झारखंड: हेमंत सोरेन पर फैसले से पहले बोले मिथिलेश ठाकुर- 'बीजेपी से ही सीखा रिजॉर्ट पॉलिटिक्स'
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झारखंड: हेमंत सोरेन पर फैसले से पहले बोले मिथिलेश ठाकुर- 'बीजेपी से ही सीखा रिजॉर्ट पॉलिटिक्स'

Jharkhand Political Crisis: झारखंड में सबकी निगाहें राजभवन पर टिकी हैं. राज्यपाल रमेश बैस निर्वाचन आयोग की अनुशंसा के आधार पर शुक्रवार को किसी भी वक्त आदेश जारी कर सकते हैं.

मिथिलेश ठाकुर ने सयासी उठा-पटक के बीच बीजेपी पर हमला किया.

रांची: झारखंड सरकार में मंत्री मिथिलेश ठाकुर ने कहा कि हमने रिजॉर्ट पॉलिटिक्स भारतीय जनता पार्टी से ही सीखा है. उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री पहले से चाहते थे कि विधायकों को ट्रिप पर ले जाया जाए ताकि वो रिफ्रेश फील कर सकें.

  1. राजभवन पर टिकी सबकी निगाह
  2. हेमत सोरेन पर आज आ सकता है फैसला

सीएम हाउस में विधायकों की बैठक
वहीं, कांके रोड रांची स्थित मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के आवास में सत्ता पक्ष के मंत्री एवं विधायक दल की बैठक की हुई. बैठक की अध्यक्षता मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने की.

दरअसल, ऑफिस ऑफ प्रॉफिट मामले में आज मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के खिलाफ फैसला आ सकता है. चुनाव आयोग ने गुरुवार को राजभवन में फैसले को लेकर चिट्ठी भेज दी थी. जिसके बाद शुक्रवार को राज्यपाल रमेश बैस किसी भी वक्त आदेश जारी कर सकते हैं.

राजभवन पर टिकी निगाह
राजभवन के फैसले पर सबकी निगाह टिकी है कि आखिर क्या निर्णय आएगा. आदेश आने पर मुख्यमंत्री को अपने पद से भी इस्तीफा देना पड़ सकता है. हालांकि गठबंधन के पास पर्याप्त संख्या बल है, इसलिए सीएम हेमंत के संभावित इस्तीफे के बाद भी नये सिरे से इसी गठबंधन की सरकार बने रहने के आसार हैं.

रणनीति में बनाने जुटा गठबंधन
इसी को लेकर गठबंधन अपनी रणनीति बनाने में जुटा है. जानकारी के अनुसार, यूपीए के सभी विधायकों को अगले कुछ दिनों तक रांची में ही रहने निर्देश दिया गया है, ताकि मुख्यमंत्री के इस्तीफा देने की सूरत में नई सरकार के लिए पर्याप्त संख्याबल के साथ सरकार बनाने दावा पेश किया जा सके.

क्या है मामला?
दरअसल, हेमंत सोरेन के खिलाफ आरोप है कि उन्होंने सीएम रहते हुए रांची के अनगड़ा में अपने नाम 88 डिसमिल के क्षेत्रफल वाली पत्थर खदान लीज पर ली थी. बीजेपी ने इसे ऑफिस ऑफ प्रॉफिट और जन प्रतिनिधित्व कानून के उल्लंघन का मामला बताते हुए राज्यपाल के पास शिकायत की थी.

राज्यपाल ने इसपर चुनाव आयोग से राय मांगा था. आयोग ने शिकायतकर्ता और हेमंत सोरेन को नोटिस जारी कर इस मामले में उनसे जवाब मांगा और दोनों के पक्ष सुनने के बाद गुरुवार को राजभवन को राय भेज दिया है. इसके बाद से ही झारखंड में सियासी उथल-पुथल बनी हुई है.

'आग से तो हम हमेशा खेलते रहे'
वहीं, चुनाव आयोग की रिपोर्ट सार्वजनिक होने से पहले मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से पत्रकारों ने पूछा कि क्या आप अग्निपरीक्षा के लिए तैयार हैं. इस पर हेमंत सोरेन ने कहा कि- आग से तो हम हमेशा खेलते रहे हैं.

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