Karwachauth 2022: कोरोना के चलते ठीक दो साल बाद करवाचौथ पर CAIT ने इस साल सोने और चांदी के गहनों पर होने बिक्री को लेकर जानकारी दी, उन्होंने कहा कि अक्टूबर से लेकर नवंबर तक का महीना देशभर के सोने चांदी के व्यापारियों के लिए व्यापार की दृष्टि से बेहद शुभ माना जाता है.
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अनुज तोमर/नई दिल्ली: कोरोना के चलते पिछले दो साल में दिल्ली सहित देशभर में भारतीय महिलाओं के लिए सबसे पावन दिन करवा चौथ में ज्वेलर्स के बेहद कमजोर कारोबार की तुलना में इस साल, जब कोरोना की सभी बंदिशें खत्म हो गई हैं और देशभर में नवरात्रि से दिवाली का त्यौहारी सीजन शुरू हो गया है तो ऐसे में कॉन्फेडरेशन ऑफ़ आल इंडिया ट्रेडर्स (CAIT) एवं देश के छोटे ज्वेलर्स के बड़े संगठन आल इंडिया ज्वेलर्स एवं गोल्डस्मिथ फेडरेशन (aijgf) ने आज एक संयुक्त वक्तव्य में कहा कि देशभर के ज्वेलरी व्यापारियों को भी करवा चौथ पर आज एक बेहतर व्यापार का बड़ा अवसर मिल रहा है. भारतीय परंपरा के मुताबिक आगामी नवंबर से शुरू होने वाले शादियों के लिए भी सोने के गहनों आदि की बुकिंग भी आज से शुरू हो गई.
सोने-चांदी के गहनों के व्यापार में तेजी
कैट के राष्ट्रीय महामंत्री प्रवीन खंडेलवाल एवं आइजेजीएफ के राष्ट्रीय अध्यक्ष पंकज अरोड़ा ने बताया कि आज देशभर में सोने एकम सोने के आभूषणों की बिक्री का आंकड़ा लगभग 3 हजार करोड़ का है जबकि पिछले साल यह व्यापार लगभग 2200 करोड़ रुपये का था. पिछले साल करवा चौथ के मुकाबले आज सोना 3400 रुपये प्रति 10 ग्राम महंगा है, लेकिन चांदी 11 हजार रुपये किलो सस्ती है. दिल्ली में 24 कैरट सोने के दाम 52 हजार रुपये और 22 कैरट सोना 48 हजार रुपये प्रति 10 ग्राम है. वहीं, चांदी 59 हजार रुपये प्रति किलो है.
त्योहारी सीजन में बढ़ेगा बिजनेस
उन्होंने बताया कि अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर जियो राजनीतिक उठा पटक को देखते हुए आने वाले समय में सोने के दामों में वृद्धि की संभावना है. खंडेलवाल एवं अरोड़ा ने बताया कि अक्टूबर से लेकर नवंबर तक का महीना देशभर के सोने चांदी के व्यापारियों के लिए व्यापार की दृष्टि से बेहद शुभ माना जाता है. आज से शुरू हुए त्योहारों में करवा चौथ के बाद पुष्य नक्षत्र, धनतेरस, लक्ष्मी पूजन, दीपावली, भैया दूज, छठ पूजा एवं तुलसी विवाह के बाद 14 नवंबर तक शादियां का मौसम रहने से सोने और चांदी के बाजार गुलजार रहते हैं और व्यापार बेहद तेजी से बढ़ता है.
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कैट के राष्ट्रीय अध्यक्ष BC भारतियों ने बताया कि दिल्ली में चांदनी चौक, कुचा महाजनी, मालीवाड़ा, दरीबा कलां, बारा टूटी सदर बाजार जैसे थोक बाज़ारों में तथा करोल बाग, कमला नगर, पीतमपुरा, शालीमार बाग, साउथ एक्सटेंशन, ग्रेटर कैलाश, राजौरी गार्डन, प्रीत विहार, लक्ष्मी नगर, शाहदरा आदि में सोने चांदी के व्यापारियों ने अपनी दुकानों पर विशेष सजावट कर रखी है एवं नए अन्य आकर्षक डिजाइन के गहने आदि का भरपूर स्टॉक रखा है.
भारतियों ने यह भी बताया कि दिल्ली के अलावा देशभर की अन्य ज्वेलरी मंडियों मुंबई, आगरा, कानपुर, हैदराबाद, नागपुर, रायपुर, राजकोट, कोयम्बटूर, कोलकाता, मेरठ, अमृतसर सहित जयपुर, भोपाल, इंदौर, अहमदाबाद, सूरत, चेन्नई, त्रिवेंद्रम, बंगलौर, जम्मू, लखनऊ, आदि शहरों में भी ज्वेलेरी दुकानों एवं बाजारों में सोने एवं चांदी का जमकर व्यापार हुआ.
अरोड़ा ने बताया कि बाजार में इस समय सोने-चांदी की कीमतों में थोड़ी स्थिरता को देखते हुए इस वर्ष जहां धनाढ्य वर्ग के लिए विशेष किस्म की ज्वेलरी की बिक्री हुई. वहीं बहुलता लोगों के लिए हल्के वजन की ज्वेलरी का भी बड़ा स्टॉक बाजारों में खूब उपलब्ध था. एक तरफ सोने-चांदी के पारंपरिक गहनों के स्टॉक के साथ नए फैशन के गहने की भी बड़ी मांग है. ब्राइडल रिंग, चेन, चूड़ी, कालर सेट, मंगलसूत्र की मांग हमेशा की तरह ज्यादा रही.
दूसरी ओर चांदी में भी पाज़ेब, बिछुआ, हाफ कमरबंद आदि को टियर 2 एवं टियर 3 शहरों में बड़े पैमाने पर खरीददारी हुई. अरोरा ने यह भी बताया कि पिछले कई वर्षों में आर्टिफिशियल ज्वेलरी की भी मांग जिसमें चिक व पोल्की सेट मुख्य हैं बड़े स्तर पर खरीदे गए हैं. लिहाजा इस साल भी इन आइटमों की बड़ी भारी बिक्री आज बाजार में देखी गई. अब देशभर के व्यापारी पुष्य नक्षत्र एवं धनतेरस की तैयारियों में जुट गए हैं.