झारखंड की 'चिंगारी' से बिहार में आंच, नमाज से कीर्तन तक पहुंच गई बात, सदन में 'धर्म संकट'!
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झारखंड की 'चिंगारी' से बिहार में आंच, नमाज से कीर्तन तक पहुंच गई बात, सदन में 'धर्म संकट'!

झारखंड विधानसभा (Jharkhand Legislative Assembly) में 'धर्म' के नाम पर भड़की सियासत की आग अब बिहार (Bihar) को भी झुलसाने को तैयार है.

झारखंड की 'चिंगारी' से बिहार में आंच (फाइल फोटो)

Ranchi: झारखंड विधानसभा (Jharkhand Legislative Assembly) में 'धर्म' के नाम पर भड़की सियासत की आग अब बिहार (Bihar) को भी झुलसाने को तैयार है. पड़ोसी प्रदेश की तर्ज पर बिहार में भी सियासी दलों ने सदन में धार्मिक गतिविधियों को लेकर तलवारें खींच ली हैं. BJP ने बिहार विधानसभा में भी कीर्तन और पूजा के लिए जगह की मांग की है.

दरअसल, इस मामले की शुरुआत झारखंड से हुई है. झारखंड में जिस तरह से नमाज के लिए विधानसभा में एक कमरा अलॉट किया गया है, उसके बाद से ही झारखंड विधानसभा में मुख्य विपक्षी दल BJP ने मोर्चा खोल रखा है. BJP ने सरकार पर आरोप लगाया है कि 'झारखंड की हेमंत सोरेन सरकार ने तुष्टिकरण की नीति के तहत धर्म विशेष को धार्मिक गतिविधि के लिए कमरा अलॉट किया है'.

विधायिका के सिर चढ़ा धार्मिक रंग

झारखंड-बिहार में विधायिका को धार्मिक गतिविधियों से परे रखने की मांग जोर पकड़ने लगी है. BJP ने दोनों ही प्रदेशों में विरोधी दलों के खिलाफ मोर्चा खोल रखा है. पार्टी की मांग है कि 'अगर एक धर्म विशेष के लिए सदन में विशेष व्यवस्था की जाती है तो बाकी धर्मों के लिए भी वैसी व्यवस्था सुनिश्चित की जाए.'

BJP ने झारखंड विधानसभा में मुस्लिम विधायकों और सदन के मुस्लिम कर्मचारियों को नमाज पढ़ने के लिए कमरा अलॉट करने के बाद जमकर हंगामा किया. सदन का मॉनसून सत्र लगातार हंगामे की भेंट चढ़ता जा रहा है. BJP ने बकायदा सदन के बाहर परिसर में कीर्तन शुरु कर दिया. BJP ने सदन में एक कमरा पूजा-पाठ और कीर्तन के लिए अलॉट करने की मांग की है.

झारखंड में चल रहे इस सियासी संग्राम का असर बिहार में भी दिखने लगा है. दरअसल झारखंड में सत्ताधारी गठबंधन की तीन पार्टियों में से दो पार्टियां बिहार में विपक्ष की भूमिका में हैं. कांग्रेस और RJD को झारखंड की तरह बिहार में भी घेरने की पूरी रणनीति तैयार की गई है. BJP ने सभी विरोधियों पर वोटबैंक पॉलिटिक्स का आरोप लगाया है.

'BJP के विरोध को विपक्ष का देश बांटने का प्रयास'

नमाज के लिए कमरा अलॉट करने पर BJP ने कड़ी आपत्ति दर्ज कराई है. BJP के इस विरोध को झारखंड मुक्ति मोर्चा, कांग्रेस और आरजेडी ने सामाजिक सद्भाव बिगाड़ने की कोशिश बताया है. विरोधी दलों ने BJP को सांप्रदायिक पार्टी करार देते हुए कहा कि 'BJP हमेशा से देश तोड़ने में विश्वास करती रही है. ये पार्टी कभी सामाजिक सद्भाव और समरसता में विश्वास ही नहीं करती. इन्हें सिर्फ जाति, धर्म में देश को बांटकर राजनीति करने की आदत है. हिन्दु-मुस्लिम की बात कर ये अपनी सियासी रोटी सेंकते हैं.'

हालांकि विरोधी दलों से उलट सहयोगी दल JDU ने अपना पूरा समर्थन BJP के प्रति जताया है. JDU ने कहा कि 'हमारी पार्टी कभी भी धर्म के आधार पर भेदभाव में विश्वास नहीं करती है. लेकिन विरोधी दलों ने झारखंड में जो फैसला किया है वो तुष्टिकरण की ही राजनीति है. नमाज पढ़ने के लिए सदन की कार्यवाही के दौरान वक्त देने की परंपरा जरूर रही है, लेकिन कभी भी किसी धार्मिक गतिविधि के लिए कमरा अलॉट करने की परंपरा नहीं रही है. अगर BJP बाकी धर्मों के लिए भी ऐसी मांग उठा रही है तो इसमें कुछ भी गलत नहीं है. कांग्रेस, RJD और JMM ने धर्म विशेष के लिए ऐसा प्रावधान कर संसदीय प्रणाली को ठेस पहुंचाई है.'

कुल मिलाकर इतना साफ है कि BJP इस मुद्दे को इतनी आसानी से नहीं छोड़ने वाली है. खास तौर पर सहयोगी दल JDU का समर्थन मिलने से BJP के हौसले और बुलंद हुए हैं. अब झारखंड सरकार पर दबाव बढ़ गया है कि सभी धर्मों को नजरअंदाज कर सिर्फ एक धर्म को तवज्जो देने के आरोप से खुद को कैसे बरी करे.

 

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