव ने कहा कि, नीतीश कुमार की अगुवाई में हमलोग काम कर रहे हैं और छठ व्रतियों को किसी तरह की तकलीफ न हो इसका ध्यान रखा गया है..
आज बक्सर में केंद्रीय मंत्री अश्विनी कुमार चौबे ने विभिन्न छठ घाटों का भ्रमण कर छठ व्रतियों से आशीर्वाद लिया। उन्होंने प्रातः कालीन उदीयमान सूर्य नारायण को अर्घ्य देने के लिए सभी व्रतियों को सहृदय बधाई और शुभकामनाएँ दी।
जन सुराज यात्रा कर रहे प्रशांत किशोर बेतिया के लौरिया में छठ पूजा में शामिल हुए. प्रशांत किशोर सुबह लौरिया के छठ घाट पर पहुंचे, जहां छठ पूजा में शामिल हुए. उगते सूर्य को अर्घ्य दिया गया. प्रशांत किशोर ने छठ पूजा की सबको बधाई और शुभकामनाएं दी.
छठ व्रतियों ने डूबते हुए सूर्य को दिया पहला अर्घ्य
Chhath Puja 2022 Live: छठ व्रत करने वाले श्रद्धालुओं को किसी भी प्रकार की कोई दिक्कत ना हो, इसको लेकर समितियों के द्वारा सुचारू रूप से लाइट की व्यवस्था कर दी गई है. वहीं तालाबों की साफ-सफाई का विशेष ख्याल रखा गया है. चार दिन तक चलने वाले छठ महापर्व में डूबते हुए सूर्य को पहला अर्घ्य आज दिया गया है. वहीं छठ पर्व को लेकर जिला प्रशासन भी पूरी तरह अलर्ट है और छठ पूजा समिति के द्वारा भी श्रद्धालुओं की सुविधाओं हेतु तैयारियां जोर-शोर पर की गयी है.
छठ व्रतियों ने डूबते हुए सूर्य को दिया पहला अर्घ्य
Chhath Puja 2022 Live: छठ व्रत करने वाले श्रद्धालुओं को किसी भी प्रकार की कोई दिक्कत ना हो, इसको लेकर समितियों के द्वारा सुचारू रूप से लाइट की व्यवस्था कर दी गई है. वहीं तालाबों की साफ-सफाई का विशेष ख्याल रखा गया है. चार दिन तक चलने वाले छठ महापर्व में डूबते हुए सूर्य को पहला अर्घ्य आज दिया गया है. वहीं छठ पर्व को लेकर जिला प्रशासन भी पूरी तरह अलर्ट है और छठ पूजा समिति के द्वारा भी श्रद्धालुओं की सुविधाओं हेतु तैयारियां जोर-शोर पर की गयी है.
छठ घाटों को किया गया साफ
Chhath Puja 2022 Live: झारखंड में छठ पूजा उत्सव के मद्देनजर सभी घाटों को साफ कर दिया गया है और रोशनी से जगमग कर दिया गया है. रविवार शाम को सूर्य देव को अर्घ्य’ देने के मद्देनजर इन घाटों तक जाने वाले रास्तों पर बैरिकेड लगा दिए गए हैं. एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया कि सुरक्षित और शांतिपूर्ण तरीके से छठ पूजा मनाने के लिए विभिन्न जिलों में प्रशासन ने संवेदनशील घाटों पर अतिरिक्त सुरक्षाबलों और राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) के दलों को तैनात किया गया है.
व्रती महिला आज डूबते हुए सूर्य को देगी अर्घ्य
Chhath Puja: लोक आस्था महापर्व छठ पूजा का आज तीसरा दिन है और आज छठ घाटों पर छठ व्रती डूबते हुए सूर्य को अर्घ्य देंगे. ऐसे में छठ घाटों पर श्रद्धालुओं आना शुरू हो गया है. ऐसे में कुछ छठ व्रती महिलाएं जिनकी मनोकामना पूर्ण हुई है. वो सड़क पर दंड प्रणाम करते हुए छठ घाटों पर जा रही हैं. शहर के नया बाजार की रहने वाली छठ व्रती रीना देवी अपने घर से छठ घाट तक तीन किलोमीटर का सफर दंड प्रणाम करते हुए घाट पर पहुंची है. छठ व्रती रीना देवी का कहना है कि छठी मैया की महिमा अपरंपार है. मन्नतें पूरी होने पर आज वो दंड प्रणाम करते हुए छठ घाट जा रही है.
Chhath Puja 2022: आदित्य हृदय स्त्रोत से प्रसन्न होते हैं सूर्यदेव
आज रविवार को सूर्य पूजा का दिन होता है. छठ व्रत न भी करते हों तो भी सूर्यदेव को प्रसन्न करने के लिए आज खास उपाय कर सकते हैं. सूर्यदेव की पूजा के लिए उनके मंत्र समेत हृदय स्त्रोत का जाप करना चाहिए. इसे आदित्य हृदय स्त्रोत कहते हैं. इसका पाठ यहां देख सकते हैं.
आदित्य हृदय स्तोत्र विनियोग
ओम अस्य आदित्यह्रदय स्तोत्रस्य अगस्त्यऋषि: अनुष्टुप्छन्दः आदित्यह्रदयभूतो भगवान् ब्रह्मा देवता निरस्ताशेषविघ्नतया ब्रह्माविद्यासिद्धौ सर्वत्र जयसिद्धौ च विनियोगः.
पूर्व पिठित
ततो युद्धपरिश्रान्तं समरे चिन्तया स्थितम्. रावणं चाग्रतो दृष्ट्वा युद्धाय समुपस्थितम्.
दैवतैश्च समागम्य द्रष्टुमभ्यागतो रणम्. उपगम्याब्रवीद् राममगस्त्यो भगवांस्तदा.
राम राम महाबाहो श्रृणु गुह्मं सनातनम्. येन सर्वानरीन् वत्स समरे विजयिष्यसे.
आदित्यहृदयं पुण्यं सर्वशत्रुविनाशनम्. जयावहं जपं नित्यमक्षयं परमं शिवम्.
सर्वमंगलमागल्यं सर्वपापप्रणाशनम्. चिन्ताशोकप्रशमनमायुर्वर्धनमुत्तमम्.
मूल -स्तोत्र
रश्मिमन्तं समुद्यन्तं देवासुरनमस्कृतम्. पुजयस्व विवस्वन्तं भास्करं भुवनेश्वरम्.
सर्वदेवात्मको ह्येष तेजस्वी रश्मिभावन:. एष देवासुरगणांल्लोकान् पाति गभस्तिभि:.
एष ब्रह्मा च विष्णुश्च शिव: स्कन्द: प्रजापति:. महेन्द्रो धनद: कालो यम: सोमो ह्यापां पतिः.
पितरो वसव: साध्या अश्विनौ मरुतो मनु:. वायुर्वहिन: प्रजा प्राण ऋतुकर्ता प्रभाकर:.
आदित्य: सविता सूर्य: खग: पूषा गभस्तिमान्. सुवर्णसदृशो भानुर्हिरण्यरेता दिवाकर:.
हरिदश्व: सहस्त्रार्चि: सप्तसप्तिर्मरीचिमान्. तिमिरोन्मथन: शम्भुस्त्वष्टा मार्तण्डकोंऽशुमान्.
हिरण्यगर्भ: शिशिरस्तपनोऽहस्करो रवि:. अग्निगर्भोऽदिते: पुत्रः शंखः शिशिरनाशन:.
व्योमनाथस्तमोभेदी ऋग्यजु:सामपारग:. घनवृष्टिरपां मित्रो विन्ध्यवीथीप्लवंगमः.
आतपी मण्डली मृत्यु: पिगंल: सर्वतापन:. कविर्विश्वो महातेजा: रक्त:सर्वभवोद् भव:.
नक्षत्रग्रहताराणामधिपो विश्वभावन:. तेजसामपि तेजस्वी द्वादशात्मन् नमोऽस्तु ते.
नम: पूर्वाय गिरये पश्चिमायाद्रये नम:. ज्योतिर्गणानां पतये दिनाधिपतये नम:.
जयाय जयभद्राय हर्यश्वाय नमो नम:. नमो नम: सहस्त्रांशो आदित्याय नमो नम:.
नम उग्राय वीराय सारंगाय नमो नम:. नम: पद्मप्रबोधाय प्रचण्डाय नमोऽस्तु ते.
ब्रह्मेशानाच्युतेशाय सुरायादित्यवर्चसे. भास्वते सर्वभक्षाय रौद्राय वपुषे नम:.
तमोघ्नाय हिमघ्नाय शत्रुघ्नायामितात्मने. कृतघ्नघ्नाय देवाय ज्योतिषां पतये नम:.
