उपराज्यपाल वीके सक्सेना द्वारा एमसीडी के स्थायी समिति सदस्य का चुनाव 27 सितंबर को कराने के निर्देश के एक दिन बाद दिल्ली की मेयर शैली ओबेरॉय ने शुक्रवार को इस आदेश को अवैध बताया. दिल्ली की मेयर शैली ओबेरॉय ने कहा कि कल रात एलजी के आदेश पर एमसीडी कमिश्नर द्वारा जारी किया गया आदेश
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Shelly Oberoi: उपराज्यपाल वीके सक्सेना द्वारा एमसीडी के स्थायी समिति सदस्य का चुनाव 27 सितंबर को कराने के निर्देश के एक दिन बाद दिल्ली की मेयर शैली ओबेरॉय ने शुक्रवार को इस आदेश को अवैध बताया. दिल्ली की मेयर कहा कि कल रात एलजी के आदेश पर एमसीडी कमिश्नर द्वारा जारी किया गया आदेश कि दोपहर 1 बजे स्थायी समिति सदस्य का चुनाव किया जाएगा. यह आदेश अवैध और असंवैधानिक है.
सिसोदिया ने किया समयसीमा को लेकर सवाल
एलजी को सदन के कामकाज में हस्तक्षेप करने का कोई अधिकार नहीं है. भाजपा ने कल 2-3 बार सदन की कार्यवाही बाधित की और चुनाव प्रक्रिया में बाधा डालने का उनका प्रयास जारी रहा. इसके बाद मुझे सदन को 5 अक्टूबर तक स्थगित करने के लिए मजबूर होना पड़ा. कानूनी तौर पर 5 अक्टूबर को ही चुनाव हो सकते हैं. एमसीडी कमिश्नर को एक पत्र भेजा गया है और उन्हें बताया गया है कि कल जारी किया गया नोटिस अवैध है. भाजपा की मंशा क्या है कि वह इस तरह से चुनाव कराना चाहती है? आप के वरिष्ठ नेता और पूर्व उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने दिल्ली के उपराज्यपाल वीके सक्सेना से दिल्ली नगर निगम (एमसीडी) चुनाव की समयसीमा को लेकर भी सवाल किया. उन्होंने कहा कि बाद में उपराज्यपाल ने एमसीडी आयुक्त को कल रात 10 बजे तक चुनाव कराने का आदेश दिया। पूरी रात भाजपा पार्षद वहां मौजूद रहे, जबकि आप और कांग्रेस पार्षद अनुपस्थित रहे. अब वे एमसीडी के अतिरिक्त आयुक्त के नेतृत्व में दोपहर 1 बजे तक चुनाव कराना चाहते हैं.
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मतदान केंद्र के अंदर मोबाइल ले जाने की दी जानी चाहिए अनुमति
चंडीगढ़ मेयर चुनाव में मैसी ने जो किया, वही यहां एमसीडी आयुक्त अश्विनी कुमार कर रहे है. गुरुवार को एमसीडी आयुक्त अश्विनी कुमार ने 27 सितंबर को दोपहर 1 बजे चुनाव कराने का आदेश जारी किया था. एमसीडी के आदेश में कहा गया था कि निगम द्वारा स्थायी समिति में एकमात्र रिक्त पद के लिए चुनाव 26 सितंबर को दोपहर 2:00 बजे निर्धारित किया गया था, जबकि उक्त चुनाव नहीं कराया गया और बैठक को शैली ओबेरॉय द्वारा 5 अक्टूबर तक के लिए स्थगित कर दिया गया . इस आधार पर कि पार्षदों को मतदान हॉल/मतदान केंद्र के अंदर मोबाइल फोन ले जाने की अनुमति दी जानी चाहिए.