Gurugram News: गुरुग्राम में अब जमीन खरीदना होगा महंगा, 1 जनवरी से सॉफ्टवेयर से तय होगा सर्किल रेट
Advertisement
trendingNow0/india/delhi-ncr-haryana/delhiharyana1982648

Gurugram News: गुरुग्राम में अब जमीन खरीदना होगा महंगा, 1 जनवरी से सॉफ्टवेयर से तय होगा सर्किल रेट

गुरुग्राम में खरीदारों को जमीन खरीदना पड़ सकता है महंगा. 2024 में रिहाईशी और कृषि भूमि के नए सर्किल रेट निर्धारित किए जाएंगे. ये सर्किल रेट सॉफ्टवेयर के द्वारा तय किये जाएंगे. 

 

Gurugram News: गुरुग्राम में अब जमीन खरीदना होगा महंगा, 1 जनवरी से सॉफ्टवेयर से तय होगा सर्किल रेट

Gurugram News: गुरुग्राम में 1 जनवरी से जमीन के रेट आसमान छूने वाले हैं. जिला उपायुक्त द्वारा निर्धारित कलेक्टर रेट यानी सर्किल रेट शहर में करीब 80% से ज्यादा बढ़ सकते हैं. इस बार सर्किल रेट सॉफ्टवेयर के द्वारा निर्धारित किए जाएंगे. यही नहीं, अभी तक जितनी भी पिछली रजिस्ट्री हुई है इस आधार पर भी सर्किल रेट निर्धारित होंगे.

गुरुग्राम में बढ़ रहा  कृषि भूमि का सर्किल रेट 
गुरुग्राम में 2024 के लिए रिहाईशी और कृषि भूमि के नए सर्किल रेट निर्धारित किए जाएंगे. आपको बता दें कि इस बार गुरुग्राम की सभी तहसीलों में सॉफ्टवेयर के द्वारा यह सर्किल रेट तय किए जाएंगे. सॉफ्टवेयर के मार्फत उसे तहसील में हुई सबसे बड़ी रजिस्ट्री के आधार पर यह सुनिश्चित किया जाएगा कि उसे क्षेत्र का सर्किल रेट क्या होगा. इस बार गुरुग्राम में  80% तक सर्किल रेट बढ़ सकता है. इस बढ़ने वाले रेट में रिहायशी और कृषि भूमि दोनों शामिल होंगी.

ये भी पढ़ें- सेम सेक्स मैरिज को लेकर एक बार फिर शुरू होगी बहस,पुनर्विचार याचिकाओं पर आज से सुनवाई

सॉफ्टवेयर तय करेगा सर्किल रेट 
गुरुग्राम जिला प्रशासन की तरफ से सॉफ्टवेयर द्वारा सुनिश्चित किए गए सर्किल रेट को वेबसाइट पर डाल दिया गया है. यदि किसी व्यक्ति को सर्किल रेट बढ़ने और कम लगने पर किसी तरह का कोई आपत्ति है तो वह आपत्ति दर्ज करा सकता है. आपत्ति दर्ज कराने के लिए 7 दिसंबर तक का समय दिया गया है. किसी तरह की आपत्ति नहीं आने पर दिसंबर एंड तक सर्किल रेट सुनिश्चित कर दिए जाएंगे और उन्हें निर्धारित कर 1 जनवरी से लागू कर दिया जाएगा. गुरुग्राम में कुल 8 तहसील है और इन सभी तहसीलों में जो पिछली रजिस्ट्री हुई है उनके आधार पर जो सबसे ज्यादा रेट की रजिस्ट्री हुई है, उस रजिस्ट्री और अन्य रजिस्ट्रियों के आधार पर सॉफ्टवेयर ही इसे सुनिश्चित करेगा कि वहां का सर्किल रेट कितना बनना चाहिए. इस तरह की प्रक्रिया से सरकार को रेवेन्यू का फायदा भी होगा तो वहीं मार्केट में चल रहे जमीन के रेट से इर्द-गिर्द रहेगा. लेकिन इस बार सर्किल रेट बनने से जमीन के दाम आसमान छू सकते हैं.

Input- devender bhardwaj

Trending news