Surya Grahan 2024 Date and Time: हर साल चंद्र ग्रहण और सूर्य ग्रहण लगता है और इस साल यानी 2024 का दूसरा सूर्यग्रहण पितृपक्ष में लगने वाला है. श्राद्ध पक्ष इस साल 17 सितंबर को शुरू होकर 2 अक्तूबर को समाप्त होगा.
साल का दूसरा सूर्य ग्रहण इस बार 2 अक्टूबर 2024 को लगने वाला है. सूर्य ग्रहण रात के 9 बजकर 13 मिनट से शुरू होकर देर रात 3 बजकर 17 मिनट पर समाप्त होगा.
हिंदू पंचांग की मानें तो आश्विन मास की अमावस्या तिथि पर इस साल का दूसरा सूर्य ग्रहण लगने वाला है. इस दिन पितृपक्ष की अमावस्या तिथि है जोकि विशेष महत्व रखती है.
साल का दूसरा सूर्य ग्रहण भारत में देखा जा सकेगा या नहीं? साल का दूसरा सूर्य ग्रहण रात में दिखेगा. हालांकि इसे भारत में नहीं देखा जा सकेगा.
सूर्य ग्रहण का सूतक काल लगेगा या नहीं? सूर्य ग्रहण के शुरू होने से लगभग 12 घंटे पहले सूतक लगता है, हालांकि साल का दूसरा सूर्य ग्रहण भारत में नहीं दिखेगा तो यहां पर सूतक काल मान्य नहीं होगा.
सूतक काल में मंदिरों के कपाट बंद रखे जाते हैं और मांगलिक व शुभ कार्य कतई नहीं किए जाते हैं. इसके बाद जब सूर्य ग्रहण समाप्त होता है तो गंगाजल से पवित्र करके ही मंदिर खोले जाते हैं.
भारत में तो साल का दूसरा सूर्य ग्रहण नहीं दिखेगा लेकिन ये ध्यान देना होगा कि इस ग्रहण को दक्षिण अमेरिका के उत्तरी भागों में, आर्कटिक, अर्जेंटीना, ब्राजील, पेरू के साथ ही फिजी, चिली, होनोलूलू, ब्यूनो आयर्स और अंटार्कटिका समेत दक्षिण अमेरिका व प्रशांत महासागर के कुछ भाग में देखा जा सकेगा.
ज्योतिष शास्त्र की मानें को कन्या राशि व हस्त नक्षत्र में सूर्य ग्रहण लगने वाला है और सूर्य के साथ इस दिन चंद्रमा, बुध व केतु भी स्थित रहने वाले हैं. देवगुरु बृहस्पति के साथ ही मंगल की पूर्ण दृष्टि रहने वाली है. सूर्य से द्वितीय भाव में शुक्र में स्थित होंगे और छठे भाव में वक्री शनि वास कर रहे होंगे.
ऐसे में कुछ राशि के जातक को तो बहुत लाभ होगा, सूर्य ग्रहण से मिथुन, कर्क, वृश्चिक राशि वालों को लगभग हर क्षेत्र में सफलता और धन प्राप्ति हो सकती है. रुके काम पूरे होंगे.
इसके अलावा मेष, वृषभ, सिंह, मीन राशिवालों को इस दौरान बहुत संभलकर आगे बढ़ना होगा. गाड़ी चलाते समय या यात्रा के दौरान सावधानी बरतनी होगी. इसके साथ ही किसी भी फैसले को विचार कर ही लें. निवेश करने से बचें, धन हानि हो सकती है.
Disclaimer: यहां दी गई सभी जानकारियां धार्मिक आस्था व लोक मान्यताओं, वास्तुशास्त्र पर आधारित हैं. Zeeupuk इस बारे में किसी तरह की कोई पुष्टि नहीं करता है. इसे सामान्य जनरुचि को ध्यान में रखकर यहां प्रस्तुत किया गया है.