Monkeypox Case in India: मंकीपॉक्स से बचने के लिए केंद्र सरकार ने दिशा-निर्देश जारी कर दिए हैं. हुकूमत की तरफ से जारी दिशा-निर्देश के मुताबिक अंतरराष्ट्रीय यात्रियों को बीमार लोगों के साथ निकट संपर्क से बचना चाहिए.
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नई दिल्ली: भारत में मंकीपॉक्स का पहला केस सामने आ चुका है, जिसके बाद केंद्र सरकार की टेंशन बढ़ गई है. मंकीपॉक्स का पहला मामला केरल में दर्ज किया गया है. इसी बीच केंद्र सरकार ने मंकीपॉक्स के खतरे को देखते हुए दिशा-निर्देश जारी किए हैं. स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय के दिशानिर्देशों के मुताबिक, बाहरी देशों से आए विदेशियों को बीमार लोगों के साथ नजदीकी संपर्क से बचना चाहिए. यही नहीं उन्हें मृत या फिर जीवित जंगली जानवरों और अन्य लोगों के संपर्क में आने से भी बचना चाहिए.
दरअसल, केरल में विदेश से लौटे एक शख्स में मंकीपॉक्स की तस्दीक हुई है. पहले अंदेशे की बुनियाद पर उसे हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया, जहां टेस्ट में पुष्टि हुई कि व्यक्ति मंकीपॉक्स वायरस से संक्रमित है. मंकीपॉक्सी की पुष्टि होने के बाद केरल की स्वास्थ्य मंत्री वीना जॉर्ज ने कहा था कि विदेश से राज्य में लौटे एक 35 वर्षीय एक व्यक्ति में मंकीपॉक्स के लक्षण दिखने के बाद उसे अस्पताल में भर्ती कराया गया. जांच में व्यक्ति में मंकीपॉक्स संक्रमण की पुष्टि हुई है.
वहीं केरल में मंकीपॉक्स के मामले को देखते हुए केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने इस वायरस की जांच में केरल सरकार का सहयोग करने और जरूरी सार्वजनिक स्वास्थ्य उपायों के लिए एक केंद्रीय टीम भेजी है. जानकारी के मुताबिक, केंद्र सरकार की तरफ से भेजी गई टीम केरल के हेल्थ डिपार्टमेंट के साथ मिलकर काम करेगी और जमीनी सूरते हाल जायजा लेगी. इसके अलावा, हेल्थ सेक्टर में उठाए जाने वाले जरूरी कदमों की सिफारिश भी करेगी.
मंकीपॉक्स वायरस के खतरनाक लक्षण
मंकी पॉक्स से बचने के क्या उपाय करें
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