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समीक्षा कुमारी/शिमला: हिमाचल प्रदेश में मानसून ने दस्तक दे दी है. बारिशें होने की वजह से वादियां और खूबसूरत दिखाई देनी लगी हैं. ऐसे में प्रदेश में बरसात के शुरू होने के साथ ही सरकार ने भी अपनी तैयारियां शुरू कर दी है. हिमाचल राज्य आपदा प्रबंधन विभाग ने प्रदेश के सभी 12 जिलों के डीसी को बरसात को लेकर अलर्ट रहने के आदेश जारी किए है.
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राज्य आपदा प्रबंधन विभाग के प्रधान सचिव ओंकार शर्मा ने कहा कि इस बार विभाग ने पहाड़ी से पत्थर गिरने की घटनाओं , शूंटिग स्टोन और लैंड स्लाईड घटना को रोकने के लिए अर्ली वार्निंग सिस्टम स्थापित किए हैं, जो जमीन में किसी तरह की हलचल की पहले ही जानकारी देकर आपदा से बचाने में मदद करेगा और किसी भी अनहोनी से पहले ही अलर्ट कर देगा.
इस अर्ली वार्निंग डिवाइस सिस्टम को आपदा प्रबंधन ने पहले चरण में हिमाचल के 50 संवेदनशील पहाड़ी स्थानों पर लगाएं हैं. बता दें, हिमाचल प्रदेश में हर साल बरसात में जान और माल का बड़ा नुकसान होता है और बारिश के चलते हिमाचल में सैकड़ों सड़क, पुल, मकान और संपति का नुकसान होता है. वहीं, राज्य के किन्नौर, लाहुल, चंबा, शिमला, सिरमौर कांगड़ा जिलों में लगातार सालों से बरसात की बारिश कहर बनकर तबाही का तांडव मचाती रहती है.
ऐसे में पुराने अनुभवों को देखते हुए हिमाचल सरकार ने इस बार बरसात को लेकर प्रशासन को मुस्तैद रहने के आदेश देकर जान-माल के नुकसान को कम करने की दिशा में प्रयास शुरू कर दिए हैं. राज्य आपदा प्रबंधन के प्रधान सचिव ओंकार शर्मा ने सरकार के इंतजामों की जानकारी देते हुए कहा कि सभी जिलों के जिलाधकरियों को बरसात को लेकर अलर्ट रहने और संवेदनशील स्थानों पर निगरानी रखने के साथ आपदा प्रबंधन टीम पुलिस और स्थानीय प्रशासन को सतर्क कर दिया है.
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