यूपी चुनाव में मिली हार के बाद सपा में दिखने लगा साइडइफेक्ट, शिवपाल के बाद अब ये बड़ा नेता हुआ अखिलेश से नाराज
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यूपी चुनाव में मिली हार के बाद सपा में दिखने लगा साइडइफेक्ट, शिवपाल के बाद अब ये बड़ा नेता हुआ अखिलेश से नाराज

हैरानी नहीं होगी कि, आने वाले समय में आजम समाजवादी पार्टी से दूरी बना लें.आजम खां के बेटे अब्दुल्ला आजम के बागी सुर से पहले आजम के बेहद करीबी और उनके मीडिया प्रभारी फसाहत अली शानू ने अपना दर्द जाहिर करते हुए समाजवादी पार्टी और अखिलेश पर सीधा हमला बोला. 

यूपी चुनाव में मिली हार के बाद सपा में दिखने लगा साइडइफेक्ट, शिवपाल के बाद अब ये बड़ा नेता हुआ अखिलेश से नाराज

आशुतोष शुक्ला.लखनऊ: यूपी चुनाव के नतीजे आए एक महीने से ज्यादा हो गया,  लेकिन समाजवादी पार्टी में अब तक हार के साइडइफेक्ट दिख रहे हैं  जिससे अखिलेश यादव अपनी ही पार्टी में अलग थलग पड़ते जा रहे हैं. पहले अपर्णा यादव फिर शिवपाल यादव और अब आजम खान की नाराजगी की खबर है. सूत्रों के मुताबिक, आजम खान आने वाले दिनों में बड़ा फैसला भी ले सकते हैं.आजम के विधायक बेटे अब्दुल्ला आजम के ट्वीट से समाजवादी खेमे में खलबली मच गई है.अब्दुल्ला आजम ने अपने ट्विटर हैंडल पर शायराना अंदाज में अपनी नाराजगी जाहिर की है.

अब्दुल्ला आजम ने ट्वीट कर साधा निशाना 
अब्दुल्ला आजम ने ट्वीट करते हुए लिखा- "जहां तक मुझसे मतलब है जहान को, वहीं तक मुझको पूछा जा रहा है, जमाने पर भरोसा करने वालों, भरोसे का जमाना जा रहा है".अब्दुल्ला ने उसके बाद लिखा- "अपने चेहरे से जो जाहिर है छुपाएं कैसे तेरी मर्जी के मुताबिक नजर आएं कैसे घर सजाने का तसव्वुर तो बहुत बाद का है. पहले ये तो तय हो कि घर बचाएं कैसे फूल से रंग जुदा होना कोई खेल नहीं. अपनी मिट्टी को कहीं छोड़ के जाएं कैसे."

डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक ने कसा तंज 
आजम खां की नाराजगी की खबरों को लेकर डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक ने कहा कि समाजवादी पार्टी एक डूबता जहाज है, वहां सिर फुटौव्वल के हालात बने हुए हैं.आजम के मीडिया प्रभारी ने कहा कि मुसलमानों ने एकजुट होकर पहले उनके पिता मुलायम और बाद में अखिलेश को वोट देकर मुख्यमंत्री बनाया... लेकिन 2022 में अखिलेश को सीएम भी बनना था और हारे तो नेता प्रतिपक्ष भी, लेकिन वो आजम साहब को ही भूल गए. 

हैरानी नहीं होगी कि, आने वाले समय में आजम समाजवादी पार्टी से दूरी बना लें.आजम खां के बेटे अब्दुल्ला आजम के बागी सुर से पहले आजम के बेहद करीबी और उनके मीडिया प्रभारी फसाहत अली शानू ने अपना दर्द जाहिर करते हुए समाजवादी पार्टी और अखिलेश पर सीधा हमला बोला. फसाहत ने अपने नेता आज़म की फजीहत के बहाने अखिलेश यादव पर निशाना साधते हुए कहा कि, मुस्लिम वोट लेकर अखिलेश ने दगाबाजी की. उन्होंने ये तक कह दिया कि अब्दुल दरी बिछाएगा, वोट देगा और जेल भी जाएगा, लेकिन अखिलेश जेल में आजम खान से मिलने तक नहीं गए.

भाजपा ने सपा पर कसा तंज 
बीजेपी ने सपा में मचे घमासान पर तंज कसते हुए कहा कि कुछ राजनीतिक दल मुस्लिमों को वोट बैंक की तरह इस्तेमाल करते हैं और उन्हें कभी मुख्य धारा में नहीं आने देते.AIMIM चीफ असदुद्दीन ओवैसी पूरे चुनाव के दौरान आरोप लगाते रहे कि हर पार्टी ने अब तक मुसलमानों का सिर्फ इस्तेमाल किया है. कभी उनका भला नहीं किया.आप वो आंकड़े देखिए कि सियासत में मुस्लिम तुष्टिकरण करने वाली पार्टियों ने कितने मुसलमानों को टिकट दिए और कितने जीते.

यूपी में करीब 20% मुस्लिम आबादी
85 सीटों पर मुस्लिम आबादी करीब 25% है
सपा गठबंधन ने 63 उम्मीदवार उतारे
सपा गठबंधन के 34 मुस्लिम विधायक बने
सपा के इस बार 10 मुस्लिम प्रत्याशी ज्यादा जीते
2017 में करीब 55 % मुस्लिम वोट सपा को मिला
2022 में करीब 80% मुस्लिम वोट सपा गठबंधन को मिला
BSP का एक भी मुस्लिम उम्मीदवार नहीं जीता
कांग्रेस का भी कोई मुस्लिम उम्मीदवार नहीं जीता

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