तप्तचामीकराभाय हरये विश्वकर्मणे. नमस्तमोऽभिनिघ्नाय रुचये लोकसाक्षिणे.
नाशयत्येष वै भूतं तमेष सृजति प्रभु:. पायत्येष तपत्येष वर्षत्येष गभस्तिभि:.
एष सुप्तेषु जागर्ति भूतेषु परिनिष्ठित:. एष चैवाग्निहोत्रं च फलं चैवाग्निहोत्रिणाम्.
देवाश्च क्रतवश्चैव क्रतुनां फलमेव च. यानि कृत्यानि लोकेषु सर्वेषु परमं प्रभु:.
एनमापत्सु कृच्छ्रेषु कान्तारेषु भयेषु च. कीर्तयन् पुरुष: कश्चिन्नावसीदति राघव.
पूजयस्वैनमेकाग्रो देवदेवं जगप्ततिम्. एतत्त्रिगुणितं जप्त्वा युद्धेषु विजयिष्यसि.
अस्मिन् क्षणे महाबाहो रावणं त्वं जहिष्यसि. एवमुक्ता ततोऽगस्त्यो जगाम स यथागतम्.
एतच्छ्रुत्वा महातेजा नष्टशोकोऽभवत् तदा. धारयामास सुप्रीतो राघव प्रयतात्मवान्.
आदित्यं प्रेक्ष्य जप्त्वेदं परं हर्षमवाप्तवान्. त्रिराचम्य शूचिर्भूत्वा धनुरादाय वीर्यवान्.
रावणं प्रेक्ष्य हृष्टात्मा जयार्थं समुपागतम्. सर्वयत्नेन महता वृतस्तस्य वधेऽभवत्.
अथ रविरवदन्निरीक्ष्य रामं मुदितमना: परमं प्रहृष्यमाण:.
निशिचरपतिसंक्षयं विदित्वा सुरगणमध्यगतो वचस्त्वरेति.
Chhath Puja 2022: द्रौपदी ने वनवास में किया था छठ व्रत, महाभारत में है वर्णन
महाभारत की कथा में द्रौपदी पर भी सूर्यदेव की कृपा बताई जाती है. द्रौपदी के पास एक अक्षय पात्र था, जिसमें अन्न का भंडार कभी खत्म नही होता था. पांचों पांडवों ने इसी अक्षय पात्र के सहारे वनवास काटा था. शर्त ये थी कि जैसे ही द्रौपदी उस पात्र से कुछ निकालकर खाले और बर्तन मांज कर रख दे तो इसके बाद उस दिन पात्र से कुछ नहीं निकलता था. फिर अगले ही दिन सूर्योदय के साथ ही वह पात्र भर जाता था और दोबारा उससे अन्न निकलने लगता था. द्रौपदी भी प्रतिदिन सूर्यदेव की पूजा करती थी और उन्हें अर्घ्य देती थी. महाभारत युद्ध से पहले भी द्रौपदी ने विजय की कामना के लिए षष्ठी व्रत किया था.
Chhath Puja 2022: कर्ण था सूर्यदेव का भक्त, रोज करता था पूजा
छठ पूजा और सूर्यदेव के व्रत का नाम आता है तो महाभारत के किरदार कर्ण का नाम प्रमुख रूप से लिया जाता है. कर्ण को महाभारत में सूर्यदेव का ही पुत्र बताया गया है. कहते हैं कि उसका जन्म सूर्य कवच और कुंडल के साथ हुआ था. सूर्य कवच इतना शक्तिशाली है कि उसका भेदन इंद्र का वज्र भी नहीं कर सकता है. कर्ण का नियम था कि वह प्रतिदिन सूर्योदय तक कमर तक जल में खड़े रहकर भगवान भुवन भास्कर को अर्घ्य दिया करता था. सूर्यदेव की कृपा से ही कर्ण को कोई हरा नहीं सकता था. जल में खड़े रहकर सूर्य को अर्घ्य देना छठ पूजा का ही प्रतीक है.
Chhath Puja Live: आज बन रहा है महाप्रसाद ठेकुआ
भगवान सूर्यदेव को फलों के प्रसाद के अलावा शुद्ध घी से बने ठेकुआ का भोग भी लगाया जाता है. ठेकुआ छठ पर्व की प्रमुख पहचान है. शाम को जब अर्घ्य दिया जाता है तब सूप में ठेकुआ भी शामिल होता है. जिसके लिए ठेकुआ बनाने का कार्य व्रती महिलाओं के द्वारा किया जा रहा है. रविवार की सुबह से ही महिला ठेकुआ बनाने के कार्यों में जुटी हुई हैं. भगवान को चढ़ाने के लिए ठेकुआ शुद्ध घी में तैयार किया जाता है. ठेकुआ गेहूं के आटा, गुड, चीनी आदि सामग्री से तैयार किया जाता है. काफी धीमी धीमी आंच में ठेकुआ को तैयार किया जाता है. यह प्रसाद नहीं बल्कि समरसता का प्रतीक भी है.
Live Chhath Puja 2022: रामकथा में भी मिलती है छठ पूजा
छठ पूजा को सूर्य षष्ठी व्रत के नाम से पुराणों में वर्णित किया गया है. इस व्रत के अनुसार रविवार के अलावा शुक्ल पक्ष की षष्ठी तिथि भी सूर्यदेव को समर्पित है. छठ पूजा का वर्णन रामायण में एक-दूसरे स्वरूप में ही मिलता है. इसमें कहा गया है कि जब श्रीराम, सीता और लक्ष्मण के साथ वन के लिए निकले, तब रास्ते में गंगा पार करते हुए माता सीता ने जल में खड़े होकर और आंचल फैला कर सकुशल वापसी की प्रार्थना की थी.
इसके बाद जब राम और सीता 14 वर्ष के वनवास खत्म कर अयोध्या लौटे थे, तब ऋषि-मुनियों ने ब्रह्म हत्या के पाप से मुक्त होने के लिए उपाय बताए थे. श्रीराम को राजसूय यज्ञ भी करना था. इस यज्ञ में पूजा के लिए श्रीराम ने मुग्दल ऋषि को आमंत्रित किया. मुग्दल ऋषि ने माता सीता को ही उन्हें उनकी गंगा प्रार्थना की याद दिलाई और कार्तिक मास की शुक्ल पक्ष की षष्ठी तिथि के दिन सूर्यदेव की पूजा करने का आदेश दिया. इसके बाद सीता मैया ने मुग्दल ऋषि के आश्रम में रहकर छह दिनों सूर्य भगवान की पूजा की थी.
आदिदेव हैं सूर्य देव, पुराणों में है वर्णन
वेदों में सूर्य को आदिदेव कहा गया है. ऋग्वेद के मंडलों में कई सूक्तियों में अग्नि और सूर्य की पूजा का विधान बताया गया है. सूर्यदेव को हिरण्यगर्भ और भास्कर नाम से संबोधित किया गया है. पुराणों में सूर्यदेव की पूजा के कई वर्णन मिलते हैं. इसमें रामायण में श्रीराम का वंश सूर्यवंश बताया गया है. इसलिए श्रीराम और सीता सूर्य पूजा करते थे. वहीं महाभारत में कर्ण सूर्यपुत्र था, और वह प्रतिदिन कमर तक जल में खड़े रहे सूर्य अर्घ्य दिया करता था. द्रौपदी ने भी सूर्य पूजा की थी.
आदिदेव हैं सूर्य देव, पुराणों में है वर्णन
वेदों में सूर्य को आदिदेव कहा गया है. ऋग्वेद के मंडलों में कई सूक्तियों में अग्नि और सूर्य की पूजा का विधान बताया गया है. सूर्यदेव को हिरण्यगर्भ और भास्कर नाम से संबोधित किया गया है. पुराणों में सूर्यदेव की पूजा के कई वर्णन मिलते हैं. इसमें रामायण में श्रीराम का वंश सूर्यवंश बताया गया है. इसलिए श्रीराम और सीता सूर्य पूजा करते थे. वहीं महाभारत में कर्ण सूर्यपुत्र था, और वह प्रतिदिन कमर तक जल में खड़े रहे सूर्य अर्घ्य दिया करता था. द्रौपदी ने भी सूर्य पूजा की थी.
आदिदेव हैं सूर्य देव, पुराणों में है वर्णन
वेदों में सूर्य को आदिदेव कहा गया है. ऋग्वेद के मंडलों में कई सूक्तियों में अग्नि और सूर्य की पूजा का विधान बताया गया है. सूर्यदेव को हिरण्यगर्भ और भास्कर नाम से संबोधित किया गया है. पुराणों में सूर्यदेव की पूजा के कई वर्णन मिलते हैं. इसमें रामायण में श्रीराम का वंश सूर्यवंश बताया गया है. इसलिए श्रीराम और सीता सूर्य पूजा करते थे. वहीं महाभारत में कर्ण सूर्यपुत्र था, और वह प्रतिदिन कमर तक जल में खड़े रहे सूर्य अर्घ्य दिया करता था. द्रौपदी ने भी सूर्य पूजा की थी.
