रोबोट के जरिए खतरे को पहले ही भांप लेगी भारतीय आर्मी, अब बिलख-बिलख कर रोएंगे पाकिस्तानी आतंकी

रोबोट (Robot) यानी आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) का यह इस्तेमाल अभी मुख्यत: जम्मू-कश्मीर जैसे संवेदनशील इलाके में किया जाएगा. रक्षा मंत्रालय की प्लानिंग के मुताबिक AI आधारित सॉफ्टवेयर आधार जैसे नेशनल डेटाबेस से जोड़ा जा सकता है. 

Edited by - Zee Hindustan Web Team | Last Updated : Feb 10, 2023, 12:21 PM IST
  • ऑपरेशन के दौरान और घातक हो जाएगी सेना की क्षमता.
  • नेशनल डेटाबेस के जरिए आसान होगा मौजूदगी का पता लगाना.
रोबोट के जरिए खतरे को पहले ही भांप लेगी भारतीय आर्मी, अब बिलख-बिलख कर रोएंगे पाकिस्तानी आतंकी

नई दिल्ली. भारतीय सेना अब ऑपरेशन के दौरान आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का इस्तेमाल कर सकती है. AI के इस्तेमाल से सेना खतरे को पहले ही भांप लेगी और फिर आतंकियों को निशाना बनाएगी. AI का यह इस्तेमाल अभी मुख्यत: जम्मू-कश्मीर जैसे संवेदनशील इलाके में किया जाएगा. रक्षा मंत्रालय की प्लानिंग के मुताबिक AI आधारित सॉफ्टवेयर आधार जैसे नेशनल डेटाबेस से जोड़ा जा सकता है. 

एक आधिकारिक सूचना के अनुसार यह सॉफ्टवेयर गाड़ियों के मूवमेंट, लोगों की मौजूदगी जैसी चीजों को ट्रैक करेगा. यानी इससे किसी व्यक्ति की किसी जगह पर मौजूदगी को ट्रैक किया जा सकेगा. इससे सेना ऑपरेशन के दौरान यह पता लगा सकेगी कि किसी जगह पर कौन व्यक्ति छुपा हुआ है. साथ ही गाड़ियों को मूवमेंट को भी ट्रैक कर भी आतंकियों की संदेहास्पद गतिविधि पकड़ी जा सकती है.

क्यों है इस सॉफ्टवेयर की जरूरत?
इस सॉफ्टवेयर की जरूरत आर्मी को इसलिए है क्योंकि ऑपरेशन के दौरान खतरे को भांपने के लिए डीटेल जानकारी की जरूरत होती है. जिससे नुकसान को कम से कम किया जा सके. अभी तक खतरे को भांपने के लिए ऐसा कोई सॉफ्टवेयर सिस्टम नहीं मौजूद है. न ही सुरक्षा बलों के पास और न ही लॉ एनफोर्समेंट एजेंसियों के पास. 

कैसे मदद करेंगे आधार और  MoRTH डेटा
दरअसल ज्यादातर डेटा रजिस्टर या फिर कागजी फॉर्म में मौजूद है. सुरक्षा बलों के पास कोई तरीका नहीं है जिससे घटनाओं का मिलान किया जा सके. इससे घटनाओं को रोकने में या फिर खतरा भांपने में दिक्कत होती है. अब AI के इस्तेमाल से इसमें आसानी होगी. किसी व्यक्ति की मौजूदगी जानने के लिए आधार डेटा वहीं गाड़ियों की मूवमेट ट्रैक करने के लिए MoRTH डेटा बेस का इ्स्तेमाल किया जा सकता है. 

सुरक्षा बलों की ज्यादा से ज्यादा मदद का प्रयास
साथ ही इस सॉफ्टवेयर के जरिए वीडियो और तस्वीरों की एनालिसिस करने की भी क्षमता होगी. उद्देश्य यह है कि ऑपरेशन के दौरान छोटी से छोटी जानकारी को भी इस्तेमाल कर सुरक्षा बलों की मदद की जा सके. 

यह भी पढ़िए: Delhi Police में होगी बंपर भर्ती, उपराज्यपाल वी के सक्सेना ने दी जानकारी

Zee Hindustan News App: देश-दुनिया, बॉलीवुड, बिज़नेस, ज्योतिष, धर्म-कर्म, खेल और गैजेट्स की दुनिया की सभी खबरें अपने मोबाइल पर पढ़ने के लिए डाउनलोड करें ज़ी हिंदुस्तान न्यूज़ ऐप.

ट्रेंडिंग न्यूज़