SC में पहली ग्रीन बेंच का गठन, सुनवाई के दौरान कागज और हार्ड कॉपी की अनुमति नहीं

सुप्रीम कोर्ट के सीनियर जज जस्टिस डी वाई चंद्रचूड़ ने देश की सर्वोच्च अदालत में एक नई व्यवस्था करते हुए उनकी अध्यक्षता में गठित संवैधानिक पीठ को सुप्रीम कोर्ट की पहली ग्रीन बेंच घोषित किया है.

Written by - Nizam Kantaliya | Last Updated : Sep 7, 2022, 04:09 PM IST
  • बिना कागजों के होगी केस की सुनवाई
  • तकनीक को अपनाने की दी सलाह
SC में पहली ग्रीन बेंच का गठन, सुनवाई के दौरान कागज और हार्ड कॉपी की अनुमति नहीं

नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट के सीनियर जज जस्टिस डी वाई चंद्रचूड़ ने देश की सर्वोच्च अदालत में एक नई व्यवस्था करते हुए उनकी अध्यक्षता में गठित संवैधानिक पीठ को सुप्रीम कोर्ट की पहली ग्रीन बेंच घोषित किया है.

दिल्ली सरकार बनाम उपराज्यपाल विवाद में संवैधानिक पीठ का गठन
दिल्ली में सरकार और उपराज्यपाल की शक्तियों के विवाद को लेकर दायर याचिका दिल्ली सरकार बनाम उपराज्यपाल मामले के लिए जस्टिस डी वाई चंद्रचूड़ की अध्यक्षता में संवैधानिक पीठ का गठन किया गया है. यह पीठ बुधवार को इस मामले की सुनवाई करने के लिए बैठी.

बिना कागजों के होगी मामले की सुनवाई
इस दौरान जस्टिस डी वाई चंद्रचूड़ ने इस बेंच को सुप्रीम कोर्ट की पहली ग्रीन बेंच घोषित करते हुए सभी पक्ष के वकीलों को निर्देश दिया कि सुनवाई के दौरान वे कोई भी कागजात या भौतिक दस्तावेज साथ न लाएं. इस बेंच में जस्टिस चंद्रचूड़ के साथ जस्टिस एम आर शाह, जस्टिस कृष्ण मुरारी, जस्टिस हेमा कोहली और जस्टिस पी एस नरसिम्हा शामिल हैं.

जस्टिस चंद्रचूड़ ने इसे लेकर कहा कि सुप्रीम कोर्ट का आईटी सेल और रजिस्ट्री के अधिकारी ग्रीन बेंच को लेकर शनिवार को वकीलों को प्रशिक्षण देंगे. इस प्रशिक्षण में यह समझाया जाएगा कि ग्रीन बेंच के समक्ष तकनीक का इस्तेमाल करते हुए कैसे बहस करें और किस तरह से मामलों को पेश किया जाए.

तकनीक को अपनाने की दी सलाह
संवैधानिक पीठ को ग्रीन बेंच घोषित करने पर अदालत में मौजूद एक वकील ने कोई कागज न लाने के निर्देश पर कठिनाई का सामने करने की बात कही, जिस पर बेंच के दूसरे सदस्य जस्टिस एम आर शाह ने जवाब देते हुए कहा कि कोर्ट इस मामले में ट्रेनिंग दे रहा है और किसी ना किसी दिन वकील को ये शुरू करना ही है. जस्टिस चंद्रचूड़ ने इस पर कहा कि अगर वह अदालत में बहस कर सकते हैं तो वह तकनीक को भी अपना सकते हैं.

प्रशिक्षण देने का दिया निर्देश
मामले की सुनवाई को संवैधानिक पीठ ने 11 अक्टूबर तक टालते हुए रजिस्ट्री को निर्देश दिए हैं कि वह अदालत में कागज रहित वातावरण में सुनवाई की व्यवस्था करें. इसके लिए आवश्यक दस्तावेजों, किताबों को स्कैन करने के साथ-साथ उन्हें सभी पक्षकारों को उपलब्ध कराएं. ग्रीन बेंच के सामने वकील अपने मामलों को सही तरीके से पेश और पैरवी कर सके. इसके लिए सप्ताहांत में उन्हें प्रशिक्षण की व्यवस्था के भी निर्देश दिए गए हैं.

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