Manipur Violence: फिर सुलगा मणिपुर, बिष्णुपुर जिले में झड़पों में 17 लोग घायल

Manipur Violence, Hindi Samachar, Hindi Nation News: मणिपुर में बिष्णुपुर जिले के कांगवई और फोउगाकचाओ इलाके में झड़पों के बाद सेना तथा त्वरित कार्रवाई बल ने बृहस्पतिवार को आंसू गैस के गोले छोड़े जिसमें 17 लोग घायल हो गए. अधिकारियों ने बताया कि इंफाल पूर्व और इंफाल पश्चिम के जिला मजिस्ट्रेट ने कर्फ्यू में दी गई ढील को वापस ले लिया है और एहतियात के तौर पर आज पाबंदियां लागू की हैं.

Written by - Zee Hindustan Web Team | Last Updated : Aug 3, 2023, 04:24 PM IST
  • इंफाल घाटी में नाइट कर्फ्यू पहले से ही लागू
  • अंतिम संस्कार स्थगित करने पर बनी सहमति
Manipur Violence: फिर सुलगा मणिपुर, बिष्णुपुर जिले में झड़पों में 17 लोग घायल

नई दिल्लीः Manipur Violence, Hindi Samachar, Hindi Nation News: मणिपुर में बिष्णुपुर जिले के कांगवई और फोउगाकचाओ इलाके में झड़पों के बाद सेना तथा त्वरित कार्रवाई बल ने बृहस्पतिवार को आंसू गैस के गोले छोड़े जिसमें 17 लोग घायल हो गए. अधिकारियों ने बताया कि इंफाल पूर्व और इंफाल पश्चिम के जिला मजिस्ट्रेट ने कर्फ्यू में दी गई ढील को वापस ले लिया है और एहतियात के तौर पर आज पाबंदियां लागू की हैं.

इंफाल घाटी में नाइट कर्फ्यू पहले से ही लागू 
इंफाल घाटी में रात्रिकालीन कर्फ्यू पहले ही लागू है. झड़पों से पहले मणिपुर की जातीय हिंसा में मारे गए कुकी-जोमी समुदाय के लोगों के अंतिम संस्कार को रोक दिया गया. उच्च न्यायालय ने चुराचांदपुर में प्रस्तावित अंत्येष्टि स्थल पर यथास्थिति बनाए रखने का बृहस्पतिवार सुबह आदेश दिया.

अंतिम संस्कार स्थगित करने पर बनी सहमति
कुकी-जो समुदाय का संगठन ‘इंडिजिनस ट्राइबल लीडर्स फोरम’ (आईटीएलएफ) भी 35 लोगों के अंतिम संस्कार को स्थगित करने पर सहमत हो गया. बिष्णुपुर जिले में हजारों स्थानीय लोगों के सुरक्षा बलों की आवाजाही बाधित करने के लिए सड़कों पर उतरने के कारण सुबह से ही तनाव व्याप्त है. 

जवानों के अवरोधकों को पार करने की कोशिश
महिलाओं की अगुवाई में स्थानीय लोगों ने सेना तथा आरएएफ जवानों की ओर से लगाए अवरोधकों को पार करने की कोशिश की. वे अंत्येष्टि स्थल तुइबुओंग तक जाने की अनुमति मांग रहे हैं.

बता दें कि मणिपुर में मैतेई समुदाय की ओर से अनुसूचित जनजाति का दर्जा देने की मांग की जा रही थी. इसके विरोध में आदिवासी एकजुटता मार्च निकालने के दौरान मई में राज्य में जातीय हिंसा भड़की थी. इस हिंसा में अब तक 160 से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है.

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