आदिदेव हैं सूर्य देव, पुराणों में है वर्णन
वेदों में सूर्य को आदिदेव कहा गया है. ऋग्वेद के मंडलों में कई सूक्तियों में अग्नि और सूर्य की पूजा का विधान बताया गया है. सूर्यदेव को हिरण्यगर्भ और भास्कर नाम से संबोधित किया गया है. पुराणों में सूर्यदेव की पूजा के कई वर्णन मिलते हैं. इसमें रामायण में श्रीराम का वंश सूर्यवंश बताया गया है. इसलिए श्रीराम और सीता सूर्य पूजा करते थे. वहीं महाभारत में कर्ण सूर्यपुत्र था, और वह प्रतिदिन कमर तक जल में खड़े रहे सूर्य अर्घ्य दिया करता था. द्रौपदी ने भी सूर्य पूजा की थी.
आदिदेव हैं सूर्य देव, पुराणों में है वर्णन
वेदों में सूर्य को आदिदेव कहा गया है. ऋग्वेद के मंडलों में कई सूक्तियों में अग्नि और सूर्य की पूजा का विधान बताया गया है. सूर्यदेव को हिरण्यगर्भ और भास्कर नाम से संबोधित किया गया है. पुराणों में सूर्यदेव की पूजा के कई वर्णन मिलते हैं. इसमें रामायण में श्रीराम का वंश सूर्यवंश बताया गया है. इसलिए श्रीराम और सीता सूर्य पूजा करते थे. वहीं महाभारत में कर्ण सूर्यपुत्र था, और वह प्रतिदिन कमर तक जल में खड़े रहे सूर्य अर्घ्य दिया करता था. द्रौपदी ने भी सूर्य पूजा की थी.
आदिदेव हैं सूर्य देव, पुराणों में है वर्णन
वेदों में सूर्य को आदिदेव कहा गया है. ऋग्वेद के मंडलों में कई सूक्तियों में अग्नि और सूर्य की पूजा का विधान बताया गया है. सूर्यदेव को हिरण्यगर्भ और भास्कर नाम से संबोधित किया गया है. पुराणों में सूर्यदेव की पूजा के कई वर्णन मिलते हैं. इसमें रामायण में श्रीराम का वंश सूर्यवंश बताया गया है. इसलिए श्रीराम और सीता सूर्य पूजा करते थे. वहीं महाभारत में कर्ण सूर्यपुत्र था, और वह प्रतिदिन कमर तक जल में खड़े रहे सूर्य अर्घ्य दिया करता था. द्रौपदी ने भी सूर्य पूजा की थी.
आदिदेव हैं सूर्य देव, पुराणों में है वर्णन
वेदों में सूर्य को आदिदेव कहा गया है. ऋग्वेद के मंडलों में कई सूक्तियों में अग्नि और सूर्य की पूजा का विधान बताया गया है. सूर्यदेव को हिरण्यगर्भ और भास्कर नाम से संबोधित किया गया है. पुराणों में सूर्यदेव की पूजा के कई वर्णन मिलते हैं. इसमें रामायण में श्रीराम का वंश सूर्यवंश बताया गया है. इसलिए श्रीराम और सीता सूर्य पूजा करते थे. वहीं महाभारत में कर्ण सूर्यपुत्र था, और वह प्रतिदिन कमर तक जल में खड़े रहे सूर्य अर्घ्य दिया करता था. द्रौपदी ने भी सूर्य पूजा की थी.
आरा का ये लड़का 4 साल की उम्र से कर रहा है व्रत
जिस उम्र में बच्चे छठ पर्व में खुशियां व उल्लास मनाते हैं उस उम्र से आरा के आदित्य छठ व्रत का कठिन अनुष्ठान कर रहे हैं. आदित्य पिछले 14 वर्षों से लगातार छठ का कठिन व्रत करते आ रहे हैं, जब वह मात्र चार वर्ष का था.
आदित्य कहता है कि 4 नवम्बर को उसका जन्मदिन है. जन्मदिन के समय ही उस समय छठ था तो लोगों से सुना कि जो छठ करता है छठी मइया उसकी सारी मनोकामना पूरी करती हैं.
पढ़िए पूरी कहानीः Chhath Puja 2022: छठी माता की है इस बालक पर कृपा, 4 साल की उम्र से कर रहा अनुष्ठान
Chhath Puja 2022: दुमका में छठ व्रतियों के लिए खास व्यवस्था
झारखंड के दुमका में लोक आस्था के महापर्व छठ पूजा को लेकर छठव्रतियों को खरीदारी को लेकर परेशानी न हो इसके लिए एक ही जगह जिला प्रशासन की ओर से छठ सामग्री का बाजार लगाया गया है. दुमका के यज्ञ मैदान में लगे छठ बाजार में पूजन-सामग्रियों के अलावा सूप, डलिया, नारियल, फल, गुड़, मिट्टी के बर्तन आदि की दुकानें सजी हैं. जहां खरीदारी के लिए लोगों की भीड़ देखी जा रही है. छठ के मौके पर लगनेवाले विशेष बाजार में मेवे, लकड़ी और पूजन सामग्री से लेकर फल तक मिल रहे हैं. छठ में फलों का महत्व है ऐसे में छठ में विशेष रूप से नींबू, सेब, केला, ईख, कंदा, मूली, गाजर, बादाम, संतरा और नारियल की बिक्री हो रही है. एक जगह छठ का बाजार सजने से छठव्रतियों को खरीदारी में सुविधा मिल रही है वही दुकानदार भी खुश है कि एक जगह उन्हें छठ का सामान बेचने का मौका मिल रहा है.
Chhath Puja 2022: किशनगंज जिले के सभी 257 छठ घाट सजधज कर तैयार
लोक आस्था के महापर्व पर छठ पूजा को लेकर किशनगंज जिले के सभी 257 छठ घाट सज धज कर तैयार हो गए हैं. छठव्रती अस्तचलगामी भगवान भास्कर को पहला अर्घ्य देंगे. जिसके लिए प्रशासन के द्वारा सभी घाटों पर सुरक्षा का पुख्ता इंतजाम करने का दावा किया गया है. जिला पदाधिकारी श्रीकांत शास्त्री ने कहा कि नदी के जलस्तर को देखते हुए ,सुरक्षा की दृष्टिकोण से नदियों में बेरिकेटिंग की विशेष व्यवस्था की गयी है.सभी मुख्य घाटों पर एसडीआरएफ टीम की तैनाती करने का निर्देश दिया गया है. डीएम ने कहा कि सभी छठ घाटों में पोस्टर और बैनर लगाए गए हैं. ताकि आमजनों तक इस योजना के लाभ की जानकारी सुगमता पूर्वक पहुंचे. इससे कि जरूरतमंद लाभार्थियों को ससमय योजना का लाभ मिल सके. डीएम ने कहा कि छठ महापर्व के दौरान प्रवासी परिवार त्योहार मनाने अपने अपने घर आते हैं,उन्हें भी इस योजना का लाभ मिले जिसके लिए छठ घाटों पर प्रचार-प्रसार अभियान चलाया जा रहा है.
Chhath Puja 2022: गोड्डा के छठ घाट हुए तैयार,समितियों के साथ साथ पुलिस ने भी कसी कमर
गोड्डा के छठ घाट सजधज कर तैयार हो गए हैं. प्रशासन और समितियों के साथ-साथ पुलिस ने भी कमर कस ली है. इधर बाजारों में भी रौनक बढ़ गई है लोग खरीदारी में जुट गए हैं. रविवार को अस्ताचलगामी भगवान भास्कर को पहला अर्घ्य अर्पित किया जाएगा. छठ पूजा समितियों ने भी तैयारी में ताकत झोंक दिया है. छठ घाटों पर साफ सफाई के साथ रोशनी के भी व्यापक इंतजाम किए गए हैं. ट्रैफिक में बदलाव अतिरिक्त बल की तैनाती है. महा पर्व को लेकर पूरा माहौल भक्ति में बज रहे छठ गीतों ने माहौल को और भी भक्तिमय कर दिया है. घर-घर में छठी मैया की आराधना की जा रही है.
