Delhi Tiranga utsav: दिल्ली सरकार के स्वतंत्रता सेनानी प्रकोष्ठ द्वारा बाबरपुर बस टर्मिनल के पास यह कार्यक्रम आयोजित किया गया, जिसमें समान्य प्रशासन विभाग के मंत्री गोपाल राय बतौर मुख्य अतिथि शामिल हुए.
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Delhi Tiranga utsav: गणतंत्र दिवस के अवसर पर दिल्ली सरकार ने शुक्रवार को तिरंगा उत्सव का आयोजन कर देश के शहीदों को याद किया. दिल्ली सरकार के स्वतंत्रता सेनानी प्रकोष्ठ द्वारा बाबरपुर बस टर्मिनल के पास यह कार्यक्रम आयोजित किया गया, जिसमें समान्य प्रशासन विभाग के मंत्री गोपाल राय बतौर मुख्य अतिथि शामिल हुए. उन्होंने दिल्ली और देशवासियों को गणतंत्र दिवस की शुभकामनाएं देते हुए कहा कि हम हर साल तिरंगा उत्सव का आयोजन कर अपने देश के शहीदों को सलामी देते हैं, जिन्होंने देश की आजादी के लिए हंसते-हंसते फांसी के फंदे को चूम लिया.
तिरंगा उत्सव के दौरान सांस्कृतिक और नाट्य कार्यक्रमों का भी आयोजन किया गया, जिसके माध्यम से लोगों के अंदर देशभक्ति का जज्बा जगाने का प्रयास किया गया. साथ ही, यह संदेश देने की कोशिश भी की गई कि हमें अपने परिवार के साथ-साथ देश के लिए भी जीना है.
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तिरंगा उत्सव कार्यक्रम के दौरान कैबिनेट मंत्री गोपाल राय ने कहा कि पूरा देश 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस मना रहा है. बाबरपुर विधानसभा के इस बस टर्मिनल में हम लोग हर साल ईद मिलन, दीपावली मिलन और 26 जनवरी को तिरंगा उत्सव कार्यक्रम का आयोजन करते हैं. 26 जनवरी को आयोजित होने वाले इस तिरंगा उत्सव कार्यक्रम में सभी धर्म और सभी समाज के लोग एक साथ मिलकर तिरंगे का सम्मान करते हैं. साथ ही उन शहीदों को सलामी देते हैं, जिन्होंने देश की आजादी के लिए हंसते-हंसते फांसी के फंदे को चूम लिया और इस देश के लिए अपना सबकुछ न्यौछावर कर दिया.
गोपाल राय ने कहा कि आज 75 साल बाद शायद हम वो सब महसूस नहीं कर सकते, जो गुलामी की जंजीर में जकड़े लोगों ने महसूस किया होगा. उस समय कैसे इस देश के सभी लोगों ने मिलकर आजादी के लिए अपने प्राणों को न्यौछावर कर दिया होगा. कैसे हिंदू-मुस्लिम महिलाओं, पुरुषों, आदिवासी, दलितों और देश के हर कोने-कोने और हर भाषा के लोगों ने इस देश की आजादी के लिए कुर्बानी दी. हम तिरंगा उत्सव आयोजित कर उन शहीदों को याद करते हैं. मंत्री गोपाल राय ने कहा कि इस तिरंगा उत्सव के माध्यम से यह संदेश देने की कोशिश करते हैं कि हमें अपने और परिवार के साथ-साथ इस देश के लिए भी जीना है. इस उत्सव में हम सभी सांस्कृतिक कार्यक्रमों और नाट्य-नाटिका के माध्यम से उन शहीदों को याद करते हैं और लोगों के दिल में देशभक्ति का जज्बा जगाने का प्रयास करते हैं.