मुस्लिम बुजुर्ग के साथ अमानवीय हरकत पर सुप्रीम कोर्ट नाराज, योगी सरकार के रवैये पर उठाए सवाल
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मुस्लिम बुजुर्ग के साथ अमानवीय हरकत पर सुप्रीम कोर्ट नाराज, योगी सरकार के रवैये पर उठाए सवाल

Supreme Court: सुप्रीम कोर्ट ने यूपी में मुस्लिम बुजुर्ग के साथ मारपीट के मामले में घटना के दो साल बाद FIR दर्ज किए जाने पर नाराजगी जाहिर की है. बुजुर्ग का कहना था कि मुस्लिम होने के चलते गैंग ने उसके साथ मारपीट की, स्क्रू ड्राइवर से उसपर हमला किया और उसकी दाढ़ी को नोचा.

मुस्लिम बुजुर्ग के साथ अमानवीय हरकत पर सुप्रीम कोर्ट नाराज, योगी सरकार के रवैये पर उठाए सवाल

Supreme Court: सुप्रीम कोर्ट ने यूपी में मुस्लिम बुजुर्ग के साथ मारपीट के मामले में घटना के दो साल बाद FIR दर्ज किए जाने पर नाराजगी जाहिर की है. बुजुर्ग का कहना था कि मुस्लिम होने के चलते गैंग ने उसके साथ मारपीट की, स्क्रू ड्राइवर से उसपर हमला किया और उसकी दाढ़ी को नोचा. आज सुनवाई के दौरान यूपी सरकार की ओर से ASG के एम नटराज ने माना कि पुलिस के स्तर पर लापरवाही हुई है. इस सबंध में पुलिसकर्मियों पर अनुशासनत्मक कार्रवाई की गई है.

'घटनाओं पर पर्दा डालने की नहीं, सख्त एक्शन की ज़रूरत'

सुप्रीम कोर्ट ने यूपी पुलिस के रवैये पर नाराजगी जाहिर करते हुए कहा कि इस तरह के मामलों में जब कोई कार्रवाई नहीं होती, तो एक खतरनाक माहौल बनता है. एक धर्मनिरपेक्ष देश में धर्म के नाम पर हिंसा / अपराध की कोई गुज़ाइश नहीं है. इस तरह की हरकतों को जड़ से खत्म किये जाने की ज़रूरत है. ऐसी घटनाओं पर एक्शन लेने की ज़रूरत है, उन पर पर्दा डालकर समाधान नहीं हो सकता. राजस्थान में पिछले दिनों एक गूंगे इंसान को पीट पीट कर मारा डाला गया. बाद में पता चला कि मरने वाला हिंदू ही था.

समाज में जो हैसियत वाले हैं, वो तो सुरक्षित हैं..

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि समाज में जो हैसियत वाले हैं, वो तो सुरक्षित हैं. हमे आम आदमी की सुरक्षा की चिंता है  सरकार के तुंरत एक्शन से ऐसे अपराध से निपटा जा सकता है. कोर्ट ने सवाल किया कि क्या यूपी पुलिस इस मामले की संजीदगी को देखते हुए इसे धर्म के आधार पर होने वाला अपराध मानेगी या फिर इस पर पर्दा डालने की कोशिश करेगी.

यूपी सरकार का स्टैंड/ कोर्ट का सवाल

यूपी सरकार का कहना है कि ये धर्म के आधार पर क्राइम का मामला नहीं है. बुजुर्ग के साथ मारपीट करने वाले स्क्रू ड्राइवर गैंग नाम से कुख्यात है और ये गैंग कई तरह की आपराधिक वारदातों में शामिल रहा है . कोर्ट ने यूपी सरकार से कहा है कि वो हलफनामा दाखिल कर इन सभी मामलों में दर्ज FIR की जानकारी दें. सरकार बताए कि इन मामलों में आरोपियों को कब गिरफ्तार किया गया, कब वो बरी हुए. पी सरकार को दो हफ्ते में जवाब दाखिल करना है. 3 मार्च को आगे सुप्रीम कोर्ट इस पर सुनवाई करेगा.

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