Janmashtami 2022: भगवान श्रीकृष्ण की पूजा के लिए ये हैं जरूरी सामग्रियां, बिना इनके पूजा है अधूरी
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Janmashtami 2022: भगवान श्रीकृष्ण की पूजा के लिए ये हैं जरूरी सामग्रियां, बिना इनके पूजा है अधूरी

जन्माष्टमी की पूजा के लिए सारी तैयारियों में सबसे जरूरी है पूजा सामग्री. इसके लिए जरूरी है कि पहले से ही पूजा सामग्रियों को इकट्ठा करके रख लें. कान्हा के लिए झूला या पालना, भगवान कृष्ण की प्रतिमा, बांसुरी, नए वस्त्र आदि जुटा लें.

Janmashtami 2022: भगवान श्रीकृष्ण की पूजा के लिए ये हैं जरूरी सामग्रियां, बिना इनके पूजा है अधूरी

पटनाः Janmashtmi Puja Vidhi: जन्माष्टमी पर भगवान श्रीकृष्ण की पूजा के लिए सारी तैयारी हो गई है. भगवान के जन्म का इंतजार किया जा रहा है. इस दौरान कई लोगों ने घरों नें झांकियां भी तैयार की हैं. 19 अगस्त की यानी की आज की रात 12 बजे भगवान का जन्म होगा. अष्टमी तिथि का आरंभ गुरुवार 18 अगस्त की रात  09: 21 बजे से हो चुका है. पंचांग के अनुसार, जन्माष्टमी पर रात्रि 12:03 से 12:47 तक नीशीथ काल रहेगा. ऐसे में श्रीकृष्ण की पूजा के लिए 44 मिनट का शुभ मुहूर्त होगा. 

जन्माष्टमी पूजा सामग्री
जन्माष्टमी की पूजा के लिए सारी तैयारियों में सबसे जरूरी है पूजा सामग्री. इसके लिए जरूरी है कि पहले से ही पूजा सामग्रियों को इकट्ठा करके रख लें. कान्हा के लिए झूला या पालना, भगवान कृष्ण की प्रतिमा, बांसुरी, नए वस्त्र, आभूषण (मुकुट, कुंडल, पाजेब और माला जैसी चीजें),  तुलसी पत्र, चंदन, अक्षत, मक्खन, केसर, कलश, हल्दी, छोटी इलायची, पान, सुपारी, सिक्के या रुपए, सफेद कपड़ा, लाल कपड़ा, नायिरल, कुमकुम, लौंग, मौली, इत्र, सिंहासन, गंगाजन, दीया, सरसों का तेल या घी, रुई की बत्ती, अगरबत्ती, धूपबत्ती, फल (खीरा, सेब, मीठा, नींबू, नाशपाती, अमरूद), कपूर को जुटा कर रख लें. 

जन्माष्टमी पूजन विधि
जन्माष्टमी व्रत वाले दिन सुबह जल्दी उठकर स्नान करें. इसके बाद साफ कपड़े पहन कर घर के मंदिर में दीप जलाएं और सभी देवी-देवताओं की पूजा करें. लड्डू गोपाल का जलाभिषेक करें और भोग लगाएं और धूप-दीप जलाएं. रात्रि में पूजन के लिए तैयारी करें. जन्माष्टमी पर रात्रि पूजन का विशेष महत्व होता है, क्योंकि भगवान कृष्ण के रूप में भगवान विष्णु ने अर्धरात्रि को जन्म लिया था. रात्रि पूजन के लिए श्री कृष्ण के लिए झूला सजाएं. इसके बाद श्रीकृष्ण भगवान का पंचामृत या गंगाजल से अभिषेक करें और फिर उनका श्रृंगार करें. इस दिन श्रीकृष्ण का बांसुरी, मोर मुकुट, वैजयंती माला कुंडल, पाजेब, तुलसी दल आदि से श्रृंगार किया जाता है. इसके साथ ही पूजा में उन्हें मक्खन, मिठाई, मेवे,मिश्री और धनिया की पंजीरी का भोग लगाया जाता है. पूजा में श्रीकृष्ण की आरती जरूर करें.

 

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