निजी क्षेत्र में 'टॉक्सिक वर्क कल्चर' को खत्म करें, TMC सांसद ने केंद्र से कानून लाने को कहा

Toxic work culture to end: टीएमसी सांसद साकेत गोखले ने दावा किया कि सोशल मीडिया पर 'टॉक्सिक वर्क कल्चर' के बारे में शिकायतों की बाढ़ आ गई है, ज्यादातर निजी क्षेत्र में.

Written by - Nitin Arora | Last Updated : Dec 6, 2024, 09:31 PM IST
निजी क्षेत्र में 'टॉक्सिक वर्क कल्चर' को खत्म करें, TMC सांसद ने केंद्र से कानून लाने को कहा

Saket Gokhale: तृणमूल कांग्रेस (TMC) सांसद साकेत गोखले ने शुक्रवार को केंद्र से निजी क्षेत्र में 'अच्छे कामकाजी हालात' सुनिश्चित करने वाले कानून लाने का आग्रह किया, क्योंकि उन्होंने कहा कि कामकाजी पेशेवर 'काम से संबंधित तनाव के कारण मर रहे हैं.'

राज्यसभा में शून्यकाल के दौरान गोखले ने हाल ही में पुणे में चार्टर्ड अकाउंटेंट अन्ना सेबेस्टियन की 'अत्यधिक कार्य दबाव' के कारण और पत्रकार सतीश नंदगांवकर की 'टॉक्सिक वर्क कल्चर' के कारण हुई मौतों की ओर ध्यान दिलाया.

समाचार एजेंसी पीटीआई ने गोखले के हवाले से कहा, 'यह टॉक्सिक वर्क कल्चर और लोगों का वंचना ऐसे मुद्दे हैं जिन्हें इस सदन को गंभीरता से लेने की जरूरत है. जो लोग नौकरी करते हैं उन्हें स्वस्थ कार्य संस्कृति की जरूरत है और जो लोग काम करते हैं उन्हें वेतन मिलना चाहिए.'

टीएमसी सांसद ने दावा किया कि इन घटनाओं के बाद सोशल मीडिया पर शिकायतों की बाढ़ आ गई है, जहां लोग अक्सर 'टॉक्सिक वर्क कल्चर' के बारे में शिकायत करते हैं. गोखले ने यह भी दावा किया कि कर्मचारियों को लंबे समय तक काम करने के लिए मजबूर किया जाता है और उनका अपमान किया जाता है. उन्होंने कहा, 'निजी क्षेत्र में ऐसा बहुत कुछ हो रहा है.'

टैक्स दे रहे हैं लोग
उन्होंने कहा, 'हम निजी कंपनियों की बात कर रहे हैं. बंगाल का मतलब है व्यापार; हमारे पास 4.5 लाख से ज़्यादा सक्रिय कंपनियां हैं और अकेले आईटी सेक्टर में 2.6 लाख से ज़्यादा लोग काम करते हैं. इसलिए, निजी क्षेत्र में सुधार बहुत ज़रूरी है. इस साल, कॉर्पोरेट टैक्स आयकर से कम था. आयकर कौन दे रहा है? निजी कंपनियों में काम करने वाले लोग.'

गोखले ने ऐसे कानून बनाने का भी आग्रह किया जो भारतीय कंपनियों में ओवरटाइम वेतन सुनिश्चित करें तथा यह सुनिश्चित करें कि कर्मचारियों से लंबे समय तक काम न कराया जाए.

Zee Hindustan News App: देश-दुनिया, बॉलीवुड, बिज़नेस, ज्योतिष, धर्म-कर्म, खेल और गैजेट्स की दुनिया की सभी खबरें अपने मोबाइल पर पढ़ने के लिए डाउनलोड करें ज़ी हिंदुस्तान न्यूज़ ऐप.

ट्रेंडिंग न्यूज़