Tata Salt: कैसे देश के बड़े रईसों से लेकर गरीब रिक्शावालों के रसोई का हिस्सा बना टाटा नमक?
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Tata Salt: कैसे देश के बड़े रईसों से लेकर गरीब रिक्शावालों के रसोई का हिस्सा बना टाटा नमक?

Tata Salt Story: भारत में सैकड़ों नमक कंपनियां अपने नमक को सबसे बेहतर बताकर मार्केट में बेचने की कोशिश करती है, लेकिन जब लोग दुकान में नमक खरीदने जाते हैं तो सबसे पहले टाटा नमक ही मांगते हैं. टाटा नमक नहीं होने पर ही कोई और नमक को लोग तरजी देते हैं. ऐसे में ये जानना बेहद दिलचस्प होगा कि कैसे टाटा नमक ने लोगों को अपना मुरीद बना लिया है? 

Tata Salt: कैसे देश के बड़े रईसों से लेकर गरीब रिक्शावालों के रसोई का हिस्सा बना टाटा नमक?

Tata Salt Success Story: भारत के सबसे जमीनी स्तर के बिजनेस टाइकून रतन टाटा अब हमारे बीच नहीं रहे. उनकी कल रात मुंबई के ब्रीच कैंडी अस्पताल में इलाज के दौरान मौत हो गई. वह 86 साल के थे. रतन टाटा अपने पीछे पूरा टाटा साम्राज्य को हम हिंदुस्तानियों के लिए छोड़कर चले गए, ये वहीं टाटा कंपनी है, जिसका हम लोगों ने नमक खाया है. जी हां मैं बात कर रहा हूं 'देश का नमक' टाटा नमक की. रतन टाटा की कंपनी ने जिस भी सेक्टर में हाथ डाला वह आज हिंदुस्तान पर राज कर रही है. बात चाहें एयरलाइंस की हो या फिर टेक्सटाइल की. बात चाहे पानी की हो या फिर नमक की, हर घर में आपको टाटा मिल जाएगा. आज रतन टाटा को याद करते हुए हम आपको बताएंगे कि कैसे 'टाटा नमक' इतना फेमस हुआ और पूरे 'देश का नमक' बन गया.

आयोडीन की कमी से जूझ रहा था भारत
ऐसा कहा जाता है कि जब देश में लोगों को आयोडीन की कमी से कई तरह की बीमारियां हो रहीं थी, तो रतन टाटा ने इस परेशानी से लोगों को निकालने के लिए एक ऐसा दिमाग लगाया, जिससे लोगों के खाने का स्वाद भी बढ़ा और साथ-साथ उनकी सारी बीमारियां भी खत्म हो गईं. टाटा केमिकल्स ने साल 1983 में भारत में पहली बार लोगों के लिए आयोडीन युक्त नमक को मार्केट में लांच किया, जो आज तक हिंदुस्तान का सबसे ज्यादा भरोसेमंद नमक है. हम उसे 'देश का नमक' भी कहते हैं. टाटा नमक देश के रईसों से लेकर एक रिक्शावाले की रसोई का हिस्सा बन गया है.

देश में सबसे ज्यादा बिकने वाला नमक
टाटा ने लोगों के दिलों पर इतना गहरा भरोसा बनाया है, कि मार्केट में सिर्फ टाटा के नाम पर कुछ भी बिक जाता है. लोग सिर्फ टाटा का लोगो देखकर ही सामान खरीद लेते हैं. आज बाजार में टाटा नमक की हिस्सेदारी करीब 17 फीसद है. ये देश का सबसे बड़ा पैकेज्ड नमक ब्रांड है. टाटा नमक का टैगलाइन लांचिंग के वक्त 'नमक हो टाटा का' था, जिसे बाद में बदलकर 'देश का नमक' कर दिया गया जो आज तक कायम है, और लोगों के बीच काफी फेमस भी हो चुका है.

नकली टाटा नमक की करें पहचान
टाटा नमक की बढ़ती मांग को देखते हुए कुछ कालाबाजारी दलालों ने नकली टाटा नमक को भी मार्केट में लांच कर दिया है. इसलिए नमक खरीदते वक्त इन बातों का ध्यान जरूर दिजिएगा...
1. असली टाटा नमक का पन्नी नकली वाले से पतला होता है.
2. असली टाटा नमक का पैकेट बिल्कुल सफ़ेद रंग का होता है. 
3. असली टाटा नमक छूने में बिल्कुल महीन/पतला महसूस होगा
4. असली टाटा नमक को पैकेट में दिए बॉर कोड से भी जांच कर लें 

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