Chhath Puja 2022: केंद्रीय शिक्षा राज्य मंत्री अन्नपूर्णा देवी ने दी छठ की शुभकामनाएं
लोक आस्था के महापर्व छठ का आज तीसरा दिन है. आज छठ व्रती अस्ताचलगामी सूर्य को अर्घ्य अर्पित करेंगी. छठ को लेकर कोडरमा के कई इलाकों में मेले का आयोजन किया जा रहा है. जगह-जगह भगवान भास्कर की प्रतिमा स्थापित की जा रही है. केंद्रीय शिक्षा राज्यमंत्री अन्नपूर्णा देवी ने जयनगर प्रखंड के घँग़री में छठ मेला का उद्घाटन किया. इस मौके पर उन्होंने देशवासियों को छठ पूजा की बधाई और शुभकामनाएं देते हुए कहा कि इस महापर्व का पौराणिक महत्व के अलावा वैज्ञानिक महत्व भी है. शुद्धता और स्वच्छता के प्रतीक इस पर्व को लेकर हर तरफ भक्तिमय माहौल दिख रहा है.
Chhath Puja 2022: घर से घाट तक छठ के गीत गुलजार
लोक आस्था के छठ महापर्व पर पूरे कैमूर जिला में छठबर्ती एवं उनके परिजनों में काफी उत्साह चरम पर है जहां यह चार दिवसीय महापर्व का शुरुआत हो चुकी है. आज छठ व्रती अस्ताचलगामी सूर्य को अर्घ्य देंगी. आज व्रतियों के घरों में छठ महापर्व पर प्रसाद हेतु नए गुड एवं नए चावल तथा गाय के देसी घी में आम की लकड़ी पर ठेकुआ बना रहा है. इस दौरान छठ व्रती महिलाएं लोक आस्था के महापर्व पर छठ मैया की गीत गा रही हैं. कांच ही बांस के बहंगिया. बहंगी लचकत जाए बहंगी लचकत जाए. बनाना कवन भैया कहरिया दौरा घाटे पहुंचाए. दौरा घाटे पहुंचाए.
Chhath Puja 2022: पीएम मोदी और गृह मंत्री अमित शाह ने दी शुभकामनाएं
पीएम मोदी ने ट्वीट करके सूर्यदेव और प्रकृति की उपासना को समर्पित महापर्व छठ की सभी देशवासियों को हार्दिक शुभकामनाएं दी है. भगवान भास्कर की आभा और छठी मइया के आशीर्वाद से हर किसी का जीवन सदैव आलोकित रहे, यही कामना है.
सूर्यदेव और प्रकृति की उपासना को समर्पित महापर्व छठ की सभी देशवासियों को हार्दिक शुभकामनाएं। भगवान भास्कर की आभा और छठी मइया के आशीर्वाद से हर किसी का जीवन सदैव आलोकित रहे, यही कामना है।
— Narendra Modi (@narendramodi) October 30, 2022
वहीं गृहमंत्री शाह ने ट्वीट किया कि समस्त देशवासियों को सूर्य उपासना के महापर्व छठ पूजा की हार्दिक शुभकामनाएं. छठी मैया सभी को सुख, शांति, समृद्धि और आरोग्य प्रदान करें.
समस्त देशवासियों को सूर्य उपासना के महापर्व छठ पूजा की हार्दिक शुभकामनाएं।
छठी मैया सभी को सुख, शांति, समृद्धि और आरोग्य प्रदान करें। pic.twitter.com/w2lFV4XLBK
— Amit Shah (@AmitShah) October 30, 2022
Chhath Puja Raviwar Surya Dev Puja: रविवार को होती है सूर्य पूजा
छठ पूजा का संध्याकालीन अर्घ्य बहुत ही शुभ दिन पड़ रहा है. आज रविवार भी है और यह सूर्यदेवता को प्रसन्न करने का दिन है. प्राचीन काल से ही रविवार को सूर्य देव के व्रत का विधान चला आ रहा है. रविवार को सूर्य देवता की पूजा का दिन निर्धारित है. जीवन में सुख-समृद्धि, धन-संपत्ति और शत्रुओं से सुरक्षा के लिए रविवार का व्रत सर्वश्रेष्ठ है. रविवार का व्रत करने व कथा सुनने से मनुष्य की सभी मनोकामनाएँ पूरी होती हैं. मान-सम्मान, धन-यश तथा उत्तम स्वास्थ्य मिलता है. कुष्ठ रोग से मुक्ति के लिए भी यह व्रत किया जाता है.
Chhath Puja 2022: लातेहार में छठ की तैयारी पूरी
सूर्यनारायण की पूजा के लिए छठ व्रत का आज तीसरा दिन है. इस तीसरे दिन पहले डूबते सूर्य देव को अर्घ्य दिया जाएगा. जिसकी छठ घाट पर तैयारी पूरी कर ली गई है. छठ घाट को पूरी तरह सजाया जा चुका है. घाट को लाइट की रौशनी से घाट जगमगा रहा है. छठ घाट को केले के थम से लेकर रौशनी का उत्तम प्रबन्ध किया गया है. लातेहार चाणक्य नगरी छठ पूजा समिति के द्वारा छठ व्रत धारियों को किसी प्रकार की कोई असुविधा न हो इसको लेकर ख्याल रखा गया है. छठ पूजा समिति के द्वारा वाराणसी से विद्वानों के द्वारा छठ घाट पर गंगा महाआरती की जाएगी. वहीं अगर बात की जाए लातेहार स्टेशन स्थित छठ पूजा समिति के सदस्यों ने छठ घाट को और ही आकर्षक सजाया है. इस घाट पर वैदिक मंत्रोच्चार से छठ घाट को छठी मईया गीत से पूरा लातेहार जिला भक्ति के रस में गोता लगा रहा है.
Chhath Puja 2022: सूर्य देव की आराधना के हैं प्रमुख मंत्र
सूर्य देव के 13 प्रमुख नाम हैं. वेदों में भगवान सूर्य के इन नामों के आधार पर उनकी आराधना के लिए मंत्र बनाए गए हैं. इन मंत्रों के जरिए सूर्यदेव का तेज, ऊर्जा और उनके प्रकाश की शक्ति पाई जा सकती है. सूर्य को अर्घ्य देते समय "एहि सूर्य सहस्त्रांशो तेजोराशे जगत्पते, अनुकम्पय मां देवी गृहाणार्घ्यं दिवाकर" मंत्र का उच्चारण किया जाता है.
ॐ हृां मित्राय नम:
ॐ हृीं रवये नम:
ॐ हूं सूर्याय नम:
ॐ ह्रां भानवे नम:
ॐ हृों खगाय नम:
ॐ हृ: पूषणे नम:
ॐ ह्रां हिरण्यगर्भाय नमः
ॐ मरीचये नमः
ॐ आदित्याय नमः
ॐ सवित्रे नमः
ॐ अर्काय नम:
ॐ भास्कराय नम:
Chhth Puja 2022: छठ पूजा में आज शाम का अर्घ्य दिया जाएगा. अस्ताचलगामी सूर्य को अर्घ्य देने के लिए व्रती महिलाएं घाटों पर पहुंचेंगी. इस दौरान घाट पर पूरा परिवार शामिल रहेगा. आज सूर्यास्त का समय शाम 5:38 बजे है.
Chhath Puja 2022: धनबाद के एसडीएम प्रेम कुमार तिवारी और मुख्यालय वन डीएसपी अमर पांडेय ने जानकारी देते हुए बताया कि 30 अक्टूबर को दोपहर 12 बजे से 31 अक्टूबर को दिन के 11 बजे तक शहर में बड़े वाहनों का प्रवेश वर्जित होगा.
Chhath puja 2022: पटना सिटी में नहाने के दौरान गंगा में दो छठ व्रती डूब गए हैं. ये हादसा खुसरूपुर के खिरोधरपुर घाट पर हुआ है. पुलिस प्रशासन इस समय शव की तलाश में जुटी हुई है. इस घटना से गुस्साए परिजनों और स्थानीय लोगों ने सड़क जाम कर दिया है.
सेंट्रल जेल में गुंजा छठ गीत
Chhath Puja: मुजफ्फरपुर केंद्रीय कारा छठ गीत से गूंज उठा है. जेल में बंद 100 महिला बंदी और 85 पुरुष इस वर्ष छठ महापर्व में भाग ले रहे हैं. कारा प्रशासन की तरफ से छठ व्रत करने वाले महिला बन्दी और पुरुष बंदी को वस्त्र के अलावा पूजा से संबंधित फल फूल और प्रसाद उपलब्ध कराया गया है. साथ ही विशेषकर महिलाओं और उनके बच्चों को नए वस्त्र एवं पुरुषों को रंगी धोती गमछा प्रदान किया गया है. इसके अलावा छठ व्रत करने के लिए सूप और दौरा से संबंधित सारी सामग्रियां उपलब्ध कराई गई है. जेल में स्थित तालाब में घाट का रंग रोगन और साफ-सफाई भी जेल प्रशासन की तरफ से कराई गई है.
