Paris Paralympics 2024: हवलदार होकाटो होटोझे सेमा का 2002 के बम विस्फोट में अपना पैर गंवाने से लेकर पैरालंपिक में पुरुषों की F57 शॉट पुट स्पर्धा में कांस्य पदक जीतने तक का सफर प्रेरणादायक है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उनकी उल्लेखनीय उपलब्धि की सराहना की.
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Paris Paralympics 2024: लैंडमाइन ब्लास्ट में जीवित बचे होकाटो सेमा ने शुक्रवार को पुरुषों की F57 श्रेणी के फाइनल में भारत के लिए कांस्य पदक जीतकर चल रहे पैरालिंपिक 2024 में इतिहास रच दिया. नागालैंड के दीमापुर से आए सेमा सेना से हैं और उन्होंने पिछले साल हांग्जो पैरालिंपिक में भी कांस्य पदक जीता था.
शुक्रवार को उन्होंने अपने दूसरे थ्रो में 14 मीटर का आंकड़ा छुआ और फिर 14.40 मीटर थ्रो के साथ इसमें सुधार किया.
वह भारतीय सेना में हवलदार थे और 2002 में नियंत्रण रेखा पर एक ऑपरेशन के दौरान बारूदी सुरंग विस्फोट के कारण उन्होंने अपना पैर खो दिया था। दुर्घटना के बाद, उन्होंने शॉटपुट खेलना शुरू किया.
सेमा को पुणे स्थित आर्टिफिशियल लिम्ब सेंटर के एक वरिष्ठ सैन्य अधिकारी ने शॉटपुट खेलने के लिए प्रेरित किया. उन्होंने 2016 में 32 साल की उम्र में शॉटपुट खेलना शुरू किया और उसी साल जयपुर में राष्ट्रीय पैरा चैंपियनशिप में भाग लेना शुरू किया.
मौजूदा पैरालिंपिक में भारत ने 12 कांस्य, नौ रजत और छह स्वर्ण सहित 27 पदक जीते हैं. शुक्रवार को सेमा के प्रयास ने अजरबैजान के ओलोखान मुसायेव द्वारा बनाए गए 13.49 मीटर के पिछले पैरालिंपिक रिकॉर्ड को भी तोड़ दिया. इस बीच, ईरान के यासीन खोसरावी ने 15.96 मीटर के थ्रो के साथ स्वर्ण पदक जीता और ब्राजील के थियागो डॉस सैंटोस ने 15.06 मीटर के थ्रो के साथ रजत पदक जीता.
A proud moment for our nation as Hokato Hotozhe Sema brings home the Bronze medal in Men’s Shotput F57! His incredible strength and determination are exceptional. Congratulations to him. Best wishes for the endeavours ahead. #Cheer4Bharat pic.twitter.com/dBZONv44kM
— Narendra Modi (@narendramodi) September 7, 2024
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने सेमा की जीत को राष्ट्र के लिए "गर्व का क्षण" बताया तथा उनकी अविश्वसनीय शक्ति और दृढ़ संकल्प की सराहना की.
पीएम मोदी ने एक्स पर लिखा, "हमारे देश के लिए यह गर्व का क्षण है, क्योंकि होकाटो होटोझे सेमा ने पुरुषों की शॉट पुट एफ57 में कांस्य पदक जीता है! उनकी अविश्वसनीय ताकत और दृढ़ संकल्प असाधारण है. उन्हें बधाई। आगे के प्रयासों के लिए शुभकामनाएं."
सेमा को खेलो इंडिया पहल द्वारा सहायता प्रदान की गई है तथा उसके प्रशिक्षण, भोजन और आवास की व्यवस्था राष्ट्रीय उत्कृष्टता केंद्र (एनसीओई) योजना द्वारा की गई है.