मुंबई: महाराष्ट्र के पालघर में दूसरी बार साधु पर हमला हुआ है. शंकरानंद और उनके सहयोगी को निशाना बनाया गया. ये पहली बार नहीं है, पहले भी हो 2 साधुओं की हत्या चुकी है. हमलावरों ने नांदेड़ में भी एक साधु की जान ली थी.
पालघर में फिर साधुओं पर हमला
महाराष्ट्र में साधुओं पर हमला थमने का नाम ही नहीं ले रहा है. पालघर में एक और साधु और उनके सहायक पर जानलेवा हमला हुआ है. 3 अज्ञात हमलावरों ने मंदिर के पुजारी शंकरानंद पर हथियार से हमला किया.
मंदिर के पुजारी के करीब 7 हज़ार रुपए भी लूट लिए. पुलिस ने साधु पर हमले के आरोप में 1 आरोपी को गिरफ्तार किया है. लेकिन सबसे बड़ा सवाल तो यही है कि क्या उद्धव ठाकरे की सरकार सो रही है, जो बार-बार एक ही जगह पर साधुओं पर हमले की वारदात सामने आ रही है.
कैसे हुई पूरी वारदात? जानिए..
दरअसल, बुधवार की रात 12.30 बजे के करीब मंदिर के पुजारी और उनके सेवाकर्मी पर हमला हुआ. पालघर जिला के वसई तालुका के भालिवली इलाके में मुंबई-अहमदाबाद महामार्ग,डोंगर स्थित शिव मंदिर के पुजारी और सहकर्मी के पर बुधवार की रात 12.30 बजे के करीब 3 हमलावरों ने हमला कर दान पेटी से नकदी व अन्य समान लेकर भाग निकले.
विरार पुलिस स्टेशन वरिष्ठ अधिकारी सुरेश वराडे ने बताया कि पुलिस ने धारा 394 और अन्य धारा के तहत 3 आरोपियों के खिलाफ मामला दर्ज कर आगे की जांच में जुट गई है. पुलिस ने 3 में से 1आरोपी को अरेस्ट कर लिया और उसके पास से 2000 रूपये भी बरामद किये है. बाकी 2आरोपी अभी भी फरार है.
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बताया जा रहा है कि हमलावरों ने भालिवली क्षेत्र में जागृत महादेव मंदिर के पुजारी शंकरानंद दयानंद सरस्वती (54) और सहकर्मी शामसिंग सोमसिंग ठाकुर (60) के ऊपर हमला किया था. हाल ही में पालघर में ही साधुओं पर हमला करके उन्हें भीड़ ने मौत के घाट उतार दिया था. ऐसे में फिर एक ऐसी ही वारदात से उद्धव सरकार की जवाबदेही बनती है.
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