36 घंटे का निर्जला व्रत शुरू
Chhath Puja 2022: शेखपुरा में भी लोकआस्था का महापर्व छठ की छठा चारों ओर है. जहां छठ व्रती महिलाओं ने खरना का प्रसाद ग्रहण कर 36 घंटे के निर्जला व्रत की शुरुआत कर दी है. लोकआस्था का महापर्व की छठा देखते ही बन रहा है. जहां शहर से गांव तक पूरा इलाका भक्तिमय हो गया है. वहीं महिलाओं द्वारा पारंपरिक छठ गीत सुनते श्रद्धालु भक्ति में सराबोर हो रहे है. जबकि छठ को लेकर विभिन्न छठ घाट पर भी तैयारी अंतिम चरण में है.
छठ घाट सज धज कर तैयार
Chhath Puja 2022: लोकआस्था का महापर्व छठ की छठा चारो ओर है, जबकि पूरा इलाका भक्तिमय हो गया है. जिला प्रशासन के साथ स्थानीय स्तर पर भी छठ घाट की तैयारी पूरी हो चुकी है. वहीं जिला प्रशासन द्वारा भी छठ घाट पर तैयारी पूरी हो चुकी है. शेखपुरा नगर परिषद द्वारा भी 15 छठ घाट पर तैयारी पूरी कर ली गई है. यहां छठ घाट पर रोशनी, छठ अर्घ्य के लिए पर्याप्त पानी, जबकि सुरक्षा व्यवस्था के लिए सीसीटीवी कैमरे भी लगा दिए गए है. छठ घाट को पूरी तरह दुल्हन की तरह सजाया गया है. छठ घाट के तैयारी को देखते ही बन रहा है. जबकि जिले बरबीघा नगर परिषद, शेखोपुरसराय नगर पंचायत, चेवाड़ा नगर पंचायत के भी दर्जनों छठ घाटों की तैयारी भी पूरी कर ली गई है.
भगवान भास्कर को भोग लगाकर छठ व्रतियों ने की पूजा अर्चना
जहानाबादः चार दिनों तक चलने वाले लोक आस्था का महापर्व छठ के दूसरे दिन छठ व्रतियों ने मिट्टी के बर्तन में बने प्रसाद का भोग लगाकर भगवान भास्कर की पूजा-अर्चना की. छठ व्रतियों ने भगवान भास्कर की आराधना कर लोगों को प्रसाद ग्रहण कराया. वहीं, छठ व्रतियों ने खीर बनाकर चार दिवसीय अनुष्ठान को पूरा किया. प्रसाद पाने के लिए एक-दूसरे लोगों के यहां आने-जाने का सिलसिला शुरू हुआ, जो देर रात तक चलता रहेगा. साथ ही छठ व्रतियों का 36 घंटे का निर्जला उपवास शुरू हो गया.
छठ पूजा खरीदारी
Chhath puja 2022: अररियाः महापर्व छठ की पूजा को लेकर लोग अपनी अंतिम खरीदारी कर रहे है. लिहाजा बिहार के अररिया के चांदनी चौक पर हजारों की संख्या में बेतहासा भीड़ उमड़ी हुई है. एक तरफ जहां खरना की तैयारी घरों में चल रही है. वहीं अररिया के बाजार में छठ सामग्री खरीदने के लिए हजारों की संख्या में भीड़ उमड़ी रही है. अररिया के चांदनी चौक पर लोगों की इतनी भीड़ है कि पैर रखने तक की जगह नहीं है.
बिहार के औरंगाबाद जिले में शनिवार सुबह छठ पर्व के लिए प्रसाद बनाने के दौरान एक घर में रसोई गैस पाइप में रिसाव के कारण हुए सिलेंडर विस्फोट से लगी आग में 25 लोग झुलस गए. नगर थाना के अवर निरीक्षक विनय कुमार सिंह ने बताया कि हादसा शाहगंज मोहल्ले के वार्ड संख्या 24 निवासी अनिल गोस्वामी के घर में हुआ.
सिंह ने बताया कि आग की चपेट में आकर झुलसे लोगों में गोस्वामी और उनके परिवार के अन्य सदस्यों के अलावा आग बुझाने के लिए वहां पहुंचे पांच पुलिस कर्मी, दमकल कर्मी और पड़ोस के लोग भी शामिल हैं. सिंह के अनुसार, हादसे में झुलसे लोगों को सदर अस्पताल ले जाया गया, जहां से चिकित्सकों ने गंभीर रूप से झुलसे कुछ लोगों को अन्य अस्पतालों में रेफर कर दिया. अवर निरीक्षक के मुताबिक, घायलों में से पांच की हालत गंभीर है. उन्होंने बताया कि अग्निशमन दस्ते और स्थानीय लोगों की मदद से घर में लगी आग पर काबू पा लिया गया है.
लोक आस्था के महापर्व छठ पूजन को लेकर लोहरदगा जिले से लेकर ग्रामीण क्षेत्र में उत्साह देखा जा रहा है. आज खरना से पूर्व कोयल नदी तट पर छठ व्रती स्नान ध्यान कर छठ घाट का पूजन कर रही हैं. इसके बाद आज खरना का प्रसाद बनाया जाएगा और कल शाम में इसी चयनित छठ घाट से महिलाएं छठी मइया को सांध्य अर्घ्य देंगी. बता दें कि लोहरदगा में कोयल और शंख नदी के घाट मुख्य आकर्षण का केंद्र रहते हैं.
छठ पूजा खरीदारी
Chhath puja 2022: छठ पूजा को लेकर बाजार काफी गर्म है. हाजीपुर शहर राजेंद्र चौक से लेकर गुदरी बाजार तक फल, दउरा, सूप, गन्ना समेत पूजन सामग्री खरीदने के लिए बाजार में काफी भीड़ है. आस्था के इस महापर्व स्थानीय और बिहार के बाहर से आए लोग सड़कों पर खरीदारी करते दिख रहे हैं. कोई दिल्ली से आया है तो कोई मध्य प्रदेश से कोई तो कोई बंगाल से. छठ की अपनी छटा हाजीपुर शहर में देखी जा सकती है.
धनबाद में बदला गया रूट
Live Chhath Puja 2022: धनबाद में 30 और 31 अक्टूबर को भारी वाहनों का प्रवेश बंद रहेगा. छठ पूजा को लेकर शहर में प्रशासन ने तैयारी की है. इसे लेकर पब्लिक एडवाइजरी भी जारी की गई है. लोगों से अपील की गई है, घर से निकलने से पहले रूट जरूर चेक कर लें. जानकारी के मुताबिक, 30 अक्टूबर को दोपहर 12 बजे से 31 अक्टूबर को दिन के 11 बजे तक शहर में बड़े वाहनों का प्रवेश वर्जित रहेगा. श्रमिक चौक से आने वाले सभी वाहन पूजा टॉकीज होते हुए कोर्ट मोड़, रणधीर वर्मा चौक होकर धनसार चौक की तरफ जाएंगे. झरिया मैन रोड में भी भारी वाहनों का परिचालन पूरी तरह बंद रहेगा.
धनबाद-झरिया-सिंदरी मुख्य मार्ग पर बड़े छोटे वाहनों के भी रूट बदले गए हैं. सिंदरी, जमशेदपुर, पुरुलिया और चंदनक्यारी की ओर जाने वाले वाहनों को झरिया बाज़ार में प्रवेश नहीं मिलेगा. ये गाड़ियां झरिया-कतरास मोड़, ऊपर कुल्ही, इंदिरा चौक होते हुए निकलेंगी.
खरना के लिए ऐसे बनता है रसियाव
छठ पूजा के दूसरे दिन खरना मनाया जाता है. खरना शुद्धिकरण का अगला चरण होता है. इस दौरान कुलदेवता-कुलदेवी के साथ सूर्यदेव को रसियाव रोटी और केले का भोग लगाकर प्रसाद चढ़ाया जाता है. रसियाव मीठी खीर की तरह होती है. इसे गन्ने के रस या गुड़ के साथ चावल उबालकर बनाया जाता है.
इसके लिए पहले साफ बर्तन में दूध उबालते हैं. उबाल आने के बाद 2-3 घंटे से भीग रहे चावलों को इसी दूध में डालिए. इसे चलाते रहें और उबाल आने पर आंच धीमी कर दें. दूध-चावल के मिश्रण को पकने दें. दूसरे बर्तन में गन्ने के रस को एक उबाल आने तक गर्म कर लें और धीरे-धीरे दूध-चावल में डाल दें. मिश्रण गाढ़ा हो जाए तो चूल्हे से उतार लें. इच्छानुसार मेवे मिला लें. रसियाव तैयार है. बिहार में रसियाव बहुत प्रसिद्ध है.
