Lotus Temple: दिल्ली में मौजूद लोटस टेंपल लोगों के बीच काफी लोकप्रिय है. ये लोगों के आकर्षण का क्रेंद बना रहता है. यहां हर रोज हजारों की संख्या में लोग आते हैं. लेकिन क्या आपने कभी सोचा है आखिर लोटस टेंपल किस मंदिर नहीं है.
कई लोग इसके नाम से कंफ्यूज रहते हैं कि यह एक पर्यटक स्थल है या मंदिर भी है. बता दें कि यह एक पर्यटक स्थल के साथ-साथ मंदिर भी है.
कई लोग इसके नाम से कंफ्यूज रहते हैं कि यह एक पर्यटक स्थल है या मंदिर भी है. बता दें कि यह एक पर्यटक स्थल के साथ-साथ मंदिर भी है.
लेकिन यह हिंदू धर्म का मंदिर नहीं है, बल्कि ये न जैन धर्म का मंदिर है. लोटस टेंपल बहाई धर्म का मंदिर है. इस मंदिर को साल 1986 में बनाया गया था.
वहीं इस मंदिर को ईरानी आर्किटेक्ट फरीबर्ज सहबा ने बनावाया था. इसे बनाने में कम से कम 10 मिलियन डॉलर का खर्चा आया था.
अगर अनुमान लगाएं को लोटस टेंपल की कुल संपत्ति 3 हजार करोड़ रुपये आंकी गई है. इस कारण से यह भारत का 20वां सबसे अमीर मंदिर है.
दिल्ली के लोटस टेंपल में एक कम से कम ढाई हजार लोग एक साथ प्रार्थना कर सकते हैं. यह दिल्ली में स्थित कुल 7 बहाई मंदिरों में से एक है.