Manipur Violence: मणिपुर में 6 लोगों की मौत के बाद हिंसा भड़क गई है. भीड़ ने मुख्यमंत्री और विधायकों के घरों पर हमला किया है. मणिपुर के 7 जिलों में इंटरनेट बैन कर दिया गया है. कई जगहों पर कर्फ्यू लगाया गया है.
Trending Photos
Manipur Violence: मणिपुर में ताजा हिंसा के बाद हालात बदतर हो गए हैं. राजधानी इंफल के कई इलाके में कर्फ्यू लगा दिया गया है. इसके अलावा कई इलाकों में इंटरनेट को बैन कर दिया गया है. मणिपुर में ताजा हिंसा 6 लोगों की मौत के बाद शुरू हुई. जिन 6 लोगों की मौत हुई उनके शव जिरिबाम में पाए गए. इल्जाम है कि उन्हें मिलिटेंट ने अगवा कर लिया था.
कई जिलों में कर्फ्यू
उत्तर पूर्व के राज्य मणिपुर में हालात खराब होने के बाद पश्चिमी इंफल, बिश्णुपुर, थोबल, काचिंग, कोंगपोकपी और चुराचांदपुर जिले में दो दिन के लिए कर्फ्यू लगाया गया है. मणिपुर के इंफल घाटी में बड़े पैमाने पर हिंसा. हिंसा इतनी भयानक थी बेकाबू भीड़ ने कई विधायकों के घरों पर हमला किया और प्रॉपर्टी को नुकसान पहुंचाया. भीड़ ने पश्चिम इंफल सपम निशिकांत के घर पर हमला किया और गेट तोड़ दिया. उसी भीड़ ने विधायक आर के आइमो के घर पर हमला किया और फर्मीचर को आग लगा दी.
यह भी पढ़ें: मणिपुर में 6 प्रोटेस्टर की मौत के बाद मचा बवाल; मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह के घर पर हमला
औरतों और बच्चों की मौत
मणिपुर में ताजा हिंसा तब शुरू हुई जब यहां 6 लोगों को मिलिटेंट ने अगवा कर लिया और उनकी हत्या कर दी. जिन लोगों की मौत हुई है उनमें 3 औरतें और 3 बच्चे शामिल थे. उनके शव जिरिबाम जिले में नदी किनारे किनारे मिले. इन लोगों के शवों को असम के सिलचर मेडिकल कॉलेज के मुर्दाघर में रखा गया है. इनका पोस्टमार्टम होने वाला है.
मुख्यमंत्री के घर पर हमला
बीते कल यानी 16 नवंबर को खबरें आईं कि बेकाबू भीड़ ने मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह के घर पर हमला किया. पुलिस के मुताबिक "प्रदर्शनकारियों ने मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह के दामाद सहित छह विधायकों में से तीन के घरों में तोड़फोड़ की और उनकी संपत्तियों को आग लगा दी, जबकि सुरक्षा बलों ने इंफाल के दीगर हिस्सों में प्रदर्शनकारियों को तितर-बितर करने के लिए आंसू गैस के गोले दागे."
क्या है पूरा मामला?
पिछले साल 3 मई से मणिपुर की इम्फाल घाटी मौजूद मैतेईस और पूर्वोत्तर राज्य के समीपवर्ती पहाड़ी इलाके में मौजूद कुकी समुदाय के दरमियान जातीय हिंसा हो गई. इस हिंसा में तकरीबन 200 लोगों की मौत हुई है. हिंसा में हजारो लोग बेघर हुई हैं.