मीसा भारती ने दी खरना की शुभकामनाएं
राजद मुखिया लालू प्रसाद यादव की बेटी और राज्य सभा सांसद मीसा भारती ने छठ महापर्व के दूसरे दिन की शुभकामनाएं दी हैं. उन्होंने ट्वीट में लिखा #छठ_महापर्व पर दूसरे दिन #खरना की आप सबको हार्दिक शुभकामनाएँ!
उर्जास्त्रोत भगवान भास्कर के उपासना का पर्व हमें पर्यावरण, जल स्त्रोतों एवं प्रकृति की रक्षा करने, साफ सफाई रखने, संबंधों को सहेजने और ढोंग-दिखावे से हटकर सादगीपूर्ण सरल जीवन जीने का महत्व भी समझाता है!
#छठ_महापर्व पर दूसरे दिन #खरना की आप सबको हार्दिक शुभकामनाएँ!
उर्जास्त्रोत भगवान भास्कर के उपासना का पर्व हमें पर्यावरण, जल स्त्रोतों एवं प्रकृति की रक्षा करने, साफ सफाई रखने, संबंधों को सहेजने और ढोंग-दिखावे से हटकर सादगीपूर्ण सरल जीवन जीने का महत्व भी समझाता है! pic.twitter.com/Knwcv9quk4
— Dr. Misa Bharti (@MisaBharti) October 29, 2022
छठ पूजा में बदला हजारीबाग का ट्रैफिक प्लान
छठ पूजा और इस दौरान जाम के समस्या से निपटने के लिए हजारीबाग जिला प्रशासन ट्रैफिक प्लान जारी किया है. 30 और 31 अक्टूबर को शहर में कहीं भी निकलने से पहले रूट जरूर जान लें. 30 अक्टूबर को छठ पर्व के पहले अर्घ्य के मौके पर दोपहर 12 बजे से 31 अक्टूबर सुबह 11 बजे तक शहर में आने वाले बड़े वाहनों का प्रवेश वर्जित रहेगा.
NH-33 रांची-पटना मेन रोड 30-31 अक्टूबर को बंद रहेगी. यहां के वाहनों को बाईपास से निकाला जाएगा. रांची की ओर से आने वाली गाड़ियां शहर के बाहर कोनार पुल के पास बाईपास पर चढ़ेंगी. पटना की ओर से आने वाले वाहन एयरपोर्ट के पास बाईपास से निकलेंगे. धनबाद से आ रहे वाहन अमृत नगर से बाएं मुड़कर रांची और दाएं मुड़कर पटना की ओर जाएंगे.
छठ घाटों का उपायुक्त और एसपी ने लिया जायजा
लोहरदगाः लोहरदगा जिले में शांतिपूर्ण सुरक्षित और सौहार्दपूर्ण माहौल में छठ महापर्व संपन्न कराने को लेकर प्रशासन और पुलिस की टीम ने लोहरदगा जिले के विभिन्न छठ घाटों का निरीक्षण किया. डीसी डॉ वाघमारे प्रसाद कृष्ण और एसपी आर रामकुमार के साथ एसडीएम और थाना प्रभारी मौजूद रहे. इस दौरान कोयल और शंख नदी के छठ घाटों के साथ-साथ राम मंदिर तालाब, विक्टोरिया तालाब और ठाकुर बाड़ी तालाब का जायजा लिया. वहीं छठ व्रतियों को किसी प्रकार की परेशानी न हो इस दिशा में आवश्यक दिशा निर्देश दिया गया. छठ घाट में विधुत व्यवस्था के साथ गहरे पानी में बैरेकैटिंग, घाटों में गोताखोर और सुरक्षा अधिकारी की नियुक्ति किया गया है.
नेपाल में भी छठ पूजा की धूम
भारत और बिहार की तटवर्ती सीमा से सटा होने के कारण नेपाल में भी छठ पूजा धूमधाम से मनाई जाती है. यहां नेपाल में एक मात्र सूर्य मंदिर बीरगंज के घडीहड़वा पोखरा में स्थित है. यहां बिहार के सीमावर्ती क्षेत्र सहित नेपाल के 20 जिलों से छठ व्रती घडीहड़वा पोखरा में छठ करने पहुंचती हैं. नेपाल के एक मात्र सूर्य मंदिर होने के वजह से भारत एवं नेपाल के लाखो की संख्या में श्रद्धालु बीरगंज घडीहड़वा पोखरा के छठ पूजा देखने आते है. घडीहड़वा पोखरा के छठ के महत्व को देखते हुए नेपाल अर्धसैनिक बल के जवान साफ छठ घाट के सफाई , सजावट में जुटे हैं.
कोडरमा में छठ को लेकर सज गई फल मंडी
कोडरमा लोक आस्था के महापर्व छठ को लेकर फल मंडी भी पूरी तरह से तैयार है. इस बार कश्मीर के सेब, नागपुर का संतरा, आंध्र प्रदेश का नारियल और केला के अलावे रांची और ओरमांझी के ईख और शकरकंद बाजार में नजर आ रहे हैं. फलों की खरीदारी भी शुरू हो गई है. दुकानदारों का कहा है कि इलाकों से आकर लोग कोडरमा के झुमरी तिलैया के इस बाजार समिति से फलों की खरीदारी कर रहे हैं. हालांकि गुरपा में रेल हादसे के बाद पैसेंजर ट्रेनों का परिचालन नहीं होने का असर भी बाजार पर देखा जा रहा है. पैसेंजर ट्रेन के नहीं चलने से ग्रामीण क्षेत्र के लोग इस मंडी तक खरीदारी के लिए नहीं पहुंच पा रहे हैं. बाजार समिति में फलों का पर्याप्त मात्रा में स्टॉक उपलब्ध करा लिया गया है और थोक व्यवसाय के साथ-साथ फलों की खुदरा बिक्री भी की जा रही है. फल व्यवसायी गिरधारी कुमार के अनुसार 2 सालों के संक्रमण काल के बाद इस बार बाजार में अच्छी रौनक दिख रही है और अलग-अलग प्रदेशों के फलों से कोडरमा का बाजार गुलजार है.
छठ खरना का शुभ मुहूर्त
छठ पूजा में खरना के दिन भी मुहूर्त और समय का खास ध्यान रखना होता है. कार्तिक मास की शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि खरना कहलाती है. खरना के प्रसाद में मीठा भोजन बनता है. रसियाव रोटी खाकर महिलाएं व्रत की शुरुआत करती हैं. खरना की पूजा सूर्यास्त के समय होती है. आज सूर्यास्त शाम 5:38 बजे होगा. इस दौरान रवि और सुकर्मा हो रहा है. खरना पूजा इसी योग में होगी. रवि योग सूर्य पूजा के लिए उत्तम होता है. ऐसे में खरना का महत्व और बढ़ गया है.
छठ पूजा के लिए अम्मा की अनोखी सेवा
छठ पूजा में आस-पड़ोस के सभी लोग सहायता करते हैं और पुण्य कमाते हैं. ऐसी ही एक अम्मा हैं बसवरिया की कलावती देवी. कलावती देवी महापर्व छठ में पूजा के लिए मिट्टी का चूल्हा बनाती हैं. पहले वह भी छठ व्रत पूरे नियम और श्रद्धा से करती थीं, लेकिन अब वृद्ध हो जाने पर उन्होंने छठ व्रत को बैठा दिया है. इसके बाद उन्होंने माता की पूजा के लिए नया ही तरीका निकाल लिया. उनकी इस सेवा से लोग भी बहुत प्रसन्न रहते हैं.
पूरी कहानी यहां पढ़ेंः Chhath Puja Kalavati Devi: छठ माता की अनोखी सेवा, पूजा के लिए चूल्हे बनाकर बांटती हैं ये अम्मा
पहले अर्घ्य पर कंपाएगा मौसम
मौसम विभाग के अनुसार राज्य के अन्य इलाकों में तापमान में दो डिग्री की गिरावट हो सकती है. वहीं, मौसम विभाग के मुताबिक राज्य में अगले पांच दिनों तक शुष्क हवाएं चलती रहेंगी और न्यूनतम तापमान 18 से 20 डिग्री सेल्सियस रह सकता है. छठ के मौके पर राज्य में हल्की धुंध दिखाई देगी और लोगों को हल्की ठंड का एहसास होगा. छठ पूजा का पहला अर्घ्य यानी अस्ताचलगामी सूर्य अर्घ्य 30 अक्टूबर को दिया जाएगा. इस दिन राजधानी पटना समेत राज्य के अन्य इलाकों का न्यूनतम तापमान 18 से 20 डिग्री रहने के आसार हैं.
