17 साल,30 हजार कारीगर और ₹1.4 करोड़ खर्च....जहां मोदी लेंगे शपथ, कहानी उस राष्ट्रपति भवन की

Bavita Jha
Jun 09, 2024

तीसरी बार नरेन्द्र मोदी देश के प्रधानमंत्री बनने जा रहे हैं. आज शाम मोदी राष्ट्रपति भवन में आयोजित भव्य कार्यक्रम में तीसरी बार प्रधानमंत्री पद की शपथ लेंगे.

उनके साथ मोदी 3.0 मंत्रिमंडल के कुछ केंद्रीय मंत्री भी शपथ लेंगे. देश-दुनिया से 9000 मेहमान इस शपथ समारोह में हिस्सा लेंगे. जिस राष्ट्रपति भवन में इस भव्य समारोह ता आयोजन हो रहा है आज उसकी कहानी जानते हैं.

साल 1911 में अंग्रेजों ने कोलकाता की जगह दिल्ली को राजधानी बनाने का फैसला किया. दिल्ली में ऐसी इमारत बनाना चाहते थे, जो आने वाले दिनों में मिशाल बन सके, इसके लिए रायसीना की पहाड़ियों को चुना गया.

330 एकड़ की जमीन जयपुर के महाराज ने वायरसराय हाउस बनाने के लिए दान कर दी. ब्रिटिश आर्किटेक्ट एडविन लुटियंस (Edwin Lutyens) ने नक्शा तैयार करना शुरु किया .

सर एडविन लुटयंस ने हर्बर्ट बेकर के साथ मिलकर नक्शा तैयार किया और इसके बाद निर्माण का काम शुरू हो गया. जिसके लिए 4 साल का वक्त तय किया गया. उसे बनने में 17 साल का वक्त लग गया

साल 1912 में इसका निर्माण कार्य शुरू हुआ और 1929 में खत्म हुआ. राष्ट्रपति भवन की वेबसाइट के मुताबिक राष्ट्रपति भवन बनाने में करीब 70 करोड़ ईंटों और 30 लाख पत्थरों का इस्तेमाल किया गया.

29 हजार कारीगर ने लगातार काम करके इसे 17 सालों में पूरा किया. सभी ने मिलकर इसमें 340 कमरे तैयार किए.

रायसीना हिल्‍स में संसद भवन, राष्‍ट्रपति भवन और नार्थ व साउथ ब्‍लाक बनाने में लाल और बलुआ पत्‍थरों का इस्‍तेमाल हुआ, जो राजस्‍थान से लाए गए थे. ऐसे में ट्रेन से पत्‍थरों को रायसीना हिल्‍स पहुंचाने के लिए वहां रेलवे पटरियां बिछाई गई.

जानकारी के मुताबिक राष्ट्रपति भवन बनने में 1929 में 1 करोड़ 40 लाख रुपये का खर्च आया. इसे बनाने में चीन भारतीय शैली, मुगल शैली और पश्चिमी शैली की झलकियों का खास गौर रखा गया.

राष्ट्रपति भवन चार मंजिला है और इसके अंदर छोटे-बड़े कुल 340 कमरे हैं. राष्ट्रपति भवन की वेबसाइट के मुताबिक राष्ट्रपति भवन करीब 2 लाख स्क्वायर फीट में फैला है.

राष्ट्रपति भवन की मेन बिल्डिंग का निर्माण हारून-अल-रशीद ने किया. जबकि अगला हिस्सा सुजान सिंह और उनके बेटे शोभा सिंह ने तैयार किया.

इटली के रोम स्थित क्यूरनल पैलेस के बाद राष्ट्रपति भवन दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा निवास स्थान है.

राष्ट्रपति भवन में लगभग 340 कमरे, बैंक्वेट हॉल , 15 एकड़ में बना मुगल गार्डन है. राष्ट्रपति भवन में 750 कर्मचारी काम करते हैं, जिनमें से 245 राष्ट्रपति के सचिवालय में कार्यरत हैं।

VIEW ALL

Read Next Story