विधानसभा में "आप" के विधायकों ने सदन में वेल के अंदर आकर विरोध प्रदर्शन कर LG के खिलाफ जमकर नारेबाजी की. इसके बाद विधायकों ने गांधी प्रतिमा के पास बैठकर धरना दिया. इस दौरान "आप" को विधायक आतिशी ने कहा कि LG साहब मुख्य सचिव, प्रमुख सचिव वित्त और स्वास्थ्य सचिव के माध्यम से दिल्ली सरकार के हर काम को रोक रहे हैं.
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नई दिल्लीः आम आदमी पार्टी के विधायकों ने आज दिल्ली विधानसभा में LG के इशारे पर दिल्ली की स्वास्थ्य सेवाओं को ठप करने की कोशिश करने वाले मुख्य सचिव, प्रमुख सचिव वित्त और स्वास्थ्य सचिव के निलंबन की मांग को लेकर जमकर विरोध प्रदर्शन किया. दिल्ली विधान सभा की याचिका समिति ने बुधवार को सदन में जांच रिपोर्ट पेश की थी, जिसमे खुलासा किया गया था कि एलजी के इशारे पर कुछ अधिकारियों द्वारा जानबूझकर दिल्ली की स्वास्थ्य सेवाओं को ठप करने के प्रयास किया गया.
गुरुवार को विधानसभा में "आप" के विधायकों ने सदन में वेल के अंदर आकर विरोध प्रदर्शन कर LG के खिलाफ जमकर नारेबाजी की. इसके बाद विधायकों ने गांधी प्रतिमा के पास बैठकर धरना दिया. इस दौरान "आप" को विधायक आतिशी ने कहा कि LG साहब मुख्य सचिव, प्रमुख सचिव वित्त और स्वास्थ्य सचिव के माध्यम से दिल्ली सरकार के हर काम को रोक रहे हैं. विधायक दिलीप पांडेय ने कहा कि एलजी के साथ मिलकर मुख्य सचिव, वित्त प्रमुख सचिव और स्वास्थ्य सचिव दिल्ली की जनता के हित के खिलाफ काम कर रहे हैं. विधायक कुलदीप कुमार ने कहा कि LG के इशारे पर मोहल्ला क्लीनिक में टेस्ट रोके गए, अस्पतालों में डेटा एंट्री ऑपरेटर हटाए गए और दिल्ली जल बोर्ड का फंड रोका गया.
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LG साहब दिल्ली सरकार के हर काम को रोक रहे हैं
दिल्ली विधानसभा की याचिका समिति द्वारा बुधवार को पेश रिपोर्ट में खुलासा हुआ था कि LG के इशारे पर मुख्य सचिव, प्रमुख सचिव वित्त और स्वास्थ्य सचिव ने दिल्ली की स्वास्थ्य सेवाओं को ठप करने की कोशिश की. इस खुलासे के बाद आज आम आदमी पार्टी के विधायकों ने विधानसभा में चल रहे सत्र के दौरान मुख्य सचिव, प्रमुख सचिव वित्त और स्वास्थ्य सचिव के निलंबन की मांग को लेकर विरोध प्रदर्शन और धरना दिया. धरने में शामिल आम आदमी पार्टी की विधायक आतिशी ने मीडिया से बातचीत की.
उन्होंने कहा कि कल से हम विधानसभा में धरना कर रहे हैं. एलजी साहब दिल्ली में आईएएस अफसरों के जरिए सारे काम रोक रहे हैं. चाहे वो मुख्य सचिव के माध्यम से हो, प्रमुख सचिव वित्त हो या स्वास्थ्य सचिव के माध्यम से हो. दिल्ली के मोहल्ला क्लीनिक में डॉक्टरों का वेतन नहीं दिया गया है. वहां दवाईयों के पैसे नहीं दिए गए हैं. टेस्ट के पैसे नहीं दिए गए हैं. बस के मार्शल का वेतन नहीं दिया गया है, डीटीसी की पेंशन नहीं दी गई है, डीटीसी बस के मार्शल की सैलरी नहीं दी गई है. ऐसे ही अफसरों के माध्यम से एक के बाद एक दिल्ली सरकार के हर काम को रोका जा रहा है.