मौसम में बढ़ेगी ठंडक, चलेगी शुष्क हवा
छठ पूजा में सूर्य देव को अस्त होते समय और उदित होते समय अर्घ्य दिया जाता है. इस दौरान व्रती श्रद्धालु जल में रहकर सूर्य देव की आराधना करते हैं. नवबंर के महीने में ठंड शुरू हो जाती है. ऐसे में व्रती महिलाओं के लिए ये व्रत और कठिन हो जाता है. इस बार के छठ व्रत को लेकर भी मौसम में ठंडक रहने की संभावना जताई जा रही है. मौसम विभाग के अनुसार राज्य के अन्य इलाकों में भी तापमान में दो डिग्री की गिरावट होने की संभावना है. वहीं, मौसम विभाग के मुताबिक राज्य में अगले पांच दिनों तक शुष्क हवाएं चलती रहेंगी.
ऐसे होती है खरना पूजा
छठ पूजा के दूसरे दिन जब खरना किया जाता है तो इसमें शाम तक तो व्रत ही रहता है. इसके बाद सूर्य अस्त होने के समय में उनकी पूजा की जाती है और उन्हें प्रसाद चढ़ाया जाता है. इस दौरान परंपरा के अनुसार सूर्यदेव का प्रतिरूप लकड़ी के पटरे पर स्थापित किया जाता है. फिर इन्हीं सूर्यदेव के साथ कुलदेवता और कुलदेवी की पूजा करते हुए सभी को प्रसाद चढ़ाया जाता है. खरना की पूजा गोधूली बेला में की जाती है. गोधूली बेला शाम का वह समय होता है, जब सूर्यदेव अस्त हो रहे होते हैं, उनका प्रकाश बहुत कम हो चुका होता है और दिन ढलने में कुछ ही देर बाकी होती है.
पटनाः Chhath Puja Live 2022: खरना के प्रसाद को ग्रहण करने के बाद ही छठ व्रत का 36 घंटे का निर्जल उपवास शुरू हो जाता है. खरना के दिन व्रती महिलाएं गंगा स्नान करने के पश्चात व्रत रखती हैं और इसके बाद खरना की पूजा के लिए जुट जाती हैं. खरना की पूजा के लिए बहुत शुद्धता और सफाई का ध्यान रखना होता है. खरना का प्रसाद रोज की तरह किचन में नहीं बनाया जाता है. इसके लिए नियम है कि इसे किसी साफ कमरे में ही बनाया जाना चाहिए. ये प्रसाद मिट्टी के चूल्हे पर बनता है, इसमें ईधन के लिए आम की लकड़ी का प्रयोग होता है. आम की लकड़ी पूजन आदि के लिए सबसे शुद्ध मानी जाती है.
भगवान सूर्य की प्रतिमा को अंतिम स्वरूप देने में जुटे कलाकार
छठ पूजा के दौरान गंगा घाट और मंदिरों के पास भगवान सूर्य की प्रतिमा की स्थापना की जाती है. बाढ़ क्षेत्र के स्थानीय कलाकारों के द्वारा रात दिन लगकर अपने पूरे परिवार के साथ प्रतिमा को अंतिम रूप देने का प्रयास किया जा रहा है. लोग मेहनत से खूबसूरत मूर्ति बनाते हैं. बाढ़ क्षेत्र में सूर्यदेव की पूजा के लिए उनकी प्रतिमा तैयार की जा रही है.
गंगाजल के बिना अधूरी है खरना की शुद्धता
आस्था-विश्वास एवं स्वच्छता के महापर्व छठ में विशेष रूप से शुद्धता का ख्याल रखा जाता है. इस शुद्धता में गंगा जल का बहुत महत्व है. व्रती लोग कोई भी पूजन का कार्य करने से पहले पूजा में लगने वाली सामग्री को गंगाजल छिड़ककर शुद्ध करते हैं. हाल के दिनों में गंगा के प्रदूषित होने के चलते लोगों की परेशानी बढ़ गई है. फिर भी गंगा मां और गंगाजल के प्रति लोगों की श्रद्धा कम नहीं हुई है. आज खरना के दिन सुबह से ही लोग गंगा नदी में स्नान करने के बाद अपने माथे पर गंगा जल लेकर पूजा पाठ के लिए घर पहुंच रहे हैं बड़ी संख्या में लोग गंगा घाट के किनारे पहुंचकर गंगा स्नान करने के साथ ही गंगाजल ले जाने की प्रक्रिया में जुटे हुए हैं
पटनाः Live Chhath Puja 2022: छठ पूजा के दूसरे दिन को खरना के नाम से जाना जाता है. इस बार खरना आज यानी शनिवार को है. खरना, शुद्धता औऱ सात्विकता का अगला चरण है. इस दिन व्रती महिलाएं और श्रद्धालु स्नान कर दिन में व्रत रखते हैं और फिर शाम को खरना पूजा की जाती है. इस दिन मिट्टी के चूल्हे पर बड़ी ही पवित्रता के साथ भोजन बनाया जाता है. इस भोजन में गुड़ की खीर और रोटी शामिल होती है. खरना के इस प्रसाद को रसियाव रोटी कहा जाता है. व्रती के भोजन करने के बाद ही परिवार के अन्य लोग भोजन ग्रहण करते हैं.
छठ पूजा पर घर वापस आ रहे यात्रियों को खासी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. दूसरे राज्यों से आने वाली ट्रेनों 12-13 घंटे लेट हो रहे हैं. इस वजह से यात्रियों को भूख और प्यास से भी जूझना पड़ रहा है. स्पेशल ट्रेनों में भी पैंट्री कार ना होने की वजह से भी लोगों को परेशानी उठानी पड़ रही है. इसके अलावा कोच में साफ सफाई को लेकर भी कोई भी व्यवस्था नहीं की गई है.
झारखंड में जेलों की चहारदीवारी के भीतर भी छठ महापर्व को लेकर भक्ति और आस्था का अनूठा माहौल है. राज्य की अलग-अलग जेलों में इस वर्ष तकरीबन 90 से ज्यादा कैदी छठ व्रत कर रहे हैं. शुक्रवार को नहाय-खाय के साथ इन बंदियों ने व्रत का संकल्प लिया. जेलों में प्रशासन ने इन सभी के लिए फल-फूल, प्रसाद, सूप-दौरी, नये वस्त्र और पूजन सामग्री का इंतजाम किया है. सूर्य देवता को अघ्र्य देने के लिए जेलों के अंदर ही अस्थायी तालाब या कृत्रिम जलाशय बनवाये गये हैं.
LIVE Update Bihar Chhath Puja 2022: झारखंड सरकार के स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता शुक्रवार को आदित्यपुर नगर निगम क्षेत्र अंतर्गत रोड नंबर 7 शिव काली मंदिर परिसर में छठ व्रतियों के बीच पूजन सामग्री वितरण कार्यक्रम में शामिल हुए. इस दौरान उन्होंने छठ के लिए निःशुल्क पूजा सामग्री बांटी.
Chhath 2022 Wishes: आप भी अपने शुभचिंतकों को छठ की ऐसे बधाई भेज सकते हैं.
(Happy Chhath 2022 Wishes)
छठ पूजा का पावन पर्व
करो मिलकर सूर्य देव को प्रणाम,
आपको मिले सुख-शांति अपार!
शुभ छठ पूजा
छठ की पूजा जो करता है,
सुकून दिल को मिलता है,
सुबह -सुबह जो जाते घाट पे,
हर्ष-उल्लास देखने को मिलता है,
कितने भक्त हैं छठी मईया के,
देख के मन खुश हो जाता है.
Chhath 2022 Special Train: छठ को लेकर 6 और पूजा स्पेशल ट्रेनों का परिचालन होगा.
1. गाड़ी संख्या 09817 कोटा-दानापुर छठ स्पेशल कोटा से दिनांक 31 अक्टूबर एवं 05 नवंबर, 2022 को कोटा से 18.40 बजे प्रस्थान कर अगले दिन 20.00 बजे दानापुर पहुंचेगी.
2. गाड़ी संख्या 09818 दानापुर-कोटा छठ स्पेशल दानापुर से 01 एवं 06 नवंबर, 2022 को 21.30 बजे प्रस्थान कर अगले दिन 02.00 बजे कोटा पहुंचेगी.
3. गाड़ी संख्या 06549 यशवंतपुर-दानापुर छठ स्पेशल यशवतंपुर से 29 अक्टूबर एवं 05 नवंबर, 2022 को 08.00 बजे प्रस्थान कर अगले दिन 08.00 बजे दानापुर पहुंचेगी.
4. गाड़ी संख्या 06550 दानापुर-यशवंतपुर छठ स्पेशल दानापुर से 31 अक्टूबर एवं 07 नवंबर, 2022 को 17.10 बजे प्रस्थान कर अगले दिन 13.30 बजे यशवंतपुर पहुंचेगी.
5. गाड़ी संख्या 05553 सहरसा-अमृतसर अनारक्षित छठ स्पेशल सहरसा से दिनांक 03 नवंबर, 2022 को 09.20 बजे प्रस्थान कर अगले दिन 18.30 बजे अमृतसर पहुंचेगी.
6. गाड़ी संख्या 04074 दिल्ली-दरभंगा छठ स्पेशल दिल्ली से दिनांक 31 अक्टूबर, 2022 को 16.00 बजे प्रस्थान कर अगले दिन 18.30 बजे दरभंगा पहुंचेगी.
Bihar Patna Chhath Ghat News: बिहार के पूर्व स्वास्थ्य मंत्री और बंगाल के प्रभारी मंगल पांडेय ने भी छठ की शुभकामनाएं दी हैं. उन्होंने ट्वीट कर लिखा, 'सूर्योपासना महापर्व छठ पूजा के प्रथम अनुष्ठान नहाय खाय की सभी छठव्रतियों एवं देशवासियों हार्दिक शुभकामनाएं.'
LIVE Update Bihar Chhath Puja 2022: छठ को लेकर 138 स्पेशल ट्रेने अब तक चलाई जा रही हैं. हालांकि, इसके बावजूद ट्रेनों में भीड़ देखी जा रही है. राजधानी एक्सप्रेस भी छठ स्पेशल के रूप में 6 अप-डाउन ट्रिप लगायेगी. रेलयात्रियों के सुविधाजनक आवागमन हेतु दरभंगा और पटना से दिल्ली के लिए चलायी जा रही 02 जोड़ी पूजा स्पेशल ट्रेनों के परिचालन अवधि में वृद्धि की गयी है.
Chhath Puja 2022: छठ महापर्व को लेकर पुलिस मुख्यालय अलर्ट पर है और त्यौहार को शांतिपूर्ण तरीके से मनाने के लिए एडीजी जीएस गंगवार ने सुरक्षा के दृष्टिकोण से सभी जिलों में सशस्त्र पुलिस बल की 36 कंपनियां भेजी है.
छठ पूजा पर दुकानदार और ग्राहकों में मायूसी
Chhath Puja 2022: महापर्व छठ नहाय-खाय से शुरू हो गया है. फल और मिट्टी के बर्तन सहित पूजन सामग्री से बाजार सज चुके हैं. हालांकि पर्व में इस्तेमाल होने वाली हर सामग्री पर महंगाई की मार साफ दिख रही है. पिछले साल की तुलना में कई चीजों के दाम दोगुने हो गए हैं. ऐसे में लोगों को पूजन सामग्री में कटौती तक करनी पड़ रही है.
बाजारों में भीड़ की वजह से रौनक तो जरूर है लेकिन दुकानों पर ग्राहक बहुत कम दिख रहे है. नारियल 40 से 60 रुपए तो वहीं बांस का दउरा 400 तक बिक रहा है. दुकानदार ग्राहकों के इंतजार में बैठे रह रहे हैं. महंगाई की वजह से दुकानदारी पर बड़ा असर पड़ रहा हैं. दुकानदारों और ग्राहकों में मायूसी देखी जा रही हैं.
Chhath 2022 Wishes: महापर्व छठ को लेकर लोगों के बधाई देने का सिलसिला लगातार जारी है. आप भी प्रिय लोगों को छठ की शुभकामनाएं ऐसे दे सकते हैं.
(Happy Chhath 2022 Wishes)
जो हैं सारे जगत के पालनहार
सात घोड़ों की है जिनकी सवारी,
न कभी रुके न ही कभी देर करें
ऐसे हैं हमारे सूर्य देव,
आओ मिलकर करें
इस छठ पर उनकी पूजा.
सबके दिलों में हो सबके लिए प्यार
आनेवाला हर दिन लाए खुशियों का त्योहार
इस उम्मीद के साथ आओ भुलाकर सारे गम
छठ पूजा का हम सब करे वेलकम
छठ पूजा की हार्दिक शुभकामनाएं!
Chhath Puja 2022: राजधानी रांची में छठ महापर्व की तैयारी शुरू हो गई है. व्रती परिवारों ने पूजन सामग्री की खरीदारी शुरू कर दी है. इस बार झारखंड के सूप और बंगाला का दौरा, बिहार का केला-नीबू, कश्मीर का सेब, आंध्र का नारियल और यूपी का गन्ना छठ पूजा की खूबसूरती में चार चांद लगाएगा.
Chhath 2022 Wishes: छठ को लेकर लोग अपने प्रियजनों को बधाई देते हैं. ऐसे में आप भी अपने खास लोगों को छठ महापर्व की बधाई दे सकते हैं.
(Happy Chhath 2022 Wishes)
हर ओर बिखरी है छठ के पावन पर्व की छटा निराली
छठ का ये महापर्व लाता है जीवन में खुशहाली
आपके जीवन में भी आएं खुशियां अपार
मुबारक हो आपको छठ का ये पावन त्योहार.
मंदिर की घंटी, आरती की थाली
नदी के किनारे सूरज की लाली
जिंदगी में आए खुशियों की बहार
आपको मुबारक हो छठ का त्योहार!
Chhath Puja 2022: गढ़वा में भी छठ की रौनक दिखाई दे रही है. झारखंड सरकार के मंत्री मिथिलेश ठाकुर ने भी लोगों को छठ की शुभकामनाए दी. उन्होंने कहा कि माना गया है कि उगते सूर्य को अर्घ्य देने से बहुत सारी बीमारियां दूर होती हैं.
नहाय खाय के साथ ही महापर्व छठ की शुरूआत हुई है। छठी मईया हम सबों पर अपनी कृपा बनाए रखें... यह कामना है।
समस्त झारखंडवासियों को महापर्व छठ की शुभकामनाएं।
जय छठी मईया।@HemantSorenJMM @JmmJharkhand @INCJharkhand @RJDforIndia @BJP4Jharkhand pic.twitter.com/5ebGCjYQQE
— Mithilesh Kumar Thakur (@MithileshJMM) October 28, 2022
Chhath 2022 Special Train: छठ पर ट्रेनों में भारी संख्या में भीड़ देखने को मिलती है. यही कारण है कि इस बार रेलवे ने कई स्पेशल ट्रेन चलाई है. बावजूद इसके अभी भी ट्रेनों में भारी भीड़ है.
झारखंड के सीएम हेमंत सोरेन ने भी छठ की बधाई दी है. हेमंत सोरेन ने ट्वीट कर लिखा, 'नहाय-खाय के साथ आज से शुरू होने वाले सूर्योपासना के महापर्व छठ पूजा की सभी छठ व्रतियों और श्रद्धालुओं को अनेक-अनेक शुभकामनाएं और जोहार. छठी मईया सभी को स्वस्थ, सुखी और समृद्ध रखें, यही कामना करता हूं.
Khunti: छठ महापर्व के अवसर पर खूंटी के साप्ताहिक बाजार में काफी रौनक देखी गयी. जिसमें विशेष कर छठ महापर्व पर लगनेवाले सामानों की दुकानों में भीड़ रही. छठ पर सामानों के दाम भी काफी ज्यादा हैं. खूंटी में सूप 150 से 160 रुपये बिक रहा है तो कच्चा बादाम 50 रुपए प्रति किलो, डम्भा 25-30 रुपये, गन्ना 25-30रु प्रति डंडा रहा. वहीं, कद्दू भी 30 रुपए प्रति किलो बिक रहा है.
Chhath Puja 2022: सीएम नीतीश कुमार ने भी छठ को लेकर लोगों को शुभकामनाएं दी हैं. उन्होंने ट्वीट कर लिखा, 'लोक आस्था के 4 दिवसीय महापर्व छठ के अवसर पर शुभकामनाएं. यह आत्मानुशासन का पर्व है. लोग शुद्ध अन्तःकरण एवं निर्मल मन से अस्ताचल और उदीयमान भगवान सूर्य को अर्घ्य अर्पित करते हैं. भगवान भास्कर से राज्य की प्रगति, सुख, समृद्धि और शांति के लिए प्रार्थना है.'
लोक आस्था के 4 दिवसीय महापर्व छठ के अवसर पर शुभकामनाएं। यह आत्मानुशासन का पर्व है। लोग शुद्ध अन्तःकरण एवं निर्मल मन से अस्ताचल और उदीयमान भगवान सूर्य को अर्घ्य अर्पित करते हैं। भगवान भास्कर से राज्य की प्रगति, सुख, समृद्धि और शांति के लिए प्रार्थना है।
— Nitish Kumar (@NitishKumar) October 28, 2022
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