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दिल्ली की जनता के काम रोकने के दोषी मुख्य सचिव
धरने पर बैठे आम आदमी पार्टी के विधायक कुलदीप कुमार ने कहा कि पिछले छह महीने में एलजी ने किस प्रकार से दिल्ली के कामों को रोकने का काम किया है, यह याचिका समिति की रिपोर्ट से खुलासा हुआ है. किस तरीके से दिल्ली के मोहल्ला क्लीनिक का काम ठप किया गया, किस तरह से सरकारी अस्पतालों में ओपीडी ऑपरेटर्स को हटाया गया है.
उन्होंने कहा कि यह भी पता चला है कि कैसे एलजी साहब का नाम लेकर दिल्ली के चीफ सेक्रेटरी ने अफसरों को धमकाया है. फाइल रुकवाने का काम किया गया है. याचिका समिति की रिपोर्ट में दिल्ली के मुख्य सचिव, वित्त प्रमुख सचिव और स्वास्थ्य सचिव मुख्य रूप से दोषी पाए गए हैं. दिल्ली की जनता के कामों को रोकने वाले इन तीनों अफसरों को तुरंत निलंबित किया जाए. इसी मांग को लेकर हम धरने पर बैठे हैं.
"आप" के विधायकों ने LG के दखल के विरोध जमकर की नारेबाजी
विधानसभा परिसर में धरने पर बैठे 'आप' विधायकों ने प्रदर्शन कर दिल्ली की चुनी हुई सरकार के उन सभी मुद्दों को उठाया, जिन्हें एलजी की दखलअंदाजी से रोका गया है. आम आदमी पार्टी के विधायकों ने धरना स्थल पर ‘एलजी साहब होश में आओ’ और ‘एलजी साहब शर्म करो’ के नारे लगाए. ‘चीफ सेक्रेटरी होश में आओ’, ‘चीफ सेक्रेटरी को सस्पेंड करो’, ‘वित्त सचिव से डरना बंद करो’, ‘भाजपा से डरना बंद करो’, ‘दिल्ली वालो के काम करो’, ‘डीटीसी बस मार्शल की सैलरी दो’, ‘सिविल डिफेंस को सैलरी दो’, ‘मोहल्ला क्लीनिक चलने दो’, ‘दिल्ली जल बोर्ड को पैसे दो’, ‘शिक्षकों को फिनलैंड जाने दो’, ‘दिल्ली का पैसा रिलीज करो’, ‘काम रोकना बंद करो’ के नारे लगाए.
LG के इशारे पर अधिकारियों ने की दिल्ली की स्वास्थ्य सेवाओं को ठप करने की कोशिश
उल्लेखनीय है कि बुधवार को दिल्ली विधानसभा की याचिका समिति ने सदन के समक्ष ''दिल्ली सरकार के अस्पतालों में दिल्ली के उपराज्यपाल के आदेश पर ओपीडी काउंटरों के कामकाज को ठप करने'' शीर्षक से एक रिपोर्ट पेश की थी. इसके तहत यह पाया गया कि मैन्युफैक्चर्ड ब्यूरिक्रेटिक बाधाएं थीं, जिसके कारण दिल्ली के अस्पतालों के ओपीडी काउंटर्स में डाटा एंट्री ऑपरेटरों के लिए निविदाओं के आमंत्रण के लिए अनुमोदन देने में अत्यधिक देरी हुई.
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साथ ही चिकित्सा सेवाओं की जरूरत वाले दिल्ली के कई लोगों पर इसका असर पड़ा. वित्त विभाग द्वारा निविदा आमंत्रित करने में हुई देरी के कारण अस्पतालों में काफी अफरा-तफरी मच गई, जिससे लाखों गरीब मरीजों को चिकित्सा सुविधायें और ट्रीटमेंट नहीं मिल पाया. विभिन्न प्रोजेक्ट्स को ठप करने में मुख्य सचिव की भूमिका जांच के दायरे में है.
उन्हें 30 दिनों में समिति की सिफारिशों पर की गई कार्रवाई की रिपोर्ट प्रस्तुत करने का निर्देश दिया गया है. समिति ने भारत के राष्ट्रपति और केंद्रीय गृह मंत्रालय से सिफारिश की है कि वे इस मामले पर संज्ञान लें और एलजी और मुख्य सचिव के खिलाफ उचित कार्रवाई करें. आम आदमी पार्टी के विधायकों ने स्वास्थ्य सेवाओं को ठप्प करने के पीछे जानबूझकर की गई लापरवाही के लिए मुख्य सचिव, स्वास्थ्य सचिव और वित्त सचिव को निलंबित करने की मांग करते हुए सदन में विरोध प्रदर्शन किया.